
मुंबई के पास वसई के बीच पर एक सिर कटी लाश बरामद हुई. ये लाश एक लड़की की थी, जो काले रंग के एक सूटकेस में पैक थी. पुलिस लाश को बरामद कर पोस्टमॉर्टम के लिए भिजवाने के साथ-साथ उसके कटे सिर को ढूंढने की कोशिश शुरू कर दी. कोशिश लाश की पहचान पता करने की भी होती है, लेकिन ये कोशिश करते-करते करीब साल भर का वक्त गुजर जाता है. मगर पुलिस को कोई भी सुराग हाथ नहीं लगता, लेकिन तभी एक रोज़ अचानक एक शख्स एक लड़की को ढूंढता हुआ पुलिस के पास पहुंचा और फिर उस सिर कटी लाश का खौफनाक राज़ खुला तो सबके होश उड़ गए.
26 जुलाई 2021, वसई - महाराष्ट्र
उस दिन मुंबई के पास वसई इलाके में वसई भुईगांव बीच पर कीचड़ में लोगों को काले रंग का एक बड़ा सा सूटकेस पड़ा मिलता है. खबर पुलिस तक पहुंचती है और पुलिस फौरन मौका-ए-वारदात पर पहुंच जाती है. मामला पहली ही नजर में बेहद संदिग्ध लगता है, क्योंकि यूं एक सुनसान बीच पर किसी सूटकेस के पड़े होने का और कोई मतलब समझ में नहीं आता. और जैसी आशंका थी, वही होता है. सूटकेस से एक लाश बरामद होती है. एक लड़की की सिर कटी लाश.
कत्ल का मामला दर्ज
चूंकि पहली ही नजर में ये साफ हो जाता है कि ये मामला कत्ल का है, वसई पुलिस फौरन आईपीसी की धारा 302 के तहत कत्ल का केस दर्ज कर मामले की छानबीन शुरू कर देती है, लेकिन लाख कोशिश के बावजूद और कई महीने गुजर जाने के बाद भी पुलिस के हाथ खाली ही रहते हैं. इस बीच पुलिस लाश, सूटकेस, लाश पर मौजूद कपड़े वगैरह की अलग-अलग तस्वीरें उतार कर उसके पोस्टर बना कर पूरे महाराष्ट्र में फैला देती है ताकि कहीं से भी अगर कोई इन तस्वीरों को देख कर पुलिस से संपर्क करे, तो तफ्तीश आगे बढ़ाई जा सके.
एक साल बाद भी नहीं मिलता सुराग
लेकिन पुलिस की इन कोशिशों का भी कोई फायदा नहीं होता. हार कर पुलिस लाश का पोस्टमॉर्टम करवाती है और उसके कुछ डीएनए सैंपल सुरक्षित रख कर मामले में कोई सुराग़ मिलने का इंतजार करने लगती है. इस तरह पूरे एक साल गुज़र जाते हैं. लेकिन पुलिस को इस लाश के सिलसिले में कहीं से कोई खबर नहीं मिलती.
लड़की की तलाश में मुंबई आते हैं परिजन
उधर, मारी गई लड़की के घरवाले कर्नाटक के बेलगाम से करीब साल भर बाद अपनी बेटी को तलाशते हुए मुंबई पहुंचते हैं. असल में सानिया शेख नाम की उस लड़की की शादी मुंबई के ही नालासोपारा के रहनेवाले आसिफ शेख के साथ हुई थी. सानिया के मां-बाप की बचपन में ही मौत हो गई थी और उसे उसके चाचा-चाची ने पाला था. पिछले एक साल से उसके चाचा अपनी भतीजी से फोन पर बात करने की कोशिश कर रहे थे. लेकिन उसका फोन स्विच्ड ऑफ आ रहा था. जबकि उनका दामाद आसिफ हर बार अपने ससुराल से फोन आने पर रॉन्ग नंबर बता कर फोन काट देता था.
