
राजस्थान के उदयपुर में कन्हैया लाल हत्याकांड में NIA ने एफआईआर दर्ज की है. इसमें आरोपियों के खिलाफ गंभीर धाराएं लगाई गई हैं. कन्हैया लाल के बेटे यश के बयानों के आधार पर एनआईआर ने केस दर्ज किया है. इस मामले में दोनों मुख्य आरोपियों को एनआईए ने गिरफ्तार किया है. आरोपियों के कनेक्शन को खंगाला जा रहा है.
प्राथमिकी में कहा गया है कि 28 जून को कन्हैया लाल की दुकान में घुसकर निर्ममता से हत्या कर दी गई थी. हत्यारे रियाज अत्तारी और गौस मोहम्मद कपड़े सिलवाने के बहाने दुकान में घुसे थे. इस दौरान जब कन्हैया लाल नाप लेने लगे तो आरोपियों ने छुरा और चाकुओं से हमला कर दिया. घटना में दुकान में काम करने वाले दो कर्मचारी भी घायल हुए हैं.
आतंक फैलाने चाहते थे हत्यारे
मामले में आरोपियों के खिलाफ धारा 452, 302, 153A, 153B, 295 A & 34 के अलावा UAPA के तहत केस दर्ज किया है. हमलावरों ने हत्या का वीडियो भी सोशल मीडिया पर इस दावे के साथ वायरल किया कि देशभर में लोगों में दहशत और आतंक का माहौल पैदा किया जा सके.
एनआईए के एसपी कर रहे जांच को लीड
इस मामले में एनआईए के एसपी रवि चौधरी (आईपीएस) मुख्य जांच अधिकारी के रूप में मामले की जांच कर रहे हैं. वहीं, केंद्र सरकार ने अपराध की गंभीरता और राष्ट्रीय सुरक्षा पर पड़ने वाले प्रभावों को ध्यान में रखते हुए राष्ट्रीय जांच एजेंसी को इस घटना की जांच के आदेश दिए हैं.
म्यूजिक से भी नफरत करता था रियाज
रियाज अत्तारी और गौस मोहम्मद के दावत-ए-इस्लामी संगठन से संबंध सामने आए हैं. इनमें से एक हत्यारे के ऑडियो कॉल आजतक के हाथ लगे हैं. ऑडियो की बातचीत से पता चलता है कि मुख्य आरोपी म्यूजिक से भी नफरता था. कहता था कि ये पाप है. रियाज की कन्हैयालाल हत्याकांड से पहले ही कट्टरपंथी विचारधारा थी. इसके लिए वह खुलकर लोगों का ब्रैन वॉश भी करता था.