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शव के टुकड़े और खून से लथपथ कटर... सरस्वती के मर्डर के बाद का मंजर देख उड़ी पुलिसवालों की नींद

मुंबई का मर्डर केस दिल दहला देने वाला है. आरोपी मनोज साने ने इतनी बेरहमी से सरस्वती वैद्य के शव के टुकड़े किए कि मर्डर की जांच के लिए पहुंचे पुलिसकर्मियों की नींद उड़ गई है. ये भयावह दृश्य देखकर पुलिसकर्मी खाना तक नहीं खा पा रहे हैं. आरोपी ने शव के टुकड़ों को तीन बाल्टियों में भरकर रखा था.

मनोज साने ने सरस्वती के शव के टुकड़ों को बाल्टी में भरकर रखा था (फाइल फोटो) मनोज साने ने सरस्वती के शव के टुकड़ों को बाल्टी में भरकर रखा था (फाइल फोटो)
सौरभ वक्तानिया
  • मुंबई,
  • 10 जून 2023,
  • अपडेटेड 8:44 AM IST

मुंबई के मीरा रोड पर लिव इन रिलेशनशिप में रह रही लड़की की हत्या से पूरा देश सन्न है. 56 साल के मनोज साने पर 32 साल की सरस्वती वैद्य की हत्या कर उसके शव के टुकड़े-टुकड़े करने का आरोप है. इस केस की जांच करने के लिए पुलिसकर्मी जब आरोपी के घर पर पहुंचे तो वहां का दृश्य इतना वीभत्स था कि पुलिसवाले अपने घर पहुंचकर न तो ठीक से सो पाए न ही उन्होंने खाना खाया. यहां पुलिसवालों को तीन बाल्टियों में लाश के टुकड़े मिले थे. पुलिस को खून से लथपथ तीन पेड़ काटने वाले कटर भी मिले. दिनभर भयावह दृश्य देखने के बाद पुलिसकर्मी भी इस दरिंदगी को देखकर हैरान रह गए थे.

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राशन की दुकान पर काम करने वाले साने ने मीरा रोड स्थित अपने फ्लैट में सरस्वती के शरीर के कटे टुकड़ों को रखा था. वह शव की दुर्गंध छिपाने के लिए नियमित तौर पर फ्लैट में स्प्रे करता था. यह मामला उस समय सामने आया, जब पड़ोसियों ने फ्लैट से बदबी आने की शिकायत कर पुलिस को इसकी सूचना दी. पुलिस की जांच में सामने आय़ा है कि मनोज साने की दरिंदगी का आलम कुछ ऐसा था कि उसने सरस्वती के शव के टुकड़ों को कुकर में उबालने के अलावा, उसे भूना और मिक्सर में पीसकर अपराध को छिपाने की कोशिश की. 

सिर के भी टुकड़े-टुकड़े कर दिए थे आरोपी ने

पुलिस का कहना है कि मनोज साने ने सरस्वती के सिर के भी टुकड़े-टुकड़े कर दिए थे. पुलिस की ओर से दर्ज एफआईआर में कहा गया है कि साने ने ना सिर्फ शव को काटने के बाद उसके टुकड़ों को प्रेशर कुकर में उबाला था बल्कि उन्हें भूना भी था और उन्हें बाल्टी में छिपा दिया था. कहा जा रहा है कि सरस्वती की चार जून को मौत हो गई थी और यह मामला सात जून को सामने आया.

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आरोपी बोला- सरस्वती ने आत्महत्या की

सरस्वती की हत्या के मामले में पुलिस ने मनोज साने को गिरफ्तार कर लिया है. साने को 16 जून तक पुलिस कस्टडी में भेज दिया गया है. आरोपी ने पुलिस को पूछताछ में बताया कि वह सरस्वती के शव के टुकड़े-टुकड़े करने के बाद खुद की भी जान लेना चाहता था. हालांकि आरोपी इतना शातिर है कि वह लगातार अपने बयानों से पुलिस को उलझा रहा है. साने ने कहा कि सरस्वती ने जहर पीकर आत्महत्या की. उसने सरस्वती को ड्राइंग रूम में मरा हुआ देखा था. उसके मुंह से झाग निकल रहा था. उसने केवल उसके शरीर को काट कर ठिकाने लगा रहा था.

