
राजस्थान के चर्चित आनंदपाल एनकाउंटर मामले में सीबीआई ने जांच करने से इनकार कर दिया है. जोधपुर हाईकोर्ट में आनंदपाल की पत्नी राजकंवर की ओर से दायर एक याचिका की सुनवाई के दौरान सीबीआई ने कोर्ट को यह जानकारी दी. सूबे की सरकार ने आनंदपाल एनकाउंटर की जांच सीबीआई से कराने की अनुशंसा केंद्र से की थी.
सीबीआई के वकील डॉ. सचिन आचार्य ने कोर्ट को बताया कि दोनों ही मामले सुप्रीम कोर्ट की ओर से निर्धारित गाइडलाइन के अनुसार जांच योग्य नहीं पाए गए. सुप्रीम कोर्ट के स्पष्ट निर्देश हैं कि रेयरेस्ट मामलों की जांच ही सीबीआई को दी जानी चाहिए. सीबीआईसे जांच कराने के मामले में दखल से हाई कोर्ट ने साफ इनकार कर दिया है.
बताते चलें कि करीब डेढ़ साल से फरार चल रहे कुख्यात बदमाश आनंदपाल सिंह को इसी साल जून में पुलिस ने मार गिराया था. राजस्थान के सालासर में एनकाउंटर के दौरान उसे मार गिराया गया था. मुठभेड़ के दौरान आनंदपाल और उसके दो साथियों ने AK-47 समेत अन्य हथियारों से पुलिस पर करीब 100 राउंड फायर किए थे.
इस एनकाउंटर में आनंदपाल को 6 गोलियां लगीं. पुलिस सूत्रों की मानें तो उन्हें आनंदपाल के साथियों ने ही बताया था कि वह सालासर में छुपा हुआ है. दरअसल एसओजी ने आनंदपाल के दो भाइयों देवेंद्र उर्फ गुट्टू और विक्की को हरियाणा के सिरसा से गिरफ्तार किया था. पिछले डेढ़ महीने से एसओजी के आईजी हरियाणा में डेरा डाले हुए थे.
आनंदपाल के भाइयों से पूछताछ में पता चला कि आनंदपाल सालासर में श्रवण सिंह नामक शख्स के घर में छिपा हुआ है. खबर पुख्ता होने के बाद एसओजी ने घेराबंदी कर आनंदपाल को पकड़ने की कोशिश की, लेकिन उसने घर की छत से पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी. एसओजी ने भी जवाबी कार्रवाई में फायरिंग की, जिसमें वह मारा गया.
इस एनकाउंटर के बाद राजस्थान में बवाल हो गया था. आनंदपाल के घरवालों और चाहने वालों का कहना था कि उसका एनकाउंटर फर्जी था. उसे सरेंडर करवाने के बाद मारा गया. आनंदपाल की मां और उसकी बेटी इस एनकाउंटर की सीबीआई जांच की मांग कर रहे थे. भारी दबाव के बीच राजस्थान सरकार को सीबीआई जांच की सिफारिश करनी पड़ी.
बताते चलें कि आनंदपाल सिंह के एनकाउंटर पर सवाल उठाने वाले लोग उसे रॉबिनहुड मानते हैं. जबकि पुलिस रिक़ॉर्ड में वो इतना कुख्यात गैंगस्टर था कि अदालत को भी एक नहीं 6 बार उसे भगोड़ा घोषित करना पड़ा. एनकाउंटर से करीब डेढ़ साल पहले वो कैद से फरार हो गया था. उसकी तलाश में हजारों पुलिवाले दिन-रात लगे हुए थे.