
गोवा बीजेपी में रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर को दोबारा राज्य की सियासत में लाने की मांग जोर पकड़ने लगी है. सोमवार को पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने दावा किया था कि राज्य की अगली सरकार पर्रिकर की अगुवाई में काम करेगी.
'पर्रिकर हैं पब्लिक की डिमांड'
मंगलवार को गोवा पार्टी इकाई के अध्यक्ष विजय तेंदुलकर का कहना था कि लोग रक्षामंत्री को गोवा की राजनीति में वापस देखना चाहते हैं. उन्होंने दावा किया कि आरएसएस विधानसभा चुनाव में पूरी तरह पार्टी के साथ है.
तेंदुलकर के मुताबिक 'पर्रिकर अच्छा जनसंपर्क रखने वाले नेता हैं. यही वजह है कि लोग उन्हें गोवा वापस लाने की मांग कर रहे हैं. हालांकि इस बारे में आखिरी फैसला चुनावों के बाद निर्वाचित विधायक करेंगे.' उन्होंने इस बाबत पार्टी की रणनीति पर ज्यादा तफ्सील देने से इनकार कर दिया.
तेंदुलकर का कहना था कि मौजूदा मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर ने भी कहा है कि राज्य में अगर बीजेपी सरकार बनती है तो उसके नेता का फैसला विधायक करेंगे.
'पर्रिकर ही संभालेंगे कमान'
अमित शाह के बयान पर सफाई देते हुए तेंदुलकर ने कहा, 'पार्टी अध्यक्ष ने कहा है कि अगर पर्रिकर सीएम नहीं भी बनते हैं तो भी गोवा में पार्टी मामलों की कमान उन्हीं के हाथ में रहेगी. उन्होंने ये बयान लोगों की उम्मीदों को ध्यान में रखकर दिया है.'
फिलहाल पर्रिकर के अलावा केंद्रीय मंत्री श्रीपद नायक और नितिन गडकरी गोवा में पार्टी के प्रचार का नेतृत्व कर रहे हैं.
संघ का आशीर्वाद
राज्य में बीजेपी को संघ के समर्थन के सवाल पर तेंदुलकर का कहना था कि आरएसएस हमेशा अपने स्वयंसेवकों के साथ खड़ा रहता है. संघ के कार्यकर्ता सियासत में दखल नहीं देते लेकिन उनका आशीर्वाद बीजेपी के साथ है.
'बागी मोर्चे में दम नहीं'
तेंदुलकर ने आरएसएस के बागी नेता सुभाष वेलिंगकर के गोवा सुरक्षा मंच की जीत की संभावना को भी खारिज किया. उन्होंने याद दिलाया कि सुभाष अब तक अगली सरकार बनाने का दावा कर रहे थे लेकिन अब वो सिर्फ 4 सीटों पर उम्मीदवार उतार रहे हैं. तेंदुलकर के मुताबिक पार्टी 27 जनवरी को अपना घोषणा पत्र जारी करेगी. इससे अगले दिन गोवा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रैली को संबोधित करने जा रहे हैं. गोवा में विधानसभा की 40 सीटों के लिए 4 फरवरी को वोट डाले जाने हैं.