
DU Syllabus Change: दिल्ली यूनिवर्सिटी के कॉलेजों में अब स्नातक कोर्स के सिलेबस में विनायक दामोदर वीर सावरकार की विचारधारा पर पाठ जुड़ सकते हैं. दिल्ली विश्वविद्यालय की कार्यकारी परिषद (EC) पाठ्यक्रम में बदलाव के कई प्रस्तावों पर निर्णय लेने के लिए आज 09 जून को बैठक करने वाली है. इस बैठक में आज सावरकर को पाठ्यक्रम में शामिल करने पर विचार किया जाएगा.
इस बैठक में BA (पॉलिटिकल साइंस) कोर्स के 5वें सेमेस्टर में वीर सावरकर की फिलॉसफी को शामिल करने पर विचार किया जाएगा. इसके अलावा लेखक और कवि मोहम्मद इकबाल की रचनाओं को पाठ्यक्रम से हटाने पर भी विचार किया जाएगा.
NEP 2020 के तहत हो रहे बदलाव
बता दें कि डीयू में अंडरग्रेजुएट करिकुलम फ्रेमवर्क 2022 में मौजूदा करिकुलम में संरचनात्मक बदलाव का प्रस्ताव पहले ही दिया जा चुका है. मल्टी-सब्जेक्ट कोर्सेज़ के ऑप्शन प्रदान करने के साथ, नया पाठ्यक्रम छात्रों के लिए कई एग्जिट ऑप्शंस और एक एक्स्ट्रा फोर्थ ईयर का भी विकल्प देगा.
छात्रों को मल्टीपल एग्जिट विकल्प पहले, दूसरे और तीसरे साल के बाद क्रमशः सर्टिफिकेट, डिप्लोमा और डिग्री के साथ ड्रॉप आउट करने की अनुमति देगा. अतिरिक्त चौथे वर्ष में रीसर्च का पेपर अनिवार्य होगा. क्योंकि डीयू में बड़ी संख्या में एसोसिएटेड कॉलेज हैं, इसलिए NEP 2020 को लागू करने में इसकी अग्रणी भूमिका होगी. NEP 2020 का नया मसौदा भारत में उच्च शिक्षा में मुलभूत और जरूरी बदलावों के लिए बनाया गया है.
मोहम्मद अल्लामा इकबाल कौन थे?
अविभाजित भारत के सियालकोट में 1877 में जन्मे मोहम्मद अल्लामा इकबाल ने प्रसिद्ध गीत 'सारे जहां से अच्छा' लिखा था. उन्हें 'आइडिया ऑफ पाकिस्तान' को जन्म देने के लिए भी जाना जाता है.