
अमेरिका और ट्रंप की ओर से टैरिफ लगाने के ऐलान के बीच कनाडा और चीन के बीच ट्रेड वॉर शुरू होता दिख रहा है. रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, कनाडा द्वारा चीनी इलेक्ट्रिक वाहनों, इस्पात और एल्युमीनियम उत्पादों पर आयात शुल्क लगाए जाने के जवाब में चीन ने शनिवार को कुछ कनाडाई एग्रीकल्चर और खाद्य उत्पादों पर शुल्क लगाने का ऐलान किया है.
चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि 20 मार्च से कनाडाई रेपसीड तेल, ऑयलकेक और मटर पर 100% टैरिफ लागू किया जाएगा, जबकि जलीय उत्पादों और पोर्क पर एक्स्ट्र 25% टैरिफ लगाया जाएगा. चीन ने यह ऐलान तब किया है, जब कनाडा ने चीन की इलेक्ट्रिक वाहनों, स्टील और एल्युमीनियम प्रोडक्ट्स पर टैरिफ लगाया है.
अमेरिका का अन्य देशों पर टैरिफ
इससे पहले अमेरिका ने चीन, कनाडा, मैक्सिको और भारत पर टैरिफ लगाने का ऐलान किया है. अमेरिका ने चीन पर 20 फीसदी टैरिफ लगाया है, जबकि कनाडा और मैक्सिको पर 25 फीसदी टैरिफ लगाने का ऐलान किया है. वहीं अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर पारस्परिक टैरिफ लगाने की बात कही है. यह टैरिफ 2 अप्रैल से भारत समेत अन्य देशों पर अमेरिका द्वारा लगाया जाएगा.
अमेरिका पर भी जवाबी पलटवार
पलटवार करते हुए कनाडा, मैक्सिको और चीन ने भी अमेरिका पर टैरिफ का ऐलान किया है. इन देशों ने अमेरिका से आयात होनी वाली चीजों पर टैरिफ लगा रहे हैं. कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भी 30 अरब कनाडाई डॉलर मूल्य के अमेरिकी आयात पर टैरिफ लगा दिया. कनाडा ने भी अमेरिकी प्रोडक्ट्स पर 25 फीसदी अतिरिक्त सरचार्ज लगा दिया है.
जस्टिन ट्रूडो ने डोनाल्ड ट्रंप पर तीखा हमला बोला. ट्रूडो ने ट्रंप के ऊपर कनाडा की अर्थव्यवस्था को बर्बाद करने का आरोप लगाया है. इतना ही नहीं कनाडा के ओंटारियो प्रांत के प्रीमियर (Premier of Ontario) डग फोर्ड ने अमेरिका को बत्ती गुल की धमकी दी है. कनाडा के ओंटारियो प्रांत से अमेरिका के तीन राज्यों मिनिसोटा, मिशिगन और न्यूयॉर्क के करीब 15 लाख घरों में ओंटारियो से बिजली की सप्लाई की जाती है.
इसी तरह मैक्सिको ने भी अमेरिकी प्रोडक्ट्स पर टैरिफ लगाने का ऐलान किया है. वहीं चीन की बात करें तो चीन युद्ध तक की इच्छा जाहिर कर दी है. चीन ने अमेरिका पर उतना ही टैरिफ लगाया है, जितना की अमेरिका ने चीन के प्रोडक्ट्स पर लगा चुका है.
ट्रेड वॉर की शुरुआत?
अमेरिका के बाद अब कनाडा-चीन के बीच टैरिफ लगाने की जद्दोजहद ट्रेड वॉर जैसी स्थिति पैदा कर रही है. एक्सपर्ट्स का मानना है कि अगर बाकी देश भी ऐसे ही आपस में टैरिफ लगाने का ऐलान करते हैं तो गंभीर स्थिति पैदा हो सकती है. दुनिया में महंगाई और बढ़ सकती है. साथ ही ग्लोबल समेत दुनिया भर के शेयर बाजार पर बुरा असर पड़ सकता है.