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Online Gambling: ऑनलाइन जुए की लत ने ले ली जान, 5 लाख गंवाने के बाद युवक ने की खुदकुशी

परिजनों ने युवक से उसकी ऑनलाइन गैंबलिंग की लत और इसकी वजह से हुए पैसे के नुकसान को लेकर पूछा था. इसके बाद युवक ने सुसाइड कर लिया.

युवक ने किया सुसाइड (प्रतीकात्मक तस्वीर) युवक ने किया सुसाइड (प्रतीकात्मक तस्वीर)
aajtak.in
  • तिरुपत्तुर,
  • 12 अक्टूबर 2021,
  • अपडेटेड 2:09 PM IST
  • पंखे से लटकता मिला आनंदन का शव
  • चेन्नई की टेक फर्म में करता था नौकरी

तमिलनाडु में 31 साल के एक शख्स ने सुसाइड कर लिया. तिरुपत्तुर जिले के वानियमबाडी थाना क्षेत्र में युवक के सुसाइड करने की सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर ऑटोप्सी के लिए भिजवा दिया. परिजनों के मुताबिक युवक को ऑनलाइन गैंबलिंग की लत लग गई थी. वह ऑनलाइन गैंबलिंग में करीब पांच लाख रुपये हार चुका था.

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समाचार एजेंसी के मुताबिक परिजनों ने युवक से उसकी ऑनलाइन गैंबलिंग की लत और इसकी वजह से हुए पैसे के नुकसान को लेकर पूछा था. इसके बाद युवक ने सुसाइड कर लिया. बताया जाता है कि मृतक का नाम आनंदन था और वह वानियमबाडी थाना क्षेत्र के कट्टूकोलाई गांव का निवासी था. वह पिछले छह माह से चेन्नई की एक टेक फर्म में नौकरी कर रहा था.

हर गया था लाखों रुपये

परिजनों के मुताबिक आनंदन को ऑनलाइन जुए की लत लग गई थी. वह घर पर कुछ नहीं देता था. परिजनों का कहना है कि आनंदन को ऑनलाइन जुए में तकरीबन पांच लाख रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ था. बताया जाता है कि दो दिन पहले वह लोकल बॉडी के चुनाव में अपने मताधिकार का उपयोग करने गांव आया था. आनंदन ने चेन्नई वापस लौटने के लिए अपने परिजनों से पैसे मांगे.

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चेन्नई वापस लौटने के लिए भी आनंदन की ओर से पैसे मांगे जाने के बाद परिजनों ने भी उससे घर पैसे नहीं देने को लेकर सवाल किया. थोड़ी देर हुई बहस के बाद परिवार के लोग खेत में काम करने चले गए. जब परिवार के लोग वापस लौटे, आनंदन पंखे से झूल रहा था. सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने आनंदन का शव कब्जे में लेकर ऑटोप्सी जांच के लिए भेज दिया.

आनंदन की पढ़ाई के लिए परिवार ने लिया था कर्ज

आनंदन के भाई सुधाकर ने कहा कि वे गरीब पृष्ठभूमि के परिवार से आते हैं और आनंदन को एमई की पढ़ाई कराने के लिए कर्ज लिया था. उसने कभी घर के लिए पैसे नहीं दिए. वह लगभग 3 साल से ऑनलाइन जुआ खेल रहा था. उन्होंने बताया कि मां मनरेगा में मजदूरी कर जो भी कमाती थी, वह उसे बिन बताए जुआ खेल जाता था. सुधाकर ने कहा कि उसने मोबाइल पेमेंट के जरिए मेरी जानकारी के बगैर एक दफे मेरा वेतन ले लिया था जिसकी जानकारी मुझे बाद में हुई. आनंदन के परिजनों ने इसे लेकर भी सवाल उठाए हैं कि कई परिवारों पर कहर बरपने के बावजूद ऑनलाइन जुए पर पाबंदी अब तक क्यों नहीं लगाई गई.

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