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Amazon के खि‍लाफ CBI जांच की CAIT ने की मांग, कंपनी कर रही इंटर्नल इंक्वायरी

कंफडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) ने वाण‍िज्य मंत्री पीयूष गोयल को लेटर लिखकर ई-कॉमर्स दिग्गज Amazon द्वारा कथ‍ित घूसखोरी की सीबीआई जांच शुरू करने की मांग की है. एमेजॉन ने आंतरिक जांच शुरू की है और एक वरिष्ठ कर्मचारी को छुट्टी पर भेज दिया है. 

Amazon की केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल से श‍िकायत (फाइल फोटो: Getty Images)  Amazon की केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल से श‍िकायत (फाइल फोटो: Getty Images)
राहुल श्रीवास्तव
  • नई दिल्ली ,
  • 21 सितंबर 2021,
  • अपडेटेड 5:29 PM IST
  • भ्रष्टाचार के मामले में श‍िकायत
  • कंपनी कर रही आंतरिक जांंच

छोटे व्यापारियों के संगठन CAIT ने केंद्रीय वाण‍िज्य मंत्री पीयूष गोयल को लेटर लिखकर ई-कॉमर्स वेबसाइट Amazon के खि‍लाफ सीबीआई जांच की मांग की है. एमेजॉन (Amazon) द्वारा भारत में 'लीगल फीस' के रूप में हजारों करोड़ रुपये के भुगतान का मामला सामने आया है, जो कि रिश्वत या टैक्स चोरी का मसला हो सकता है.

इस खबर के सामने आने के बाद एमेजॉन ने आंतरिक जांच शुरू की है और बताया जा रहा है कि उसने एक वरिष्ठ कर्मचारी को छुट्टी पर भेज दिया है. इस पर बयान जारी करते हुए सोमवार को एमेजॉन ने कहा था कि कंपनी में भ्रष्टाचार को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और सभी जरूरी कदम उठाए जाएंगे.

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सरकार के वरिष्ठ सूत्रों के अनुसार भारत में एमेजॉन समूह की कंपनियों ने अपने बहीखाते में लीगल फीस के रूप में हजारों करोड़ रुपये के भुगतान को दिखाया है. सरकारी सूत्रों के मुताबिक एमेजॉन की कंपनियों ने 2018-19 और 2019-20 के दौरान लीगल प्रोफेशनल चार्ज के रूप में 8,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का भुगतान किया है. 

कंफडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) ने वाण‍िज्य मंत्री पीयूष गोयल को लेटर लिखकर ई-कॉमर्स दिग्गज Amazon द्वारा कथ‍ित घूसखोरी की सीबीआई जांच भी शुरू करने की मांग की है. 

CBI जांच की मांग 

संगठन ने कहा कि एमेजॉन को जांच होने तक अपनी ई-कॉमर्स साइट बंद और इससे जुड़ी सभी गतिविध‍ि निलंबित रखने का आदेश देना चाहिए. संगठन ने कहा, 'यह मामला काफी गंभीर और सनसनीखेज है. हमारी मांग है कि जब तक इसकी सीबीआई जांच नहीं हो जाती, एमेजॉन को अपना ई-कॉमर्स पोर्टल सस्पेंड करने और इससे जुड़ी अन्य सभी गतिविध‍ियां बंद रखने का आदेश दिया जाए.' 

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क्या है मामला 

असल में मीडिया में ऐसी खबरें आई हैं कि एमेजॉन के एक कानूनी प्रतिनिध‍ि घूसखोरी में लिप्त पाए गए हैं. आरोप हैं कि उन्होंने रिश्वत देकर भारत में कई तरह की नियामकीय मंजूरी दिलाई. 

द मॉर्निंग कॉन्टेक्स्ट' की एक खबर के अनुसार, एमेजॉन ने भारत सरकार के अधिकारियों को कथित रूप से रिश्वत देने के लिए अपने कुछ कानूनी प्रतिनिधियों के खिलाफ जांच शुरू की है. खबरों के मुताबिक इस संबंध में उसने अपने वरिष्ठ कॉरपोरेट वकील को छुट्टी पर भेज दिया है.

एमेजॉन की पांच कंपनियों के वित्तीय आंकड़ों को खंगालने से यह पता चलता है कि सबसे ज्यादा Amazon सेलर सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड, बेंगलुरु ने भुगतान किया है. वित्त वर्ष 2018-20  और 2019-20 के दौरान इस कंपनी ने लीगल फीस के रूप में 1,448 करोड़ रुपये और 1,969 करोड़ रुपये का भुगतान किया है, जबकि इस दौरान कंपनी की आय महज क्रमश: 7,800 करोड़ रुपये और 11,000 करोड़ रुपये रही.  इसके पहले साल के दौरान भी कंपनी ने 1,145.1 करोड़ रुपये के लीगल फीस का भुगतान किया था. 

क्या कहा कंपनी ने 

इस खबर के सामने आने के बाद एमेजॉन ने आंतरिक जांच शुरू की है और बताया जा रहा है कि उक्त वरिष्ठ कर्मचारी को छुट्टी पर भेज दिया गया है. इस पर बयान जारी करते हुए सोमवार को एमेजॉन ने कहा था कि कंपनी में भ्रष्टाचार को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और सभी जरूरी कदम उठाए जाएंगे.

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