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देश के टॉप डॉक्टर्स ने लगवाया कोरोना का टीका, पढ़ें- कैसा रहा उनका अनुभव

भारत में अभी तक दो वैक्सीन को मंजूरी मिली है, जिनका इस्तेमाल पूरे देश में हो रहा है. 16 जनवरी से शुरू हुए अभियान में अबतक लाखों लोग वैक्सीन ले चुके हैं, जिनमें देश के कई नामी संस्थाओं के डॉक्टर्स भी शामिल हैं. जो सभी में वैक्सीन के प्रति भरोसा भी जगा रहे हैं और खुद आगे आकर टीका लगवा रहे हैं.

लखनऊ के प्रो. आरके धीमान ने भी लगवाया है टीका (फोटो: aajtak) लखनऊ के प्रो. आरके धीमान ने भी लगवाया है टीका (फोटो: aajtak)
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 18 जनवरी 2021,
  • अपडेटेड 4:56 PM IST
  • देश में जारी है कोरोना वैक्सीनेशन का काम
  • शुरू में स्वास्थ्यकर्मियों को लग रहा टीका
  • देश के जाने-माने डॉक्टरों ने बताया अनुभव

कोरोना वायरस के महासंकट को पीछे छोड़ने के लिए देश में कोरोना वैक्सीनेशन के अभियान की शुरुआत हो चुकी है. भारत सरकार द्वारा शुरू किए गए इस अभियान के तहत सबसे पहले हेल्थवर्कर्स को टीका लगाया जा रहा है. भारत में अभी तक दो वैक्सीन को मंजूरी मिली है, जिनका इस्तेमाल पूरे देश में हो रहा है. 16 जनवरी से शुरू हुए अभियान में अबतक लाखों लोग वैक्सीन ले चुके हैं, जिनमें देश के कई नामी संस्थाओं के डॉक्टर्स भी शामिल हैं. जो सभी में वैक्सीन के प्रति भरोसा भी जगा रहे हैं और खुद आगे आकर टीका लगवा रहे हैं.  इन्हीं डॉक्टरों का अनुभव वैक्सीन लेने के बाद कैसा रहा, आप भी जानिए... 

‘टीकाकरण के बाद सर्जरी भी की, मैं बिल्कुल ठीक’
लखनऊ के मेदांता अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डॉ. राकेश कपूर ने भी कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाया. अपना अनुभव साझा करते हुए उन्होंने कहा कि टीका लगने के बाद वो आधे घंटे तक ऑब्जरवेशन में रहे, उन्हें कोई दिक्कत नहीं हुई. यहां तक कि टीका लगने के बाद उन्होंने अब एक सर्जरी भी कर दी है, ऐसे मे वो पूरी तरह स्वस्थ हैं.

लखनऊ के ही SGPGI अस्पताल के डायरेक्टर आरके धीमान भी वैक्सीन लगवाने वालों में शामिल रहे. उन्होंने बताया कि टीका लगवाने के बाद उन्हें कोई दिक्कत नहीं हुई. खुद टीका लगवाने के बाद उन्होंने अस्पताल में जारी टीकाकरण अभियान का निरीक्षण भी किया. 

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लखनऊ की किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में मेडिकल विभाग के प्रमुख डॉ. सूर्यकांत त्रिपाठी यहां डॉक्टरों में टीका लगवाने में सबसे आगे रहे. उन्होंने कहा कि कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाने में कोई दिक्कत नहीं है, वो बिल्कुल ठीक महसूस कर रहे हैं. साथ ही उन्होंने लोगों से भी अपील की, वो आगे आकर कोरोना वैक्सीन लें.

KGMU के डॉ. सूर्यकांत त्रिपाठी (फोटो: aajtak)


जयपुर में 84 साल के डॉक्टर ने लगवाया टीका
कोरोना वैक्सीनेशन का काम देशभर में हो रहा है. राजस्थान के जयपुर हॉस्पिटल में कोविशील्ड वैक्सीन का टीका लगाया जा रहा है. यहां स्वास्थ्यकर्मियों को टीका लग रहा है और इनमें 84 साल के डॉ. एम.एल. शर्मा भी शामिल हैं. एम.एल शर्मा अस्पताल के सबसे वरिष्ठ डॉक्टर हैं, जिन्हें वैक्सीन का टीका लगा है. जब उनसे अनुभव पूछा गया तो एम.एल. शर्मा ने बताया कि वो खुद काफी उत्साहित थे, उन्हें अभी ही वैक्सीन की पहली डोज दी गई है. वो बिल्कुल ठीक हैं, अब हर किसी को आगे आना चाहिए ताकि देश को इस कोरोना बीमारी से छुटकारा मिल सके. 