पुलिस को बयानों से उलझा रहा साने
 

इस केस में शुक्रवार को नया मोड़ आया. पुलिस ने कहा कि मनोज और सरस्वती शादीशुदा थे और उन्होंने मंदिर में शादी की थी. सरस्वती ने इस शादी के बारे में अपनी बहनों को भी बता रखा था. वे लिव-इन पार्टनर नहीं थे. वहीं, साने ने पुलिस को बताया कि वह एचआईवी पॉजिटिव था और उसके सरस्वती से कोई शारीरिक संबंध नहीं थे. पुलिस अधिकारियों ने कहा कि आरोपी दावा कर रहा है कि शरीर के टुकड़ों को ठिकाने लगाने के बाद उसने आत्महत्या करने की योजना बनाई थी.

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कौन है सरस्वती वैद्य?
 

सरस्वती वैद्य की 4 और बहनें हैं. सरस्वती के माता-पिता बहुत कम उम्र में ही अलग हो गए थे. इसके बाद सरस्वती अपनी मां के साथ रहीं, लेकिन कुछ ही सालों में मां का देहांत हो गया. मां के देहांत के बाद सरस्वती अहमदनगर के आश्रम में भर्ती हो गई. वह अहमदनगर में जानकीबाई आप्टे बालिका आश्रम गईं. यहां उसने पहली से दसवीं कक्षा तक पढ़ाई की. 10 साल से अधिक वह आश्रम में रही. 18 साल की उम्र में उसने आश्रम छोड़ दिया और 4 साल तक औरंगाबाद में अपनी बहन के साथ रही. इसके बाद वह मुंबई चली गई. यहां मुंबई में वह मनोज साने के संपर्क में आई.

मुंबई में आरोपी मनोज साने ने सरस्वती को नौकरी दिलवाने में मदद की. सरस्वती को मुंबई में रहने में मुश्किल हो रही थी, तो मनोज ने उसे रहने के लिए बोरीवली में अपना घर (फ्लैट) दे दिया. सरस्वती कुछ समय के लिए मनोज के बोरीवली फ्लैट में रुकी थी, तब दोनों को एक-दूसरे से प्यार हो गया और दोनों ने शादी करने का फैसला लिया. वे आधिकारिक तौर पर शादी करना चाहते थे लेकिन उन्होंने एक मंदिर में शादी की. शादी के बाद सरस्वती ने अपनी बहन को भी मंदिर में शादी की जानकारी दी. आरोपी मनोज साने और सरस्वती 7 साल से बोरीवली के मीरा रोड में रह रहे थे. सरस्वती मूल रूप से औरंगाबाद की रहने वाली है.

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कब हुई थी सरस्वती की हत्या?

मुंबई के मीरा रोड स्थित गीता आकाश दीप सोसाइटी में 7 जून को पुलिस की टीम पहुंची. पड़ोसियों ने सोसाइटी के एक फ्लैट से बदबू आने की शिकायत की थी. जब पुलिस सातवीं मंजिल पर मौजूद इस फ्लैट में पुलिस पहुंची तो उनके होश उड़ गए. यहां पुलिस को तीन बाल्टियों में लाश के टुकड़े मिले थे. ये शव सरस्वती के थे, जो उसी फ्लैट में मनोज साने के साथ रहती थी, जब मनोज से पूछताछ की तो उसने सन्न कर देने वाल सच को उजागर किया. आरोपी ने शव के कई टुकड़े किए थे. शव से बदबू न आए इसलिए मिक्सर में टुकड़ों को पीसकर कुकर में उबाला. उसने हड्डियां, मांस और खून को अलग-अलग कर दिया था. बताया जा रहा है कि आरोपी ने शव टुकड़ों को उबालकर कुत्तों को भी खिलाए.
 

 

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