
जेट एयरवेज की पिछले कुछ महीनों में हालत बेहद खराब रही और आखिरकार इसका संचालन बंद हो गया. इसका दिग्गज एयरलाइन इंडिगो को खूब फायदा मिलता दिख रहा है. इंडिगो की मूल कंपनी इंटर ग्लोब एविएशन का शुद्ध लाभ 2018-19 की जनवरी-मार्च तिमाही में पांच गुना बढ़कर 589.6 करोड़ रुपये पहुंच गया.
इससे पिछले वित्त वर्ष की इसी तिमाही में कंपनी को 117.6 करोड़ रुपये का लाभ हुआ था. न्यूज एजेंसी पीटीआई के मुताबिक विमानन कंपनी की कुल आय मार्च 2019 को समाप्त तिमाही में 35.5 प्रतिशत बढ़कर 8,259.8 करोड़ रुपये रही जो इससे पूर्व वित्त वर्ष की इसी तिमाही में 6,097.7 करोड़ रुपये थी. सस्ती विमानन सेवा देने वाली कंपनी ने कहा कि पूरे वित्त वर्ष 2018-19 में शुद्ध लाभ 156.1 करोड़ रुपये रहा जो इससे पूर्व वित्त वर्ष के मुकाबले 93 प्रतिशत कम है.
इंडिगो के मुख्य कार्यपालक अधिकारी रानोजॉय दत्ता ने कहा, 'वित्त वर्ष 2018-19 एयरलाइन उद्योग के लिये कठिन वर्ष रहा. इसका कारण ईंधन की ऊंची कीमत, रुपये की विनिमय दर में गिरावट तथा कड़ी प्रतिस्पर्धा का माहौल रहा.' उन्होंने कहा कि वह भविष्य के लिये उत्साहित हैं और लाभदायक वृद्धि के कई अवसरों को देख रहे हैं.
हालांकि कुछ दिनों पहले इंडिगो के भी मुश्किल में आने की खबर आई थी और कहा गया कि देश की सबसे बड़ी एयरलाइंस इंडिगो के दो संस्थापकों के बीच गंभीर मतभेद हैं. हालांकि कंपनी की तरफ से इसका खंडन आया.
कंपनी की तेज विस्तार की योजना लगातार जारी है. इंडिगो ने कोलकाता को जोड़ने वाली छह नई उड़ानों के संचालन की घोषणा की है. नई उड़ानों का संचालन 20 जुलाई से किया जाएगा. इसके अतिरिक्त किफायती एयरलाइन चार जुलाई से दिल्ली-काठमांडू मार्ग पर तीसरी सीधी उड़ान की शुरुआत करेगी. डीजीसीए के आंकड़ों के मुताबिक घरेलू यात्री बाजार में 2019 की पहली तिमाही में 44.3 प्रतिशत की हिस्सेदारी के साथ इंडिगो देश की सबसे बड़ी एयरलाइन है.
इंडिगो की यह सफलता इस लिहाज से काबिलेतारीफ है कि इसके पहले हम दो निजी एयरलाइंस किंगफिशर और जेट एयरवेज को बर्बाद होते देख चुके हैं. सरकारी एयरलाइंस एयर इंडिया की भी हालत भी बेहद खराब है.
गौरतलब है कि जेट एयरवेज के ऊपर 8,500 करोड़ रुपये का कर्ज है. कंपनी को चलाए रखने के लिए 400 करोड़ रुपये के आपात फंड की जरूरत थी, लेकिन एसबीआई ने इसे देने से इंकार कर दिया. जेट एयरवेज की उड़ान सेवाएं रोक दी गई हैं. जेट एयरवेज संकट की वजह से करीब 23 हजार कर्मचारी प्रभावित हैं. इन कर्मचारियों को कई महीनों से सैलरी नहीं मिली है. जेट की उड़ानें बंद होने से इंडिगो और स्पाइसजेट जैसे दूसरे एयरलाइंस को अपनी सेवाओं में विस्तार का अच्छा मौका मिल गया है.