मुंब्रा में मिले लड़की के ससुरालवाले
खैर.. मुंबई आने के बाद जब सानिया के घरवाले जब नालासोपारा में सानिया के ससुराल गए, तो ये जानकर हैरान रह गए कि आसिफ और उसका परिवार अब वहां रहता ही नहीं है. हालांकि इसके बाद काफी मशक्कत करके सानिया के चाचा जावेद शेख, अपने दामाद आसिफ की मां से बात करने में कामयाब हो गए और आसिफ की मां ने धोखे में आकर उन्हें ये बता दिया कि अब वो नालासोपारा की प्रॉपर्टी बेच कर मुंब्रा शिफ्ट हो गए हैं और वहीं रहते हैं. अब सानिया के चाचा जावेद और बाकी रिश्तेदार मुंब्रा में उसके ससुराल पहुंचे, वहां उन्होंने सानिया और आसिफ की छोटी सी बेटी अमाइरा को तो घर में देखा, लेकिन सानिया कहीं नजर नहीं आई.
परिजनों को सुनाई झूठी कहानी
जब उन्होंने अपनी बेटी के बारे में उसके ससुरालवालों से पूछा तो ससुरालवालों ने टका सा जवाब दिया कि सानिया के शादी के बाद भी किसी से रिश्ते थे और वो अपने उसी ब्वॉयफेंड के साथ घर से फरार हो गई. ये सुनकर लड़की के घरवालों को बड़ा धक्का पहुंचता है. वे हैरान रह जाते हैं, लेकिन उन्हें इस बात पर यकीन नहीं होता कि उनकी बेटी ऐसा कर सकती है.
29 अगस्त 2022, नालासोपारा, मुंबई
अब सवाल ये था कि अगर ऐसा ही था तो फिर सानिया के ससुरालवालों ने इस सिलसिले में उसके घरवालों को बताने या पुलिस से शिकायत करने की जरूरत क्यों नहीं समझी? जाहिर है मामले को देखकर साफ था कि कहीं ना कहीं दाल में कुछ काला जरूर है. अब सानिया के घरवालों ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. उनकी शिकायत पर नालासोपारा की अचोल थाना पुलिस ने इसी साल यानी 29 अगस्त 2022 को सानिया की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखी और नए सिरे से मामले की जांच शुरू कर दी.
घरवालों ने तस्वीरें देखकर की लाश की शिनाख्त
अचोल पुलिस ने साल भर पहले वसई भुईगांव बीच से मिली उस सिरकटी लाश की तस्वीरें सानिया के पति और ससुरालवालों को दिखाई, तो उन्होंने लाश को पहचानने से ही इनकार कर दिया. लेकिन जब पुलिस ने यही तस्वीरें बेलगाम से आए सानिया के घरवालों को दिखाई, तो उन्होंने देखते ही पहचान लिया कि ये उनकी बेटी की ही लाश है. घरवालों ने लाश के साथ मिले कपड़ों वगैरह की भी पहचान कर ली.
सानिया के ससुरालवालों से पूछताछ
इस तरह पुलिस अब साल भर पहले मिली सिर कटी लाश की पहचान पता कर चुकी थी. लेकिन अभी उसके लिए ये पता करना बाकी था कि आखिर सानिया का कत्ल किसने किया और क्यों? लिहाज़ा, पुलिस ने उसके घरवालों की शिकायत पर सबसे पहले सानिया के ससुराल वालों को ही पूछताछ के लिए बुला लिया. ससुराल वालों ने पुलिस के पास भी सानिया के घर से भाग जाने की वही कहानी दोहराई और कत्ल पर हैरानी जताने लगे.
पति और बेटी के डीएनए से की लाश की तस्दीक
लेकिन अब सानिया के घरवालों के साथ-साथ पुलिस को भी लगने लगा था कि हो ना हो इस कत्ल में सानिया के ससुराल वालों का ही हाथ है. लेकिन पुलिस ने किसी को भी गिरफ्तार करने से पहले मामले की पूरी तरह तस्दीक कर लेना ठीक समझा. पुलिस ने सानिया के पति आसिफ और उनकी नन्हीं सी बेटी अमाइरा के डीएनए सैंपल कलेक्ट कर लिए. सानिया की लाश से उसका डीएनए सैंपल पहले ही लिया जा चुका था और जब इन सैंपल की रिपोर्ट आई, तो ये साफ हो गया कि वसई के बीच पर मिली वो सिर कटी लाश सानिया की ही थी.