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डॉ. एम.एल. शर्मा


जयपुर के इस प्राइवेट अस्पताल में कोविशील्ड वैक्सीन के डोज ही दिए जा रहे हैं. यहां हर रोज करीब सौ लोगों को टीका लगाने का लक्ष्य रखा गया है. टीका लगने के बाद हर किसी को आधे घंटे तक ऑब्जरवेशन में रखा जा रहा है और चेकअप के बाद विदा किया जा रहा है.

गुजरात में तेजी से चल रहा अभियान, संतुष्ट दिखे डॉक्टर
एक वक्त पर कोरोना से काफी प्रभावित रहे गुजरात में भी वैक्सीनेशन का अभियान तेजी से चल रहा है. अभी तक हजारों लोगों को गुजरात में वैक्सीन का टीका लग चुका है, जिसमें राज्य के कई जाने-माने डॉक्टर भी शामिल हैं. वर्ल्ड मेडिकल काउंसल के पूर्व अध्यक्ष डॉ. केतन देसाई ने टीका लगवाने के बाद अपना अनुभव साझा किया, उन्होंने कहा कि वो बिल्कुल ठीक महसूस कर रहे हैं. ना ही किसी तरह का सिर दर्द और ना ही उल्टी आने जैसी कोई फीलिंग है, ऐसे में हर किसी को आगे आना चाहिए.

डॉ. केतन को जब टीका लगा तो गुजरात के सीएम और डिप्टी सीएम भी वहां मौजूद रहे.


गुजरात की ही डॉ. मोना देसाई जो कि ऑल इंडिया मेडिकल काउंसल की वुमेन विंग की प्रमुख हैं, उन्होंने भी टीका लगवाया. मोना देसाई के मुताबिक, वैक्सीन लेने के बाद उन्हें किसी तरह का साइड इफेक्ट महसूस नहीं हुआ है. हालांकि, मोना ने बताया कि कंधे पर जिस जगह इंजेक्शन लगा उस जगह कुछ देर के लिए हल्का लाल निशान जरूर बना. अहमदाबाद सिविल अस्पताल के डॉ. जेवी मोदी के मुताबिक भी टीका लगवाने के बाद उन्हें कोई परेशानी नहीं हुई, सिर्फ इंजेक्शन वाली जगह कुछ देर लाल निशान रहा.

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डॉ. मोना देसाई


यहां सिविल अस्पताल में चिल्ड्रन डिपार्टमेंट के प्रमुख डॉ. राकेश जोशी के मुताबिक, कोरोना टीका लगवाने के बाद वो बिल्कुल ठीक महसूस कर रहे हैं. साथ ही उन्हें इंजेक्शन लगने वाली जगह पर भी कोई परेशानी या दर्द नहीं हुआ.

डॉ. गुलेरिया ने बताया अपना अनुभव
देश के सबसे बड़े अस्पताल AIIMS के डायरेक्टर डॉ रणदीप गुलेरिया ने भी वैक्सीनेशन के पहले दिन ही टीका लगवाया था. रणदीप गुलेरिया कोरोना संकट काल में लगातार एक्टिव दिखे और आम लोगों को हर बार आकर इसको लेकर जानकारी दी. टीका लगवाने के बाद जब डॉ गुलेरिया ने अपना अनुभव बताया तो उन्होंने कहा कि वो बिल्कुल स्वस्थ हैं और पूरे दिन अपना काम कर रहे हैं.

डॉ. रणदीप गुलेरिया ने ये भी सलाह दी कि मामूली साइड इफेक्ट से हमें डरने की जरूरत नहीं है, अगर आप कोई भी दवाई लेते हैं तो कुछ एलर्जिक रिएक्शन हो सकता है.  ऐसे में लोगों को बिना किसी झिझक के वैक्सीनेशन में सहयोग करना चाहिए और टीका लगवाना चाहिए.

डॉ रणदीप गुलेरिया (PTI)

आपको बता दें कि देश में 16 जनवरी से कोरोना वैक्सीनेशन का काम शुरू हुआ है. भारत में कुल दो वैक्सीन (कोविशील्ड, कोवैक्सीन) को मंजूरी मिली है, जिनका इस्तेमाल हो रहा है. भारत में पहले चरण में स्वास्थ्यकर्मियों को वैक्सीन का टीका लगाया जा रहा है. इनके बाद हेल्थवर्कर्स का नंबर आएगा और फिर 50 से अधिक उम्र वाले लोगों को टीका दिया जाएगा.

भारत सरकार की ओर से लगातार लोगों से अपील की जा रही है कि वैक्सीन से घबराएं ना और आगे आकर टीका लगवाएं. खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी लोगों से अपील कर चुके हैं कि वो वैक्सीनेशन पर किसी तरह की अफवाह पर ध्यान ना दें. 

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