कोरोना की दूसरी लहर कमज़ोर पढ़ने के साथ ही हिमाचल प्रदेश, गुजरात, मध्यप्रदेश, पंजाब राज्यों में आज से 11वीं और 12वीं की कक्षाएं खुल गई हैं. स्कूलों में अब कोरोना गाइडलाइंस के साथ ही पढ़ने का तरीका काफी हद तक बदल गया है. कैसा रहा स्कूलों में मध्य प्रदेश में स्कूल री ओपन का पहला दिन, देखिये यह ग्राउंड रिपोर्ट.
कोरोना की दूसरी लहर कमज़ोर पड़ने के बाद सोमवार से मध्यप्रदेश में 12वीं कक्षा के लिए स्कूल खुल गए हैं. पहला दिन स्कूलों में काफी कुछ बदला हुआ नजर आया. स्कूल के गेट पर ही छात्रों का टेम्परेचर चेक किया गया और उसके बाद ही गेट से अंदर जाने दिया गया
खास बात यह रही कि पहले दिन स्कूल में शिक्षकों ने छात्रों का कोरोना काल को देखते हुए अनोखे तरीके से स्वागत किया. पारंपरिक मंत्रोच्चार के साथ ही शिक्षकों ने पहले दिन आने वाले छात्रों को मास्क और सैनिटाइजर बतौर उपहार दिया गया और उन पर फूल भी बरसाए गए. रेखा शर्मा, प्रिंसिपल, मॉडल स्कूल, भोपाल ने कहा कि गाइडलाइंस के मुताबिक फिलहाल स्कूलों ने प्रार्थना सभा नहीं होगी. इसलिए छात्रों को सीधे क्लासरूम में भेजा गया. क्लासरूम के अंदर छात्रों को सोशल डिस्टेंसिंग के साथ बैठाया गया और कई महीनों से बंद पड़ा उनका क्लासरूम आखिरकार गुलज़ार हो गया. छात्रों के क्लास में बैठते ही शिक्षकों ने उन्हें पढ़ाना भी शुरू कर दिया.
कोरोना की दूसरी लहर कमज़ोर भले ही पड़ी है लेकिन कोरोना नही गया है इसलिए स्कूल खोलने के लिए गाइडलाइंस जारी की गई है. 11वीं के छात्र मंगलवार और शुक्रवार स्कूल आएंगे तो वहीं 12वीं के छात्रों को सोमवार और गुरुवार स्कूल बुलाया जाएगा. स्कूल प्रबंधन को यह ज़रूर ध्यान रखना होगा कि स्कूल में छात्रों की उपस्थिति 50% से ज्यादा ना हो. स्कूल में प्रार्थना सभा और स्विमिंग पूल समेत सभी तरह की सामूहिक गतिविधियों पर प्रतिबंध रहेगा ताकि छात्र एक ही जगह पर इकट्ठा ना हो सकें.
छात्रों के लिए स्कूल खोलने से पहले शिक्षकों का पूर्ण रूप से वैक्सिनेशन करवा लिया गया है. छात्र भी लंबे समय बाद अपने स्कूल में आकर बेहद खुश दिखे हालांकि इस बात का उन्हें मलाल है कि वो अपने दोस्तों से पहले की तरफ नहीं मिल पाएंगे. बहरहाल आज से 12वीं और 11वीं की कक्षाएं खुल रही हैं लेकिन इसके साथ ही 5 अगस्त से 9वीं और 10वीं की कक्षाएं भी खुलने जा रही हैं.
ऐसे में पहले दिन का उत्साह देखकर साफ संकेत है कि मध्यप्रदेश में यदि संक्रमण नहीं बढ़ा तो जल्द ही सभी क्लासेस के लिए स्कूल जल्द खुल सकेंगे. पहले दिन छात्रों में खास उत्साह देखने को मिला. करीब डेढ़ साल से बंद चल रहे स्कूलों में काफी उत्साह नजर आ रहा है. छात्र स्कूल यूनिफार्म में स्कूल पहुंचे थे. स्कूलों में सैनिटाइजर मशीनें भी लगाई गई हैं.
गुजरात में आज से 50% छात्र प्रति क्लास रूम की क्षमता के साथ कक्षा 9 से लेकर 11वीं तक की कक्षाएं यानी फिजिकल एजुकेशन की शुरुआत हुई है. क्लास रूम में आने वाले बच्चों को अपने अभिभावकों का सहमति पत्र लाना स्कूल में देना कम्पलसरी है. साथ ही बच्चों को स्कूल में सोशल डिस्टेंस का पालन करना जरूरी है.
वहीं बच्चों को क्लास रूम में एंट्री देने से पहले उनका ट्रेम्प्रेचर भी दर्ज करने की जरूरत है. ऑफलाइन क्लासेज शुरू होने से बच्चों में भी काफी खुशी है. अहमदाबाद की एचबी कपाड़िया स्कूल में 11वीं कक्षा में पढ़ाई करने वाले यश का कहना है कि ऑनलाइन की तुलना में स्कूल में आकर यहां सर के सामने ऑफलाइन पढ़ाई करने में बहुत फर्क है. अगर कुछ भी दिक्कत होती है तो तुरंत यहां पर टीचर समझा देते हैं.
छात्रा राधिका का कहना है कि अगर कोरोना से बचना है और स्कूल आना है. इस दौरान कोरोना गाइडलाइन का पालन भी करना होगा वरना हमारी स्कूल बंद हो जाएंगी. स्कूल ने भी छात्रों के लिए काफी सख्त नियम किए हैं कि सरकार के जरिये जारी की गई कोरोना गाइडलाइन के साथ साथ स्कूल भी इन नियमों का सख़्ती से पालन करा रही है.
स्कूल की प्रिंसिपल रूपल दलाल का कहना है कि हमने छात्रों को बीच में लंच ब्रेक नहीं दिया है. इसलिए छात्रों को खुद का टिफिन और पानी की बोतल घर से लानी होगी ताकि वो एक-दूसरे का पानी न पिएं और ब्रेक ना होने की वजह से वो एक दूसरे के टिफ़िन से खाना भी ना शेयर करें.
साथ ही स्कूलों ने ये नियम भी रखा है कि अगर फिजिकल एजुकेशन शुरू होने के बावजूद जो बच्चे स्कूल नहीं आना चाहते हैं, वो बच्चे ऑनलाइन पढ़ाई कर सकते हैं. स्कूलों में उपस्थिति को अनिवार्य नहीं बनाया गया है.