
दिल्ली के महरौली हत्याकांड ने देश को झकझोर कर रख दिया है. जहां दिल्ली पुलिस ने 6 महीने के बाद ब्लाइंड मर्डर के इस मामले को सुलझाने में एक सराहनीय काम किया है, वहीं पुलिस को आफताब पूनावाला के खिलाफ सबूत जुटाने में संघर्ष करना पड़ रहा है. आरोपी आफताब की पुलिस हिरासत आज खत्म हो रही है. आज उसे कोर्ट में पेश किया जाएगा. इस मामले में दिल्ली पुलिस पास कई पुख्ता जानकारी हैं, उसके बाद भी 6 महीने बीत जाने के बाद सबूत हाथ नहीं लगे हैं. ऐसे में कई सवाल ऐसे हैं, जिनके जवाब पुलिस के पास नहीं हैं.
अपराध में इस्तेमाल हथियार: श्रद्धा की हत्या गला घोंटकर की गई थी. हालांकि उसके शरीर को 35 टुकड़ों में काट दिया गया था. पुलिस सूत्रों के मुताबिक, शरीर के अंगों को आरी से काटा गया था. पुलिस इस हथियार को अभी तक बरामद नहीं कर पाई है. किसी भी हत्या को साबित करने के लिए अपराध में इस्तेमाल किया गया हथियार बहुत महत्वपूर्ण होता है. इस मामले में 6 महीने बीत जाने के बाद इसे और भी पेचीदा बना देता है. अगर हथियार बरामद भी हो जाता है तो इस बात की संभावना नहीं है कि दिल्ली पुलिस को उंगलियों के निशान या खून के धब्बे मिलेंगे, जो यह साबित करने के लिए आवश्यक हैं कि यह वही हथियार है.
मर्डर के दौरान श्रद्धा के कपड़े: श्रद्धा के कपड़े, जो उसने मर्डर के दौरान पहने हुए थे, वो कहां गए?पुलिस सूत्रों के अनुसार, आफताब ने एक कचरा वैन में कपड़े फेंके थे. हालांकि इस वारदात को मई में अंजाम दिया गया और नवंबर में इसकी जांच की जा रही है, जिससे पुलिस के लिए यह पता लगाना मुश्किल हो जाता है.
श्रद्धा का मोबाइल: पुलिस को अभी तक श्रद्धा का मोबाइल फोन वापस नहीं मिला है, जो इलेक्ट्रॉनिक साक्ष्य का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है. मोबाइल समय सीमा को साबित करने के लिए बहुत जरूरी है. उसकी इंटरनेट बैंकिंग, सोशल मीडिया लॉगिन इत्यादि की जानकारी उसके मोबाइल से ही पता चलेगी.
फ्रिज में कटे हुए शरीर के अंगों के सबूत: पुलिस पूछताछ से पता चलता है कि आफताब ने श्रद्धा के शरीर के अंगों को फ्रिज में रखा था, फिर भी इस बात पर कोई स्पष्टता नहीं है कि इसके पीछे कोई वैज्ञानिक सबूत है या नहीं. यह आरोप लगाया जा रहा है कि आफताब ने डीएनए स्ट्रैंड को कमजोर करने के लिए हाइड्रोक्लोरिक एसिड के एक रूप का उपयोग करके फ्रिज को साफ किया, जो श्रद्धा के शरीर के अंगों को नष्ट करने के बाद फ्रिज में रह सकता था. ऐसे में अदालत के सामने आफताब के कबूलनामे के अलावा कुछ भी स्वीकार्य नहीं होगा.
चश्मदीद: पुलिस की जांच के मुताबिक, श्रद्धा की हत्या से पहले श्रद्धा और आफताब दोनों में लड़ाई हुई थी. हालांकि ये स्पष्ट नहीं है कि पड़ोसी इस लड़ाई को अनसुना क्यों करेंगे, जिसकी वजह से उसकी हत्या हुई.
लापता शरीर के अवशेष: दिल्ली पुलिस को महरौली के जंगलों में कई 10-13 टूटी हुई हड्डियां मिली हैं. पुलिस को संदेह है कि ये हड्डियां श्रद्धा के शरीर की हैं. हालांकि अभी भी कई अवशेष नहीं मिले हैं. किसी भी व्यक्ति की हड्डियां ये बताने में सक्षम हैं कि उसकी मौत कब हुई और मृत्यु की वजह क्या थी.
हत्या के समय के साक्ष्य: FSL रिपोर्ट के साथ अभी भी शरीर के क्षत-विक्षत हिस्सों की प्रतीक्षा की जा रही है, यह अभी भी साबित किया जाना है कि श्रद्धा की हत्या कब और किस समय की गई थी. अगर दिल्ली पुलिस को महरौली के जंगल से निकाले गए हिस्सों से श्रद्धा के अवशेष मिले हैं, तो यह उसकी मौत के समय की पुष्टि करने में महत्वपूर्ण होगा.
