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आटा चक्की चलाते हैं पिता, बेटी ने बिहार बोर्ड 12वीं में टॉप कर बढ़ाया मान, बताया कैसे पाए 96.8% नंबर

BSEB Bihar Board 12th Science Topper 2025 Priya: प्रिया की यह कामयाबी यहीं थमने वाली नहीं है. उनका सपना डॉक्टर बनकर समाज की सेवा करना है. वह कहती हैं कि वे डॉक्टर बनकर गरीबों का मुफ्त इलाज करना चाहती हैं.

बिहार बोर्ड 12वीं टॉपर प्रिया जायसवाल बिहार बोर्ड 12वीं टॉपर प्रिया जायसवाल
अभिषेक पाण्डेय
  • पटना,
  • 27 मार्च 2025,
  • अपडेटेड 12:33 PM IST

BSEB 12th Science Topper 2025 Priya Jaiswal Interview: बिहार बोर्ड 12वीं का रिजल्ट जारी कर दिया गया है. साइंस स्ट्रीम में (Bihar Board Topper) बगहा के हर्नाटांड़ गांव की बेटी प्रिया जायसवाल ने में पूरे प्रदेश में पहला स्थान प्राप्त किया है. प्रिया जयसवाल ने 500 में से 484 अंक लाकर 96.8% हासिल किए हैं. प्रिया ने न सिर्फ अपने माता-पिता, बल्कि पूरे जिले का मान बढ़ाया है. एसएस हाई स्कूल की छात्रा प्रिया की इस कामयाबी पर परिवार, गांव और स्कूल में जश्न का माहौल है. प्रिया के पिता एक किसान हैं और एक आटा चक्की भी चलाते हैं.

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सीमित संसाधनों में पिता का संघर्ष, बेटी की उड़ान
प्रिया के पिता संतोष जायसवाल एक किसान हैं. खेतों में कड़ी मेहनत कर वे परिवार का पालन-पोषण करते हैं. इसके साथ ही वे आटे की चक्की भी चलाते हैं. सीमित आर्थिक संसाधनों के बावजूद उन्होंने बेटी की पढ़ाई में कोई कमी नहीं आने दी. उसी का नतीजा है कि बेटी ने आज पूरे राज्य में पिता का मान बढ़ाया है. प्रिया कहती हैं, 'पापा की मेहनत और संघर्ष मेरी प्रेरणा है. उन्होंने हमेशा मेरा हौसला बढ़ाया, तभी मैं यहां तक पहुंच पाई हूं.'

बिना कोचिंग की घर पर की पढ़ाई
दिलचस्प बात यह है कि प्रिया ने बिना किसी कोचिंग के घर पर ही पढ़ाई कर यह सफलता हासिल की. उन्होंने बताया कि वह रोजाना करीब 8 घंटे पढ़ाई करती थीं, लेकिन कभी इसे बोझ नहीं माना. टीचर्स के मार्गदर्शन और खुद की लगन के दम पर उन्होंने अपनी तैयारी पूरी की.

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डॉक्टर बनने का सपना, समाज की सेवा का संकल्प
प्रिया की यह कामयाबी यहीं थमने वाली नहीं है. उनका सपना डॉक्टर बनकर समाज की सेवा करना है. वह कहती हैं कि वे डॉक्टर बनकर गरीबों का मुफ्त इलाज करना चाहती हैं. वे अपनी सफलता का श्रेय वह माता-पिता, शिक्षकों और अपनी निरंतर मेहनत को देती हैं.

गांव में जश्न, मिठाइयों से मनी खुशी
प्रिया की सफलता से पूरे हर्नाटांड़ गांव में खुशी की लहर दौड़ गई है. ग्रामीणों ने घर-घर मिठाइयां बांटी और एक-दूसरे को बधाई दी. स्कूल प्रशासन ने भी प्रिया को सम्मानित किया. प्रिंसिपल ने कहा कि प्रिया की सफलता हमारे स्कूल के लिए गर्व की बात है. उसने पूरे जिले का नाम रोशन किया है.

कड़ी मेहनत और अनुशासन से मिली कामयाबी
प्रिया की मां रीमा देवी ने बताया कि बेटी ने दिन-रात मेहनत कर यह मुकाम हासिल किया है. उन्होंने कहा, 'प्रिया ने मोबाइल और सोशल मीडिया से दूरी बनाकर अपनी पूरी ऊर्जा पढ़ाई में लगाई. उसकी लगन और संकल्पशक्ति पर हमें गर्व है.' प्रिया की यह उपलब्धि क्षेत्र के अन्य छात्र-छात्राओं के लिए प्रेरणादायक बन गई है. उसकी सफलता ने यह साबित कर दिया कि लगन और मेहनत से हर सपना पूरा किया जा सकता है, भले ही हालात कितने भी कठिन क्यों न हों.

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पांच भाई-बहनों में सबसे आगे प्रिया
प्रिया पश्चिमी चंपारण जिले के लौकरिया थाना क्षेत्र के हरनाटांड गांव की रहने वाली हैं. उनके पिता किसान हैं और मां गृहिणी. प्रिया के चार भाई-बहन हैं. उनकी बड़ी बहन सोनी जायसवाल साइंस स्ट्रीम से ग्रेजुएशन कर रही हैं, जबकि दूसरी बहन प्रीति ने ग्रेजुएशन पूरा कर लिया है. छोटा भाई आदित्य जायसवाल और यशराज जायसवाल अभी पढ़ाई कर रहे हैं. प्रिया ने अपनी मेहनत और माता-पिता के समर्थन से जो सफलता पाई है, वह पूरे बिहार के लिए गर्व का विषय बन गई है. उनकी यह उपलब्धि अन्य छात्रों को भी प्रेरित करेगी कि सीमित संसाधनों में भी सपने पूरे किए जा सकते हैं.

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