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खुशखबरी! किसानों को बड़ा तोहफा, इस तरह धान की बुवाई करने पर ₹1,500 रुपये की सब्सिडी

Subsidy to Paddy Farmers: धान की खेती के वक्त पानी की खपत बढ़ जाती है. ऐसे में कई राज्य सरकारें गिरते हुए जलस्तर को रोकने के लिए वैकल्पिक तरीका अपनाती हैं. अब इसी के तहत पंजाब सरकार ने पानी की खपत कम करने के लिए धान की सीधी बिजाई करने वाले किसानों को अनुदान देने का फैसला किया है.

Subsidy For Paddy Farmers Subsidy For Paddy Farmers
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 02 मई 2022,
  • अपडेटेड 9:03 PM IST
  • धान की सीधी बिजाई पर जोर
  • इससे पानी की खपत पर लगेगा अंकुश

Subsidy For Paddy Farmers: देश में खरीफ फसलों की बुवाई की तैयारी शुरू हो चुकी है. इस बीच उत्तर भारत के सभी राज्यों में धान की बुवाई के लिए निड़ाई-गुड़ाई की प्रकिया शुरू हो गई है. हालांकि, धान की खेती में पानी की खपत अधिक होती है. ऐसे में कई राज्यों के लिए गिरता हुआ जलस्तर चिंता का विषय बना हुआ है.

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देश में गिरते हुए जलस्तर से निपटने के लिए सरकारें अपने-अपने स्तर पर प्रयास करती रहती हैं. कई राज्य सरकारें किसानों को धान की खेती की जगह वैकल्पिक फसलों को लगाने की सलाह देती हैं. हालांकि, इससे धान के उत्पादन पर असर पड़ता है. वहीं, कुछ सरकारें सरकारें धान की सीधी बुवाई पर जोर देती हैं.

धान की खेती में पानी की खपत कम की जा सके इसके लिए पंजाब सरकार ने धान की सीधी बिजाई करने वाले किसानों को  आर्थिक तौर पर सहायता करने का फैसला लिया है. पंजाब सरकार धान की सीधी उपजाई करने वाले हर किसान को 1500 रुपए प्रति एकड़ अनुदान देने का निर्णय है. मुख्यमंत्री भगवंत मान ने किसानों से अपने जानने वालों को भी धान की सीधी बुवाई के लिए प्रेरित करने की अपील की है.

बता दें कि धान की बुवाई दो प्रकार से होती है. पहला तरीका है धान की बुवाई के लिए नर्सरी तैयार करनी पड़ती है.  नर्सरी की तहत धान की बुवाई करने से खेतों में पानी की अवाश्यकता अधिक होती है. वहीं सीधी बिजाई के तहत किसान धान के बीज को सीधे खेत में छिड़काव करके या सीड ड्रिल से बोते हैं . इससे एक तो किसान का वक्त बचता है, लागत भी कम आती है. इसके अलावा तोहफा देते हुए सरकार ने किसानों को 1500 रुपए प्रति एकड़ अनुदान देने की घोषणा कर दी है.

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