
जश्न-ए-आजादी से बड़ा जश्न किसी भी मुल्क के लिए और क्या हो सकता है. इसी जश्न पर आईएसआईएस की नापाक नजरें गड़ी हैं. पिछले साल पेरिस पर हमला करने वाले आतंकवादियों की तस्वीरें और वीडियो जारी कर आईएसआईएस ने सबसे ताजा धमकी हिंदुस्तान को दी है.
आईएसआईएस ने कहा कि उसके दुश्मनों से हाथ मिलाने वाले भी उसके दुश्मन हैं. आईएसआईएस ने ये बात फ्रांस के लिए कही है. जिसके राष्ट्रपति गणतंत्र दिवस पर भारत के खास मेहमान हैं. ये आईएसआईएस की सबसे नई धमकी है. 'जिन लोगों ने हमारे दुश्मनों से हाथ मिलाया वो भी हमारे दुश्मन हैं. पेरिस पर हमला करने वाले और ऐसे हमलों को अंजाम देने वाले लोग आज भी हमारे दुश्मनों के सिर काट रहे हैं.'
जारी किए गए वीडियो में आईएसआईएस के उन आतंकवादियों की तस्वीरें हैं जिन्होंने पेरिस हमले को अंजाम दिया था. आईएसआईएस ने पहली बार इनकी तस्वीरें और वीडियो जारी किया है. फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद भारत के दौरे पर हैं. भारत गणतंत्र की 67वीं सालगिरह हमेशा की तरह उसी आन-बान और शान से मनाने जा रहे हैं. इस बार 26 जनवरी को राजपथ पर होने वाले परेड के खास मेहमान फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद हैं. आईएसआईएस की ये धमकी भारत के लिए ही है. क्योंकि ओलांद से भारत ने ही हाथ मिलाया है.
पिछले हफ्ते देश भर के अलग-अलग हिस्सों से जो 18 संदिग्ध आतंकवादी पकड़े गए हैं. उनमें से ज्यादातर आईएसआईएस के समर्थक हैं. इन लोगों ने पूछताछ में जो खुलासा किया है वो ये कि उनका इरादा हिंदुस्तान में भी पेरिस की तर्ज पर जगह-जगह हमले करना था. ऐसे में आईएसआईएस की इस धमकी को हल्के में नहीं लिया जा सकता. अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के बाद दूसरी बार दिल्ली में 26 जनवरी के परेड के दौरान सुरक्षा के वो इंतजाम किए गए हैं.
ये लगातार दूसरा साल है जब आजाद हिंदुस्तान के इतिहास में राजपथ की सुरक्षा का दूसरा सबसे बड़ा ऑपरेशन होने जा रहा है. बराक ओबामा के बाद अब ओलांद के हिफाजत की बारी है. आईएसआईएस की धमकी के मद्देनजर लगातार दूसरे साल राजपथ और उसके आसपास मीलों तक सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं. लगभग दर्जन भर एजेंसियों के करीब-करीब एक लाख सुरक्षा जवान इस जश्न की हिफाजत करेंगे.
दिल्ली पुलिस पहले ही इन इमारतों को सील कर चुकी है और इनकी छतों पर स्नाइपर्स को तैनात किया जा चुका है. आतंकी हमले की सूरत में ये स्नाइपर्स कई मीटर दूर बैठ कर ही नीचे दुश्मन को ढेर कर सकेंगे. राजपथ के आस-पास मौजूद तमाम मंत्रालय और दफ्तर भी 24 घंटे पहले ही बंद कर दिए गए हैं. जबकि अंडर ग्राउंड मेट्रो से लेकर इन दफ्तरों के पूरे इलाके पर सुरक्षा एजेंसियों का कब्जा है.