
बिहार के अररिया जिले में प्रशासन सड़क पर न जाने कैसा काम कर रही थी कि एक गर्भवती महिला अस्पताल नहीं पहुंच पाई. अररिया-सिलीगुड़ी मुख्य मार्ग को प्रशासन बंद कर एप्रोच रोड की रिपेयरिंग का काम करा रहा था. इसी बीच, प्रसव पीड़ा के चलते परिजन गर्भवती महिला को अस्पताल ले जाने के लिए पैदल सड़क पर पहुंचे. ताकि वहां गाड़ी करके अस्पताल जा सकें, लेकिन आगे सड़क बंद होने के कारण उन्हें कोई वाहन नहीं मिला. जिसके बाद प्रसव पीड़ा से तड़पती गर्भवती ने सड़क किनारे ही बच्चे को जन्म दे दिया.
अररिया के पलासी निवासी पंकज उद्धव की पत्नी पूनम देवी गर्भवती थी. पूनम को प्रसव पीड़ा हुई तो परिजन उसे अस्पताल ले जाने के लिए सड़क पर पहुंच गए, लेकिन जिस मार्ग से उन्हें जाना था, वो बंद था. जिसके चलते न तो एम्बुलेंस मिल सकी और ना ही कोई अन्य वाहन. प्रसूता प्रसव पीड़ा से कराह रही थी.
इस दौरान परिजनों ने सड़क पर ही उसे लिटा लिया. उसको चारों ओर से कपड़े से ढक लिया. प्रसूता ने सड़क पर ही बच्चे को जन्म दिया. इसके बाद परिजन उसे अस्पताल लेकर पहुंचे.
परिजनों ने बताया कि अररिया के जीरो माइल के पास NH327 E पर बने बेलवा पुल पर बना एप्रोच परमान नदी की तेज धार में बीते दिनों क्षतिग्रस्त हो गया, जिसके बाद अररिया सिल्लीगुड़ी मुख्यमार्ग को प्रशासन ने बंद कर दिया और एप्रोच के रेपरिंग का काम किया जा रहा है.
इस पुल के दोनों और प्रशासन के द्वारा बैरेकेडिंग कर इस मुख्य मार्ग को बंद कर दिया है. यहां से सिर्फ पैदल यात्री पुल पार कर सकते हैं. इसके चलते पूनम को अस्पताल ले जाने के लिए इस मार्ग पर कोई वाहन नहीं आ सका.
(इनपुट-अमरेंद्र कुमार सिंह)