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बाढ़-बारिश से बर्बाद हो गई है आपकी फसल तो इस तरह मिलेगा मुआवजा

PM Fasal Bima Yojana: इस साल कई राज्यों में बारिश ने भारी कहर मचाया है. किसानों के हजारों एकड़ की फसल बर्बाद हो गई है. ऐसे में कई किसानों के सामने जीवनयापन का संकट आ गया है. हालांकि, अगर आपने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के लिए आवेदन किया है तो आप भारी नुकसान से बच सकते हैं.

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How to get compensation on crops destroyed by natural disaster
How to get compensation on crops destroyed by natural disaster

PM Fasal Bima Yojana: देश के कई हिस्सों में इन दिनों जबर्दस्त बारिश हो रही है. असम, महाराष्ट्र जैसे राज्यों में बाढ़ की वजह से फसलों को काफी नुकसान हुआ है. मध्य प्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक और गुजरात में भी भारी बारिश के चलते हजारों एकड़ की फसलें बर्बाद हो गई हैं. ऐसे में इस वक्त जिन किसानों ने प्रधानमंत्री बीमा योजना ले रखा है, वो भारी नुकसान से बच जाएंगे.

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इतने घंटे के अंदर फसल नुकसान की सूचना

अगर आपकी फसल को बारिश या प्राकृतिक आपदा से भारी नुकसान पहुंचा है तो 72 घंटे के अंदर प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के तहत बीमा कंपनी को इसकी सूचना दें. बीमा कंपनी किसी अधिकृत व्यक्ति को खेतों का मुआयना करने के लिए भेजेगी. वह व्यक्ति फसल कितनी खराब हो चुकी है, उसका आंकलन करेगा. फिर आगे की प्रकिया पूरी कर किसानों के खाते में मुआवजे की राशि भेज दी जाएगी.

कैसे करें आवेदन?

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का लाभ लेने के लिए किसान ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीके से आवेदन कर सकते हैं. ऑनलाइन आवेदन के लिए प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की अधिकारिक वेबसाइट pmfby.gov.in पर रजिस्ट्रेशन करना होगा. इसके लिए रजिस्ट्रेशन के दौरान मांगी गई सारी जानकारियां भरनी होंगी. वहीं ऑफलाइन आवेदन करने के लिए किसी भी नजदीकी बैंक से इस बीमा योजना का लाभ ले सकते हैं.

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आवेदन का तरीका - 
PMFBY की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं. होमपेज पर किसान कॉर्नर पर क्लिक करें.अब अपने मोबाइल नंबर से लॉगिन करें और यदि आपका खाता नहीं है तो अतिथि किसान के रूप में लॉगिन करें. सभी आवश्यक विवरण जैसे नाम, पता, आयु, राज्य आदि दर्ज करें. अंत में सबमिट बटन पर क्लिक करें. पीएम फसल बीमा योजना के लिए आवश्यक दस्तावेज को सब्मिट करें.

ये किसान फसल बीमा पर लेने के लिए हैं योग्य

इस योजना के अंतर्गत फसली ऋण लेने वाले किसान, गैर ऋणी किसान, बंटाईदार किसानों को शामिल किया जाएगा. बंटाईदार किसानों को संबंध में स्पष्ट किया जाता है. कि कृषक जिस जिले का निवासी है उस परिधि क्षेत्र में बंटाई की भूमि ही मान्य होगी.

 

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