
राजधानी दिल्ली के नरेला-बवाना रोड पर बने राजीव रत्न आवास योजना के तहत सुनसान फ्लैटों में एक युवक का शव मिला है. बताया जा रहा है कि युवक की हत्या धारदार हथियार से की गई है. इतना ही नहीं, शव की पहचान मिटाने के लिए मृतक शख्स के चेहरे को पत्थरों से कुचला गया है. साथ ही उसे जलाने की कोशिश भी की गई है.
मृतक के परिवार वालों ने युवक के जीजा पर वारदात को अंजाम देने का आरोप लगाया है. इसके अलावा परिजनों ने पुलिस की कार्यशैली पर भी आरोप लगाया है. बताया जा रहा है कि करण नाम का यह युवक कंझावला इलाके से दो दिन पहले घर से बाहर निकला था, बाद में वो गायब हो गया.
नरेला बवाना रोड पर राजीव रत्न आवास योजना के अंतर्गत बने इन सुनसान फ्लैट्स में एक बार फिर से आपराधिक वारदात को अंजाम दिया गया है. इससे पहले भी इसी फ्लैट्स में सुनसान और सन्नाटे का फायदा उठाकर अपराधी कई बार वारदातों को अंजाम दे चुके हैं. बीती रात 30 साल के एक युवक का शव भी इन्हीं सुनसान फ्लैटों के अंदर मिला था, जिसकी बेरहमी से धारदार हथियार से हत्या की गई थी.
बताया जा रहा है कि कंझावला का रहने वाला 30 साल का करण अपने घर से 2 दिन पहले निकला था. उसके बाद से उसका कुछ अता पता नहीं था. फोन पर बात करने पर उसने बताया था कि वह अपने जीजा के पास काम पर जा रहा है लेकिन उसके बाद से वह गायब हो गया था.
परिवार वालों का आरोप है कि जीजा भी इस बारे में संतोषजनक जवाब नहीं दे रहे थे. परिवार ने पुलिस को भी सूचना दी लेकिन करण जिस जगह पर रहता था वहां और जहां पर काम करता था उन दोनों एरिया के थाने अलग अलग लगते थे. परिवार का आरोप है कि पुलिस एरिया विवाद में ही उलझी रही और उचित कार्रवाई नहीं कर सकी.
परिवार वालों ने खुद ही छानबीन के बाद राजीव रत्न आवास योजना के अंदर एक सुनसान फ्लैट में करण का शव ढूंढ़ा, जो खून से लथपथ था. धारदार हथियार से करण की हत्या की गई थी पहचान मिटाने के लिए उसके चेहरे पर कई वार किए गए और चेहरा जलाने की भी कोशिश की गई थी.