
बिहार में चल रहे राजनीतिक उठापटक के बीच नीतीश कुमार ने महागठबंधन से नाता तोड़कर एनडीए की दामन थाम लिया है. नीतीश कुमार को एनडीए का नेता चुन लिया है और शाम पांच बजे दो डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी और विजय सिन्हा के साथ मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे. इस पूरे घटनाक्रम के बाद नीतीश कुमार के एनडीए में शामिल होने पर लोकजनशक्ति पार्टी (रामविलास) के नेता चिराग पासवान ने प्रतिक्रिया दी है और कहा कि वह एनडीए में है और वह पीएम मोदी के हर फैसले के साथ हैं.
चिराग पासवान में नीतीश कुमार के एनडीए में शामिल होने पर प्रतिक्रिया देते हुए मीडिया से बातचीत में कहा कि आने वाले दिनों में सरकार की क्या भूमिका होती है और सरकार किस एजेंडे पर काम करती है. क्या कोई साझा न्यूनतम कार्यक्रम बनाया जाता है या नहीं बनाया जाता है. इन सभी मुद्दों पर आगे चर्चा होगी. ये काफी महत्वपूर्ण था कि मौजूदा और पूर्व मुख्यमंत्री पहले इस्तीफा दें और उसके बाद पुन शपथ लें.
सीएम का नीतिगत विरोध था और है: चिराग पासवान
उन्होंने आगे कहा कि मैं एनडीए के सहयोगी के तौर पर शपथ ग्रहण समारोह में शामिल होने जा रहा हूं. हमारे लिए ये खुशी की बात है कि एनडीए की सरकार फिर से बिहार में आ रही है. जो सोच और विजन हमारे पीएम मोदी जी की है, वहीं हमारी बिहार फर्स्ट बिहारी फर्स्ट का विजन हैं. मैंने इससे पहले भी कई बार कहा कि मेरा मुख्यमंत्री से नीतिगत विरोध था, है...अगर उन्हीं की नीति पर काम चलेगा तो ये विरोध आगे भी रहेगा. मैंने माना है कि उनके नीतियों ने बिहार की जनता का विकास नहीं किया.
'मैं अपने पीएम के साथ खड़ा हूं'
ऐसे में एनडीए की बनी नई सरकार में अगर बीजेपी, लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के विजन बिहार फर्स्ट, बिहारी फर्स्ट को शामिल किया जाता है तो ये एक सफल निर्णय होगा. एक सवाल का जवाब देते हुए कहा कि देखिए बिहार में एनडीए की सरकार बन रही है. मैं अपने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ खड़ा हुआ हूं.
आपको बता दें कि नीतीश कुमार 28 जनवरी, 2024 को 9वीं बार मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेंगे. उनके साथ बीजेपी के सम्राट चौधरी और विजय सिन्हा डिप्टी सीएम के रूप में मंत्री पद की शपथ लेंगे. वहीं, उनकी पार्टी ने साल 2020 में हुए बिहार विधानसभा चुनाव एनडीए गठबंधन के साथ लड़ा था और 43 सीटों पर जीत दर्ज की थी, जबकि उनकी सहयोगी बीजेपी ने 74 सीटें जीती थीं. इसके बाद 2022 में बीजेपी से नाता तोड़कर आरजेडी के साथ सरकार बनाई थी और अब एक बार फिर एनडीए से हाथ मिला लिया है.