
पश्चिम बंगाल में होने वाले विधान सभा चुनाव से पहले चुनाव आयोग के अधिकारियों ने सभी दलों के नेताओं और आला अधिकारियों के साथ मुलाकात की. बैठक में जिलाधिकारी, पुलिस आयुक्त, एसपी, आईजी समेत क्षेत्रीय आयुक्त भी मौजूद थे.
बैठक के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने बताया कि, कई दलों ने राज्य में कानून व्यवस्था को लेकर सवाल उठाए हैं, जिसे लेकर चुनाव आयोग संजीदा है और इसके उपाय किए जा रहे हैं. चुनाव आयोग ने कहा कि राज्य में शांतिपूर्ण तरीके से चुनाव कराने को लेकर चर्चा की गई. यह हमारी प्राथमिकता है कि चुनाव शांत माहौल में हो.
चुनाव आयोग के मुताबिक, कहा जा रहा है कि यह चुनाव काफी तनाव भरा हो सकता है. कुछ लोग माहौल खराब करने की कोशिश कर सकते हैं. सांप्रदायिक घटनाएं और उकसाने वाले स्लोगन लगने की भी बातें सामने आ रही है. ऐसे में चुनाव आयोग पूरी एहतियात बरतने की तैयारी में हैं. सीएपीएफ बल की भारी तैनाती की जाएगी. चुनाव आयोग ने कहा कि संवेदनशील इलाकों में वीडियोग्राफी कराई जाएगी.
चुनाव आयोग की तरफ से यह भी कहा गया कि जिस राज्य में चुनाव होगा वहां के रहने वाले अधिकारियों की तैनाती उन राज्यों में नहीं की जाएगी. वोटर लिस्ट की गड़बड़ियों को लेकर चुनाव आयोग ने कहा कि हमारे कर्मचारी इसपर विस्तार से काम कर रहे हैं.
चुनाव आयोग ने कहा कि जिस दिन तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल और असम में विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान होगा, उस दिन हम स्पेशल ऑब्जर्वर्स भेजेंगे. हम जल्द ही बता देंगे कि किसी जिले में किस ऑब्जर्वर की तैनाती है और लोग अपनी शिकायतों को लेकर उनसे कब मुलाकात कर सकते हैं.
बता दें कि बंगाल की 294 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव इसी साल होने हैं. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का कार्यकाल 30 मई को समाप्त हो रहा है. जानकारों का मनाना है कि इस बार टीएमसी और बीजेपी में जबरदस्त टक्कर देखने को मिलेगी. चुनाव से पहले ही बंगाल में सियासी माहौल काफी तल्ख है.