पुलिस के सख्ती के सामने टूटा पति, उगला सच
अब ये साफ हो चुका था कि सानिया का साल भर पहले ही कत्ल किया जा चुका था. लेकिन कातिल को पकड़ना अभी बाकी था. पुलिस ने एक बार फिर सानिया के पति को पूछताछ के लिए बुलाया. उसने पहले तो पुलिस को तमाम झूठी सच्ची कहानियां सुनाईं, लेकिन फिर जैसे ही पुलिस ने उससे सख्ती की और आखिरकार वो टूट गया. उसने मान लिया कि उसी ने अपने घरवालों के साथ मिलकर अपनी बीवी सानिया की जान ली थी और उसकी सिर कटी लाश वसई भुईगांव बीच पर फेंक आया था. जबकि लाश की पहचान ना हो, इसलिए उसका सिर उन्होंने खानीवाडे की खाड़ी में फेंका था.
21 जुलाई 2021, बकरीद का दिन
यही वो दिन था, जब लोग खुदा की राह में कुर्बानी दे रहे थे, तब आसिफ और उसके परिवार ने सानिया का कत्ल किया था. इस रोज़ जब पूरी दुनिया बकरीद की खुशियां मना रही थी, तब आसिफ के घरवाले पूरी प्लानिंग के मुताबिक अपनी बहू की जान ले रहे थे. उन्होंने बकरीद के बहाने सानिया की छोटी सी बेटी अमाइरा को पहले ही उसकी बुआ के घर भेज दिया था. फिर आसिफ, उसके पिता हनीफ और आसिफ के भाई यासीन ने मिलकर पहले सानिया के हाथ पांव बांध कर उसे पानी के टब में डाल दिया और डूबने से उसकी जान चली गई. इसके बाद सबूत मिटाने के लिए आसिफ और उसके पिता हनीफ ने खुद अपने हाथों से सानिया का सिर काट कर धड़ से अलग कर दिया. फिर सिर और धड़ को अलग-अलग जगह फेंकने की प्लानिंग की.
सूटकेस में पैक कर फेंका था धड़
उन्हें पकडे जाने का डर कुछ इतना ज्यादा था कि सिर काटने के बाद भी आसिफ ने पहले हेयर ट्रिमर से सानिया के सिर के बाल हटा दिए और फिर उसके चेहरे पर होठों के करीब मौजूद एक तिल को भी काट कर निकाल दिया. ताकि अगर कहीं कटा हुआ सिर भी पुलिस के हाथ लग जाए, तो उसकी पहचान मुमकिन ना हो. इसके बाद आसिफ ने अपने भाई यासीन के साथ मिलकर उस सिर को एक बाइक पर ले जाकर खानीवाडे की खाड़ी में ले जाकर फेंक दिया. फिर धड़ को निपटाने के लिए आसिफ ने अपने कैब डाइवर बहनोई युसूफ को घर बुलाया और फिर धड़ को एक बडे से सूटकेस में पैक कर वसई भुईगांव बीच ले जाकर फेंक दिया.
पति और ससुरालवालों की गिरफ्तारी
बेशक इस वारदात के छह दिनों के अंदर ही सानिया की सिर कटी लाश बरामद हो गई, लेकिन पहचान ना होने और किसी भी घरवाले के सामने नहीं आने की वजह से करीब साल भर तक ये मामला अनसुलझा रहा. लेकिन आखिरकार जब उसके चाचा ने पुलिस में रिपोर्ट लिखवाई, तो सानिया के कत्ल की रौंगटे खडे करनेवाली ये सच्चाई सामने आ गई. इसके बाद पुलिस ने आखिरकार सानिया के पति आसिफ और उसके ससुराल वालों को गिरफ्तार कर लिया.
आखिर क्यों किया गया सानिया का कत्ल?
