
देश का बजट आज यानी एक फरवरी 2021 को संसद में पेश किया गया. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश किया. मोदी सरकार जहां एक तरफ इसे सर्वजन हित में बता रही है वहीं विपक्षी दलों ने बजट को निराशा भरा बताया है. बजट के मुताबिक शराब, डीजल- पेट्रोल महंगे हो सकते हैं. इसके अलावा अप्रैल से सोना चांदी सस्ता हो सकता है.
इन सबके इतर आपके दिमाग में कई बार यह बात आती होगी कि आखिर सरकार के पास बजट के लिए पैसा कहां से आता है और फिर यह पैसा कहां और कैसे जाता है. आपके इस सवाल का जवाब इस खबर में है. आसान भाषा में समझिए कि देश के बजट के लिए सरकार के पास कहां से पैसा आता है. 2021-22 के बजट की कुल राशि को एक रुपये के कई हिस्सों में बांट दें तो आपके लिेए यह समझना आसान हो जाएगा.
कहां से आया पैसा
मान लीजिए कि सरकार के पास कुल एक रुपया आया है और अब सरकार को इसे अपने देश के बजट के लिए विभिन्न क्षेत्रों को देने हैं. इस क्रम में बात करें तो भारत सरकार को उधार और अन्य देयताएं यानी लाइबिल्टिज से 36 पैसे आए. निगम कर से 13 पैसे और आय कर यानी इनकम टैक्स से 14 पैसे मिले. सीमा शुल्क यानी कस्टम ड्यूटी से 3 पैसे आए. वहीं केंद्रीय उत्पाद शुल्क यानी सेंट्रल एक्साइज से 8 पैसे और जीएसटी से 15 पैसे हासिल हुए. कर- भिन्न राजस्व यानी अन्य रेवेन्यू सर्विसेज से 6 पैसे और कर्ज के इतर कैपिटल इनकम यानी ऋण-भिन्न पूंजी प्राप्तियां 5 पैसे हासिल हुए. इन पैसों का कुल जोड़ एक रुपये हुआ.
कहां जाता है पैसा
अब सरकार ने इस एक रुपये को कहां खर्च किया यह समझिए. सरकार ने केंद्रीय प्रायोजित योजनाओं पर 9 पैसे, केंद्रीय क्षेत्र की योजनाओं पर 13 पैसै, ब्याज चुकाने पर 20 पैसे और रक्षा के लिए 8 पैसे आवंटित किए हैं. वहीं देश की आर्थिक सहायता (सब्सीडी) के लिए 9 पैसे, वित्त आयोग और अन्य ट्रांसफर के लिए 10 पैसे. पेंशन के लिए पांच पैसे करों और शुल्क में राज्यों के हिस्सों के लिए 16 पैसे और अन्य खर्च के लिए 10 पैसे आवंटित किए हैं.