
सोने की बढ़ती कीमतों (Gold Price) के बीच वेदांता ग्रुप के चेयरमैन अनिल अग्रवाल (Anil Agarwal) ने निवेशकों का ध्यान दूसरे मेटल्स की तरफ आकर्षित किया है. उन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट (अब X) पर एक पोस्ट के जरिए इन्वेस्टर्स को सलाह दी है कि सोने की कीमतों में बढ़ोतरी स्वभाविक हैं, लेकिन चांदी (Silver), तांबा (Copper), जिंक (Zink), एल्यूमिनियम (Aluminium) भी इंडस्ट्रीज के लिए उतने ही उपयोगी हैं और इनमें निवेश भी फायदे का सौदा साबित हो सकता है. उन्होंने आने वाले समय में इस मेटल्स के तकनीक के इस्तेमाल पर भी जोर दिया.
सोने की तरह अन्य मेटल्स में भी संभावनाएं
Gold की कीमतों के साथ ही डिमांड बढ़ने का जिक्र करते हुए अनिल अग्रवान ने अपने अनुभवों के बारे में पोस्ट के जरिए बताया . अरबपति कारोबारी ने कहा कि मैंने उद्योगपतियों को सोने की तरफ भागते हुए देखा है. लेकिन मेरे हिसाब से तांबा, चांदी, जिंक समेत एल्यूमिनियम जैसे जितने भी दूसरे मेटल्स हैं, ये ना केवल पर्यावरण के अनुकूल हैं, बल्कि इन सभी को भी रिकाइकिल करने के बाद फिर से उपयोग में लाया जा सकता है और ये बड़ा कारण है कि मार्केट में इनकी डिमांड भी लगातार बढ़ती जा रही है. ऐसे में डिमांड में इजाफा इनमें निवेश करने वालों के लिए भी फायदेमंद साबित हो सकता है.
तेजी से बढ़ रही ग्रीन मेटल्स की डिमांड
अनिल अग्रवाल के मुताबिक, इन सभी ग्रीन मेटल्स की डिमांड में आपूर्ति के मुकाबले दोहरे अंकों में वृद्धि देखने को मिली है. भारत जो दुनिया में सबसे तेजी से आगे बढ़ती अर्थव्यवस्था के रूप में उभरा है और अपनी मैन्यूफैक्चरिंग क्षमताओं का विस्तार कर रहा है. अब देश को यह सुनिश्चित करने की जरूरत है कि हम इन सभी महत्वपूर्ण मेटल्स में भी आत्मनिर्भर हैं और ये नए युग की टेक्नोलॉजीस के लिए अहम हैं, फिर चाहे वो एनर्जी ट्रांजिशन (सोलर, पीवी सेल, बैटरी, ईवी) से संबंधित हों या आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) से संबंधित टेक्नोलॉजी से जुड़ी हों.
निवेश के लिए कर सकते हैं फोकस
वेदांता चेयरमैन की पोस्ट के मुताबिक, सोना की तरह ही निवेश के तौर पर चांदी, तांबा, जिंक, एल्यूमिनियम जैसी धातुओं पर भी फोकस किया जा सकता है. जिस तरह से विभिन्न सेक्टर्स में इन मेटल्स की डिमांड लगातार बढ़ रही है और दोहरे अंकों में पहुंच चुकी है. इसे देखते हुए इनमें निवेश करने वाले अच्छा प्रॉफिट कमा सकते हैं. उन्होंने लिखा कि सोने में निवेश उन हालातों में काफी बढ़ जाता है, जब भू-राजनीतिक हालात बिगड़े होते हैं या फिर वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता गहराई होती है. ऐसा ही बीते कुछ समय में भी देखने को मिला है.
बीते कुछ दिनों में इतना सस्ता हुआ गोल्ड
पहले रूस और यूक्रेन में युद्ध, फिर इजरायस-हमास वार और उसके ठीक बाद इजरायल-ईरान में संघर्ष, इन सबसे भू-राजनीतिक हालात बिगड़े और इन तीनों ही स्थितियों के दौरान निवेशकों ने सुरक्षित ठिकाने और शानदार रिटर्न के लिए सोने की तरफ भागना शुरू कर दिया. ऐसे में सोने की डिमांड बढ़ने के साथ ही इसकी कीमतों में भी जोरदार तेजी आई. बीते 16 अप्रैल 2024 को एमसीएक्स पर Gold Price 74000 रुपये प्रति दस ग्राम के करीब पहुंच गए थे और ग्लोबल मार्केट में ये 2400 डॉलर प्रति औंस (1 औंस में 28 ग्राम) तक पहुंच गया था.
हालांकि, बीते कुछ समय में सोने की कीमतें तेजी से नीचे आई हैं और ये 2300 डॉलर प्रति औंस के आस-पास पहुंच गई हैं. भारतीय करेंसी के हिसाब से देखें तो 16 अप्रैल के बाद से सोने का भाव करीब 3300 रुपये के आस-पास कम हो चुकी हैं. इसके पीछे ईरान और इजरायल में युद्ध थमने के संकेतों को बड़ा कारण माना जा सकता है.