Subsidy on Agricultural Machinery: खेती-किसानी में आधुनिक मशीनों का उपयोग तेजी से बढ़ा है. किसानों को इसका सकारात्मक परिणाम भी मिला है. पहले के मुकाबले उनका मुनाफा तेजी से बढ़ा है. ऐसे में सभी किसान इन मशीनों का उपयोग कर सके, इसके लिए सरकार भी अपनी तरफ से किसानों को आर्थिक तौर पर प्रोत्साहित करती रहती है.
भारत में तकरीबन 55 से 60 प्रतिशत जनसंख्या खेती-किसानी पर निर्भर करती है. यहां की अर्थव्यवस्था में भी कृषि का एक बेहद अहम रोल है. इन सबके बावजूद ज्यादातर किसानों के पास आधुनिक खेती की मशीनें नहीं है. इन्हीं सब स्थितियों से निपटने के लिए हरियाणा सरकार किसानों कृषि मशीनों पर 40 से 50 फीसदी तक की सब्सिडी दे रही है.
आवेदन करने का आखिरी मौका
हरियाणा सरकार ने कृषि मशीनों पर सब्सिडी के लिए आवेदन की आखिरी तारीख 09 मई रखी थी, फिर उस तारीख को बढ़ा कर 20 मई कर दिया है. एक बार फिर किसानों की मांग पर इस आवेदन करने वाले पेज का विन्डो फिर से खोल दिया गया था. किसानों के पास ये आखिरी मौका है, किसान शुक्रवार यानी 27 मई तक ही इन मशीनों के लिए आवेदन कर पाएंगे.
इन मशीनों पर मिल रही है सब्सिडी
सरकार द्वारा बीटी कॉटन सीड ड्रिल, सीड कम फर्टिलाइजर ड्रिल, स्वचालित रीपर-कम-बाइंडर, ट्रैक्टर चलित स्प्रे पंप, डीएसआर, पावर टिलर, ट्रैक्टर चलित रोटरी विडर, ब्रीकेट मेकिंग मशीन, मेज व मल्टीक्रॉप प्लांटर, मेज व मल्टीक्रॉप थ्रेशर तथा न्यूमैटिक प्लांटर शामिल हैं. किसान इन मशीनों का 50 प्रतिशत की सब्सिडी पर हासिल करने के लिए विभाग की वेबसाइट जाकर अप्लाई कर सकते हैं.
ऐसे करें आवेदन
आवेदन करते समय किसानों को 2.5 लाख रुपये से कम अनुदान वाले कृषि यंत्रों के लिए 2500 रुपये तथा 2.50 लाख या इससे अधिक रुपये के कृषि यंत्रों पर 5 हजार रुपये आवेदन करते समय टोकन मनी के रूप में जमा करवाने होंगे. बता दें हरियाणा की तरह उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश समेत कई राज्यों में भी कुछ इसी तरह की योजनाएं चलाई जा रही हैं.