
ऑनलाइन फूड डिलिवरी की सेवाएं देने वाली कंपनी Zomato के लिए Blinkit से हाथ मिलाना फायदे का सौदा साबित नहीं हुआ है. बीते शुक्रवार को डील पर मुहर लगने के बाद से इसके शेयरों में गिरावट का जो सिलसिला शुरू हुआ, वो लगातार जारी है. इकोनोमिक टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबित, चार कारोबारी सत्रों में ही कंपनी के निवेशकों को हजारों करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है.
चार कारोबारी सत्र में इतनी गिरावट
रिपोर्ट में कहा गया कि जब से Zomato ने Blinkit के अधिग्रहण को मंजूरी दी है, तब से हर दिन इसके शेयरों का भाव बुरी तरह से टूटा है. चार कारोबारी दिनों के भीतर ही कंपनी के शेयरों का भाव 25 फीसदी तक गिर गया है. इस गिरावट के कारण कंपनी का मार्केट कैप लगभग 12 हजार करोड़ रुपये कम हो गया है.
इतना कम हो गया मार्केट कैप
गुरुवार को भी Zomato के शेयरों में भारी गिरावट आई है और दिनभर के कारोबार के अंत में बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (BSE) पर कंपनी के शेयरों में 5.76 फीसदी की गिरावट आई और ये टूटकर 54 रुपये के स्तर पर पहुंच गया है. इस बीच कंपनी का मार्केट कैपिटल और भी गिरकर 47,366 करोड़ रुपये से फिसलकर 35,686 करोड़ रुपये पर आ गया है.
ऑल टाइम लो के करीब शेयर
Zomato ने अपना आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) साल 2021 में लॉन्च किया गया था. कंपनी ने इश्यू प्राइस 76 रुपये निर्धारित किया था. शेयर बाजार में लिस्ट होने के बाद इसके शेयरों के भाव में जोरदार उछाल आया था और नवंबर 2021 में यह 169.10 रुपये के अपने ऑल टाइम हाई पर पहुंच गया था. फिलहाल, इसका भाव टूटकर 11 मई 2022 के अपने ऑल टाइम लो स्तर 50.35 रुपये के करीब पहुंच गया है.
4,447 करोड़ रुपये में हुई डील
रिपोर्ट में विशेषज्ञों के हवाले से कहा गया है कि Zomato के मुनाफे की राह में Blinkit सौदा बड़ा रोड़ा बनकर सामने आया है. गौरतलब है कि जोमैटो ने ब्लिंकिट का अधिग्रहण 568.16 मिलियन डॉलर यानी लगभग 4,447 करोड़ रुपये में किया है. ब्लिंकइट को पहले Grofers के नाम से जाना जाता था. ब्लिंकइट अभी देश के 20 से अधिक शहरों में काम करती है और लोगों को 10 मिनट में राशन डिलीवरी देने पर काम करती है.