आफताब पर शिकंजा कसने के लिए पुलिस को मिले ये सबूत
-आरोपी आफताब ने जहां से फ्रिज खरीदा था, वो दुकान मिल चुकी है. दुकानदार के बयान दर्ज हो चुके हैं. फ्रिज खरीदने वाला राशिद भी पुलिस को मिल चुका है.
-छोटी आरी श्रद्धा की बॉडी काटने के लिए जहां से हथियार खरीदा था, उस दुकान तक पुलिस पहुंच चुकी है. दुकानदार के बयान दर्ज हो चुके हैं. दुकानदार ने आफताब को पहचान भी लिया.
-आरोपी ने ऑनलाइन समान जहां से मंगवाया था, उस कंपनी तक भी पुलिस के हांथ पहुंच चुके हैं. अब उनके बयान दर्ज होंगे.
-श्रद्धा के पिता का बयान दर्ज हो चुका है. जिसमें उन्होंने आफताब पर श्रद्धा को पहले भी पीटने का आरोप लगाया था. साथ ही श्रद्धा आफताब के साथ ही रहती थी, जैसा बयान दिया गया है.
-फ्लैट में रहने वाले लोगों के अलावा श्रद्धा के दोस्तों के बयान भी लिए जा रहे हैं.
-बॉडी काटने के दौरान आफताब के हांथ में चोट लगी थी, जिसका इलाज उसने डॉक्टर अनिल सिंह से करवाया था. डॉक्टर का बयान भी पुलिस ने लिया है. डॉक्टर ने आरोपी की पहचान भी कर ली है.
-जंगल से तकरीबन 13 हड्डियां मिली हैं, जिसको FSL भेजा गया है. साथ ही DNA सैंपलिंग के लिए श्रद्धा के पिता का DNA लिया जा चुका है. जिससे पुष्टि हो सकती है कि क्या बरामद हड्डियां श्रद्धा की ही हैं.
-मुंबई और दिल्ली पुलिस को आफताब ने शुरुआती पूछताछ में बार-बार बताया कि श्रद्धा घर छोड़कर चली गई. लेकिन श्रद्धा की कॉल डिटेल के मुताबिक श्रद्धा के मोबाइल फोन की लास्ट लोकेशन छतरपुर, दिल्ली की ही थी.
-हत्या के बाद श्रद्धा के खाते से 54 हजार रुपए ट्रांसफर किए गए थे.
कोर्ट ने दी नार्को टेस्ट की इजाजत
दिल्ली की साकेत कोर्ट ने आरोपी आफताब के नार्को टेस्ट की इजाजत दे दी है. दिल्ली पुलिस ने इसके लिए कोर्ट में अर्जी लगाई थी. पुलिस का कहना है कि आफताब पुलिस पूछताछ में सहयोग नहीं कर रहा था और पुलिस की जांच को भटकाने की कोशिश कर रहा. वह श्रद्धा के मोबाइल और कत्ल के लिए इस्तेमाल आरी के बारे में सही जानकारी नहीं दे रहा है. कभी मोबाइल महाराष्ट्र में तो कभी दिल्ली में फेंकने की बात बता रहा है. इसके साथ ही हथियार के बारे में भी सही जानकारी नहीं दे रहा है.
पुलिस ने क्राइम सीन किया रीक्रिएट
बता दें कि 18 मई 2022 की रात को किस तरह से मर्डर किया गया था, इसका पता लगाने के लिए दिल्ली पुलिस आरोपी आफताब के साथ मर्डर वाले फ्लैट में पहुंची. यहां पर क्राइम सीन रीक्रिएट कियाल गया. पुलिस की मानें तो मर्डर वाली रात श्रद्धा और आफताब के बीच जमकर लड़ाई हुई थी. अफताब ने पहले श्रद्धा की पिटाई की. जिससे श्रद्धा बेसुध हो गई. इसके बाद आरोपी उसकी छाती पर बैठ गया और गला दबाकर मार डाला.
बीते 18 मई को हुई थी श्रद्धा की हत्या
दिल्ली पुलिस के मुताबिक, आफताब ने पूछताछ के दौरान कबूल कर लिया है कि उसने श्रद्धा वॉल्कर की हत्या की थी. उसने बताया कि बीते 18 मई को उसने श्रद्धा की हत्या की थी. उसके अगले दिन एक फ्रिज खरीदा और शरीर के 35 टुकड़े कर उसे फ्रिज में रख दिया. अगले 15-20 दिनों के दौरान एक-एक करके उन्हें ठिकाने लगा दिया. संदेह से बचने के लिए इस दौरान वह लगातार इंस्टाग्राम अकाउंट पर एक्टिव रहा.