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खुलासाः जाकिर नाइक के NGO के लिए डॉन दाऊद इब्राहिम करता था फंडिंग

विवादास्पद धर्म प्रचारक जाकिर नाइक के करीबी और चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर (सीएफओ) आमिर गजधर ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों के सामने बड़ा खुलासा किया है. सूत्रों की मानें तो आमिर गजधर ने पूछताछ में बताया कि जाकिर के एनजीओ इस्लामिक रिसर्च फाउंडेशन (आईआरएफ) के लिए अंडरवर्ल्ड डॉन दाउद इब्राहिम भी फंड मुहैया करवाता था.

आमिर गजधर के खुलासे के बाद नए सिरे से जांच में जुटी एजेंसियां आमिर गजधर के खुलासे के बाद नए सिरे से जांच में जुटी एजेंसियां
राहुल सिंह
  • नई दिल्ली,
  • 20 फरवरी 2017,
  • अपडेटेड 1:54 PM IST

विवादास्पद धर्म प्रचारक जाकिर नाइक के करीबी और चीफ फाइनेंशियल ऑफिसर (सीएफओ) आमिर गजधर ने प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों के सामने बड़ा खुलासा किया है. सूत्रों की मानें तो आमिर गजधर ने पूछताछ में बताया कि जाकिर के एनजीओ इस्लामिक रिसर्च फाउंडेशन (आईआरएफ) के लिए अंडरवर्ल्ड डॉन दाउद इब्राहिम भी फंड मुहैया करवाता था.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, आमिर गजधर ने बताया कि जाकिर के एनजीओ आईआरएफ के दाउद इब्राहिम के साथ काफी गहरे संबंध थे. जाकिर के एनजीओ आईआरएफ के लिए पाकिस्तान और दुबई से भी फंडिंग होती थी. फंडिंग के लिए हवाला डीलर सुल्तान अहमद बिचौलिए के तौर पर अपना रोल निभाता था.

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16 फरवरी को आमिर को किया गया था अरेस्ट
आमिर के खुलासे के बाद जांच एजेंसियां एक बार फिर नए सिरे से मामले की जांच में जुट गई हैं. बताते चलें कि ईडी ने 16 फरवरी को जाकिर के करीबी आमिर गजधर को गिरफ्तार किया था. मामले की जांच कर रहे अधिकारियों ने दावा किया कि आमिर गजधर जाकिर नाइक और उसके एनजीओ की ओर से 200 करोड़ रुपये के नगद लेन-देन के मामले में शामिल था.

ईडी जारी कर चुकी है नाइक को सम्मन
आईआरएफ के पीस टीवी के लिए गजधर की कंपनी कथित रूप से सामग्री प्रदान करती थी. इस सिलसिले में ईडी ने जाकिर नाइक को भी सम्मन जारी किया है. जाकिर नाइक अभी तक जांच एजेंसियों के सामने पेश नहीं हुए हैं. फिलहाल जाकिर नाइक देश से बाहर हैं. नेशनल इंवेस्टीगेशन एजेंसी (एनआईए) और ईडी इस मामले में जांच कर रही है.

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NIA ने दर्ज किया था जाकिर के खिलाफ केस
गौरतलब है कि एनआईए ने 51 वर्षीय नाइक के खिलाफ विभिन्न धार्मिक समूहों के बीच वैमनस्य को कथित रूप से बढ़ावा देने को लेकर आतंकवाद निरोधक कानूनों के तहत मामला दर्ज किया था. बताया जाता है कि नाइक गिरफ्तारी से बचने के लिए सऊदी अरब में हैं. दरअसल पिछले साल ढाका हमले में शामिल आतंकियों ने दावा किया था कि उन्हें नाइक के भाषणों से प्रेरणा मिली थी.

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