पुलिस ने इस खौफनाक साजिश का खुलासा कर कातिलो को तो जेल की सलाखों के पीछे पहुंचा दिया था लेकिन सबसे बड़ा सवाल यही था कि आखिर एक परिवार ने इतनी बेरहमी के साथ अपनी बहू की जान क्यों ले ली? और साल भर तक ये राज़ बाहर क्यों नहीं आया? तो जब तफ्तीश में इन सारे सवालों के जवाब सामने आए तो हर कोई हैरान रह गया,
पुलिस के सामने आसिफ और उसके घरवाले अपना गुनाह कबूल कर चुके थे. साथ ही ये भी कबूल कर चुके थे कि कैसे उन्होंने हैवानियत की सारी हदों से आगे निकल कर सबूत मिटाने के लिए ना सिर्फ सानिया का सिर काट कर धड़ से अलग कर दिया, बल्कि कटे हुए सिर के बाल काटे और यहां तक कि चेहरे पर मौजूद तिल तक उखाड़ लिया. लेकिन सबसे बड़ा सवाल यही था कि आख़िर एक परिवार ने ऐसी गिरी हुई हरकत की ही क्यों?
हैरान कर देगी कत्ल की वजह
असल में एक बच्ची को गोद देने के लिए ये पूरी खूनी साजिश रची गई थी. दरअसल, आसिफ़ के घरवाले आसिफ और सानिया की बेटी अमाइरा को किसी और को गोद देना चाहते थे. आसिफ की बहन यानी सानिया की ननद की शादी को कई साल हो चुके थे, लेकिन उन्हें कोई बच्चा नहीं था. ऐसे में जब आसिफ और सानिया के घर में अमाइरा ने जन्म लिया, तो घरवालों ने तय किया कि वो भी इस बच्ची को अपनी बेटी को गोद दे देंगे और उनकी बेटी ही बच्ची की परवरिश करेगी.
इसलिए किया गया सानिया का कत्ल
लेकिन किसी भी दूसरी मां की तरह सानिया के लिए ये फैसला करना इतना आसान नहीं था. उसने अपनी बेटी अमाइरा को खुद से अलग करने से साफ मना कर दिया और बस यही वो बात थी, जिसने पूरे ससुराल को सानिया का दुश्मन बना दिया. अब सानिया पर जुल्मो सितम की शुरुआत हो गई और फिर एक दिन वो भी आया, जब उसका कत्ल कर दिया गया.
कत्ल के बाद किए थे लाश के टुकड़े
आसिफ और उसके घरवालों ने सानिया का कत्ल पूरी प्लानिंग के साथ किया. कत्ल के लिए उन्होंने बकरीद का दिन चुना. बकरीद के बहाने सबसे पहले उन्होंने सानिया की बेटी अमाइरा को उससे अलग कर उसकी उसी बुआ के घर भेज दिया, जिसे वो अमाइरा को गोद देना चाहते थे. इसके बाद तय प्लानिंग के मुताबिक पहले उन्होंने सानिया के हाथ पैर बांध कर उसे पानी में डूबो कर मार डाला और फिर सबूत मिटाने के लिए लाश के टुकड़े तक कर डाले. किसी को कत्ला के बारे में कानों कान खबर ना हो, इसीलिए उन्होंने सिर्फ सर और धड़ को अलग-अलग जगह फेंक दिया था.
मकान बेचकर चले गए थे मुंब्रा
इस कत्ल की साजिश को छुपाने की खातिर ही वो लोग चुपचाप नालासोपारा वाला मकान बेच कर वहां से चले गए थे. हद देखिए कि सानिया की लाश निपटाने के लिए उन्होंने अपने घर के उसी दामाद को कैब लेकर आने को कहा, जिसे वो सानिया की बेटी गोद देना चाहते थे. लेकिन इतनी कोशिश करने और सबूत मिटाने के लिए इतना दिमाग लगाने के बावजूद आखिरकार आसिफ और उसके घरवाले पकडे गए.
पुलिस ने किया शानदार काम
वैसे इस केस को सुलझाने में वसई पुलिस के रोल की भी तारीफ करनी होगी, जिन्होंने सिर कटी लाश की ना सिर्फ अलग-अलग तस्वीरें खींच कर रख ली थी, बल्कि जरूरत के लिए डीएनए सैंपल भी सुरक्षित रख लिया था और आखिरकार यही चीज़ें कत्ल के खुलासे की वजह बन गई और असली कातिल कानून के शिकंजे में फंस गए.