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खेती किसानी में काफी ज्यादा मेहनत लगती है. सिंचाई से लेकर खाद और फसल की देखभाल तक का खास ख्याल रखना पड़ता है. ऐसे में फसल पूरी तरह से कटाई के लिए तैयार होने के बाद किसी वजह से बर्बाद हो जाती है, तो खास दुख होता है. मध्य प्रदेश के गुना में कड़ी मेहनत से तैयार की गई गेहूं की फसल अब बिजली लाइन की चपेट में आकर बर्बाद होने लगी है. यहां इमझरा गांव के किसान शिवराज की कई बीघे गेहूं की फसल आग लगने से वह खाक हो गई है.
किसान ने आत्महत्या की दी चेतावनी
अब शिवराज रघुवंशी ने प्रशासन से मुआवजे की गुहार लगाते हुए चेतावनी दी है. किसान ने कहा कि यदि फसल का मुआवजा नहीं दिलाया गया तो 2 दिन के अंदर आत्महत्या कर लूंगा. पीड़ित किसान ने बताया कि उसने अपनी गेहूं की फसल को कटवाने के लिए हार्वेस्टर किराये पर लिया था. बिजली की लाइन खेत के ऊपर से क्रॉस हो रही थी और काफी नीचे थी. इसके चलते खेत तक हार्वेस्टर पहुंचने में दिक्कत आ रही थी. इसलिए बिजली विभाग को लाइन बंद करने की सूचना दी गई.
ऐसे लगी फसल में आग
हार्वेस्टर खेत में घुसा तभी लाइन से हार्वेस्टर के टकराने से स्पार्किंग हुई और पूरी फसल स्वाहा हो गई. किसान का आरोप है कि बिजली की लाइन को बंद नहीं किया गया था. इसी के चलते स्पार्किंग से खेत में आग लग गई. देखते ही देखते 10 बीघा की फसल खाक हो गई. लगभग 100 क्विंटल से ज्यादा गेहूं जलकर खाक हो गया. बिजली विभाग के खिलाफ ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा. ग्रामीणों ने काफी हंगामा किया. किसानों का आरोप है कि बिजली विभाग के जूनियर इंजीनियर पीसी जैन की मनमानी के कारण ये हादसा हुआ.
जल्द मुआवजा दिलाने का आश्वासन
इस मामले में बिजली विभाग के अधिकारियों ने जांच की बात कहते हुए पल्ला झाड़ लिया है. प्रभारी कलेक्टर आदित्य सिंह के निर्देश के बाद प्रशासनिक अमला किसान के खेत पर पहुंचा और नुकसान का आंकलन किया. उन्होंने जल्द ही फसल के नुकसान पर किसानों को मुआवजा देने की बात कही है.