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Agni मिसाइल के जनक मशहूर साइंटिस्ट डॉ. राम नारायण अग्रवाल नहीं रहे

देश के मशहूर साइंटिस्ट और अग्नि मिसाइलों के जनक डॉ. राम नारायण अग्रवाल नहीं रहे. पद्मश्री और पद्मभूषण से सम्मानित डॉ. अग्रवाल को लोग प्यार से 'अग्नि अग्रवाल' भी कहते थे. इन्होंने ही भारत की लंबी दूरी की मिसाइलों का प्रोग्राम बनाया. साथ ही उन्हें बनाया भी. अग्नि सीरीज मिसाइल इन्हीं की शुरूआत थी.

बाएं से... डॉ. राम नारायण अग्रवाल और अग्नि मिसाइल. बाएं से... डॉ. राम नारायण अग्रवाल और अग्नि मिसाइल.
ऋचीक मिश्रा
  • नई दिल्ली,
  • 15 अगस्त 2024,
  • अपडेटेड 9:25 PM IST

Agni मिसाइल के जनक और देश के मशहूर साइंटिस्ट डॉ. राम नारायण अग्रवाल नहीं रहे. 84 वर्ष की उम्र में उन्होंने हैदराबाद में आखिरी सांस ली. डीआरडीओ के अधिकारियों के मुताबिक वो अग्नि मिसाइल के पहले प्रोग्राम डायरेक्टर थे. उन्हें लोग प्यार से 'अग्नि अग्रवाल' और 'अग्नि मैन' भी बुलाते थे. 

डॉ. अग्रवाल ASL के डायरेक्टर के पद से रिटायर हुए थे. उन्होंने अग्नि मिसाइल प्रोग्राम को दो दशकों तक सफलतापूर्वक चलाया. उन्होंने मिसाइल की वॉरहेड की री-एंट्री, कंपोजिट हीट शील्ड, बोर्ड प्रोपल्शन सिस्टम, गाइडेंस और कंट्रोल आदि पर खुद काम किया था.

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With profound grief and sorrow, DRDO offers the condolence on the sad demise of Dr Ram Narain Agarwal outstanding aerospace scientist and Padma Shree, Padma Bhushan awardee, who was instrumental in the development of India’s long range missile, Agni. May his soul rest in peace. pic.twitter.com/WbsSA1bael

— DRDO (@DRDO_India) August 15, 2024

इस समय पूरा डीआरडीओ डॉ. अग्रवाल के निधन से शोकाकुल है. पूर्व डीआरडीओ चीफ और मिसाइल साइंटिस्ट डॉ. जी. सतीश रेड्डी ने कहा कि भारत ने एक लीजेंड खो दिया. उन्होंने लॉन्ग रेंज की मिसाइलों को विकसित करने और उनकी लॉन्च फैसिलिटी बनाने में बहुत मदद की थी. 

भारत की अग्नि मिसाइलें... 

Agni-1... यह देश की सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइल है. इसकी रेंज 900 से 1200 किलोमीटर है. इसमें पारंपरिक और परमाणु हथियार लगा सकते हैं. यह 2002 से देश की सुरक्षा में तैनात है. भविष्य में अग्नि-प्राइम इस मिसाइल की जगह लेगी. 

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Agni-2... यह भी सतह से सतह पर मार करने वाली मीडियम रेंज की बैलिस्टिक मिसाइल है. जिसकी रेंज 2000 से 3500 किलोमीटर है. यह भी पारंपरिक या परमाणु हथियार लेकर टारगेट पर हमला कर सकती है. यह 2010 से देश की रक्षा कर रही है. 

Agni-3... इस मिसाइल की रेंज 3 से 5 हजार किलोमीटर है. यानी हथियार का वजन कम या ज्यादा करके रेंज को बढ़ाया या कम किया जा सकता है. इस रेंज से चीन का बहुत बड़ा हिस्सा, पूरा पाकिस्तान, पूरा अफगानिस्तान, हॉर्न ऑफ अफ्रीका, अरब देश, इंडोनेशिया, म्यांमार जैसे कई देश इसकी जद में हैं. इसकी गति 18,522 किलोमीटर प्रतिघंटा. 

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Agni-4... इसका वजन 17 हजार kg है. इसमें तीन तरह के हथियार ले जाए जा सकते हैं. जिनमें- पारंपरिक, थर्मोबेरिक और स्ट्रैटेजिक न्यूक्लियर वेपन शामिल हैं. इसकी रेंज 3500 से 4000 km है. यह अधिकतम 900 किलोमीटर की ऊंचाई तक सीधी उड़ान भर सकती है. 

Agni-5...  यह एक अंतरमहाद्वीपीय बैलिस्टिक मिसाइल है. देश की इकलौती मिसाइल है, जिसकी रेंज में अब रूस के ऊपरी हिस्से से लेकर, आधा अफ्रीका, ऑस्ट्रेलिया का उत्तरी हिस्सा, ग्रीनलैंड तक सब जद में आ जाएगा. इसके ऊपर 1500 kg वजन का परमाणु हथियार लगा सकते हैं. इसकी गति साउंड की स्पीड से 24 गुना ज्यादा है. यह 29,401 km/hr की रफ्तार से दुश्मन पर हमला करती है. 

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