
असम में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को राज्य को बड़ी सौगात दी है. पीएम मोदी ने आज असम में महाबाहु-ब्रह्मपुत्र की शुरुआत की, साथ ही अन्य कई बड़े प्रोजेक्ट की आधारशिला रखी. महाबाहु-ब्रह्मपुत्र प्रोजेक्ट क्यों इतना खास है, एक बार समझें...
क्या है महाबाहु-ब्रह्मपुत्र?
असम में कनेक्टविटी के उद्देश्य से महाबाहु-ब्रह्मपुत्र योजना शुरू की जा रही है. इस योजना के अंतर्गत कई छोटी-बड़ी परियोजनाओं को शामिल किया गया है, जिसका मुख्य लक्ष्य कनेक्टविटी को आसान बनाना है. इसकी शुरुआत के साथ ही नीमाटी-मजुली द्वीप, उत्तरी गुवाहाटी-दक्षिण गुवाहाटी और धुबरी-हाटसिंगिमारी के बीच रो-पैक्स पोत संचालन का उद्घाटन किया जाएगा. इसके अलावा जोगीघोपा में अंतर्देशीय जल परिवहन टर्मिनल के शिलान्यास भी किया जाना है.
इन योजनाओं की मदद से रो-पैक्स सेवाओं से तटों के बीच संपर्क बनाने की कोशिश है, साथ ही सड़क मार्ग से यात्रा की दूरी भी कम हो जाएगी. नेमाटी और मजुली के बीच रो-पैक्स परिचालन से वर्तमान में वाहनों द्वारा तय की जा रही 420 किलोमीटर की कुल दूरी कम होकर केवल 12 किलोमीटर रह जाएगी.
इनमें दो स्वदेशी रो-पैक्स जहाज, एम.वी. रानी गाइदिन्ल्यू और एम.वी. सचिन देव बर्मन शामिल होंगे. रो-पैक्स जहाज एम.वी. जे.एफ.आर. जैकब के शुरू होने से उत्तर और दक्षिण गुवाहाटी के बीच लगभग 40 किलोमीटर की दूरी केवल 3 किलोमीटर रह जाएगी. साथ ही धुबरी और हतसिंगीमारी के बीच एम. वी. बॉब खातिंग 220 किलोमीटर की यात्रा दूरी को कम करके 28 किलोमीटर कर देगा.
जेटी का निर्माण भी योजना में शामिल
इसके अलावा इसी योजना के अंतर्गत नेमाटी, बिश्वनाथ घाट, पांडु और जोगीघोपा पर पर्यटन मंत्रालय की 9.41 करोड़ रुपये की सहायता से पर्यटक जेटी के निर्माण का शिलान्यास भी शामिल है. यहां जोगीघोपा में एक स्थायी अंतर्देशीय जल परिवहन टर्मिनल भी बनाया जाएगा, जो जोगीघोपा में आने वाले मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक पार्क से भी जुड़ेगा.
इन दो पुलों का कार्यक्रम भी खास
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार को ही धुबरी (उत्तरी तट) और फूलबाड़ी (दक्षिण तट) के बीच ब्रह्मपुत्र पर चार लेन के पुल की आधारशिला रखेंगे. प्रस्तावित पुल एनएच-127बी पर स्थित होगा, जो एनएच-27 (ईस्ट-वेस्ट कॉरिडोर) पर श्रीरामपुर से निकलता है, और मेघालय राज्य में एनएच-106 पर नोंगस्टोइन पर समाप्त होता है.
लगभग 4997 करोड़ की लागत से बनने वाला यह पुल असम और मेघालय के लोगों की लंबे समय से चली आ रही मांग को पूरा करेगा, जो नदी के दोनों किनारों के बीच यात्रा करने के लिए नौका सेवाओं पर निर्भर थे. यह सड़क से तय की जाने वाली 205 किलोमीटर की दूरी को कम करके 19 किलोमीटर कर देगा, जो पुल की कुल लंबाई है. इसके अलावा प्रधानमंत्री मजुली (उत्तरी तट) और जोरहाट (दक्षिणी तट) के बीच ब्रह्मपुत्र पर दो लेन पुल के लिए भूमिपूजन करेंगे.