
गाजा में एक तरफ युद्धविराम की चर्चा हो रही है, तो दूसरी तरफ इजरायली सेना जबरदस्त हमले कर रही है. रविवार को दीर अल-बहाल और रफाह सहित कई जगहों पर आईडीएफ ने भीषण बमबारी की है. इसमें 12 से अधिक लोगों की मौत हो गई है, जिसमें महिलाएं और दो बच्चे भी शामिल हैं. वहीं, सैकड़ों की संख्या में लोग गंभीर रूप से घायल हो गए हैं. लगातार हो रहे हमलों की वजह से हालात ऐसे हो गए हैं कि अल अक्सा अस्पताल के बाहर लाशों का ढ़ेर लग गया है. लोग बम, गोले और बारूद के साथ भूख से भी बड़ी संख्या में मर रहे हैं.
गाजा में इजरायली हमले को पांच महीने पूरे होने वाले हैं. इस बीच हमास और इजरायल के बीच युद्धविराम को लेकर काहिरा में बैठक भी हुई. लेकिन इजरायली सेना रुकने का नाम नहीं ले रही है. गाजा पट्टी में कहर बरपा रही है. कहीं रिहायशी इमारतों को निशाना बनाया जा रहा है, तो कहीं राहत समाग्री पहुंचाने वाली गाड़ी को ही उड़ा दिया जा रहा है. दीर अल-बलाह की तस्वीरें रूह को झकझोरने वाली हैं. यहां इजरायली सेना ने एक बार फिर से नुसीरत शरणार्थी शिविर में एक रिहायशी इमारत को निशाना बनाया, जिसमें 12 लोग मारे गए हैं.
फिलिस्तीनी रेड क्रिसेंट सोसाइटी के मुताबिक इजरायल ने ड्रोन से एक कुवैती ट्रक पर हमला किया, जो पीड़ितों की मदद के लिए राहत सामाग्री लेकर आया था. इस हमले में ट्रक के परखच्चे उड़ गए. इजरायली सेना ने दीर अल बलाह के अलावा रफाह शहर को भी निशाना बनाया. यहां हवाई हमले कर दो रिहायशी इमारतों को नेस्तनाबूत कर दिया. इमारतें मलबे के ढेर में तब्दील हो गईं. हालाकि इस मलबे से तीन लोगों को बचाया गया. लेकिन शुरुआती दौर में पता नहीं चल सका कि कितने लोगों की मौत हुई है.
अमेरिकी उप राष्ट्रपति ने कहा- लोग भूख से मर रहे हैं
दूसरी तरफ अमेरिका इजरायल को आम लोगों पर हमला करने से रोक रहा है. गाजा में लोगों के लिए खाने के पैकेट गिरा रहा है. हालांकि, उसकी शह पर ही इजरायल इस जंग को पिछले पांच महीने से लगातार लड़ रहा है. अमेरिकी उप-राष्ट्रपति कमला हैरिस का कहना है कि गाजा में लोग भूख से मर रहे हैं. ऐसे में तुरंत युद्धविराम होना चाहिए. उन्होंने इजरायल से गाजा में और ज्यादा राहत सामग्री आने देने की भी अपील की है. इजरायली हमले की वजह से गाजा में भूखमरी का संकट भी पैदा हो गया है.
यूएन का कहना है कि गाजा की 23 लाख की आबादी में से 80 फीसदी लोगों को प्रयाप्त मात्रा में भोजन और पीने का साफ पानी नहीं मिल पा रहा है. ऐसे में अमेरिका की उप-राष्ट्रपति कमला हैरिस ने इजरायल से गाजा में राहत सामग्री की सप्लाई में इजाफा करने की अपील की है. इसके साथ ही उन्होंने गाजा में तुरंत युद्धविराम की मांग की है. अलबामा पहुंचीं उप राष्ट्रपति ने कहा कि कम से कम से छह सप्ताह का युद्ध विराम होना चाहिए ताकि वहां से इजरायली बंधकों को निकाला जा सके. राहत सामग्री पहुंचाई जा सके.
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अमेरिकी राष्ट्रपति ने जताई सीजफायर की उम्मीद
इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने भी गाजा में तुरंत सीजफायर की अपील की थी. उन्होंने उम्मीद जताई थी रमजान से पहले सीजफायर हो जाएगा. हालांकि ऐसा होता हुआ दिख नहीं रहा. क्योंकि मिस्र में युद्धविराम को लेकर चल रही बातचीत में इजरायल ने हिस्सा लेने से इनकार कर दिया है. उसका कहना है कि हमास अब भी जिंदा बचे बंधकों की सूची नहीं दे रहा ऐसे वो बैठक में शामिल नहीं होगा. वहीं हमास का कहना है कि इजरायल की लगातार बमबारी की वजह से वो ऐसा नहीं कर पा रहा.
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने कहा, ''मैं ऐसी उम्मीद कर रहा हूं कि गाजा में संघर्ष विराम हो जाएगा. हम अभी भी इस पर कड़ी मेहनत कर रहे हैं. अभी तक वहां नहीं पहुंचे हैं, लेकिन आशा है कि रमजान शुरू होने से पहले ऐसा हो जाएगा. इसमें बड़ी रुकावट क्या है, ये मैं नहीं बताऊंगा क्योंकि बातचीत की प्रक्रिया अभी जारी है.'' इसके साथ ही अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने अमेरिकी सेना की ओर से गाजा में आसमान से जहाज के द्वारा खाद्य सामग्री गिराने का भी ऐलान किया था. ऐसा हो भी रहा है.
भुखमरी के कगार पर पहुंचे लाखों फिलिस्तीनी
गाजा में इजरायल और हमास के बीच चल रही भीषण जंग के बीच हालात बेहद खराब होते जा रहे हैं. सबसे ज्यादा वहां के आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है. लाखों फिलिस्तीनी भूखमरी के कागार पर पहुंच गए हैं. लोग दाने-दाने को मोहताज हो गए हैं. इसी बीच जॉर्डन से हवाई मदद जरूर पहुंचाई गई है. लेकिन ये मदद भी नाकाफी है. 7 अक्टूबर को हमास ने इजरायल पर हमला किया था. उसके बाद सबकुछ बदल गया. आज इज़रायल के हमले में गाज़ा पूरी तरह तबाह हो चुका है. चारों तरफ मकान के मलबे के सिवा कुछ भी नजर नहीं आ रहा.
जान बचाने के लिए लोग समंदर किनारे भागे, लेकिन यहां खाने को कुछ भी नहीं मिला. बच्चे, बूढ़े और महिलाएं सभी दाने-दाने को मोहताज हैं. गाजा में जॉर्डन के किंग अब्दुल्ला की तरफ से खाद्य और चिकित्सा मदद हवाई ड्रॉप ऑपरेशन के ज़रिए पहुंचाया गया. इसके लिए चार सी-130 विमान तैनात किए गए. हालांकि इस हवाई ड्रॉपिंग के दौरान कुछ कुछ सामाग्री समुद्र में गिर गया. इसे नावों से वापस लाया गया. इजरायली हमलों की वजह से गाजा की 23 लाख की आबादी में से 85 फीसदी लोग भूखमरी की कगार पर पहुंच गए हैं.