
भारत में ओटीटी प्लेटफॉर्म्स के आने से काफी बदलाव आया है. अब भारत में सिनेमा सिर्फ मनोरंजन नहीं रह गया है. अब कई सारे ऐसे कंटेंट पर काम हो रहा है जो मनोरंजन से इतर समाज की एक कड़वी सच्चाई दिखाते हैं. हाल ही में डिज्नी प्लस हॉटस्टार पर एक वेब सीरीज 'ह्यूमन' लॉन्च हुई है. इसमें दिखाया गया है कि आखिर किस तरह से फार्मा कंपनीज मासूमों पर ड्रग्स ट्रायल कर उनके साथ धोखा करती हैं और उनकी मजबूरी का फायदा उठाती हैं. ऐसा जरूरी नहीं है कि हर जगह ऐसा होता हो मगर इस तथ्य से नकारा भी नहीं जा सकता कि ऐसा हो सकता है.
भारत में तो शायद कभी इतनी गहराई से फार्मा कंपनीज, मेडिकल रिसर्च सेंटर्स और हेल्थ सेक्टर की कड़वी सच्चाई को दिखाने का काम किया गया हो. मगर ह्यूमन वेब सीरीज में इसकी कई सारी लेयर्स को टच किया गया है. पर हॉलीवुड में इस मुद्दे पर कई बार घेराव किया जा चुका है और बढ़ियां फिल्में बनी हैं. बता रहे है आपको ऐसी ही 5 फिल्मों के बारे में.
Splice (2010)- Vincenzo Natali के निर्देशन में बनी इस फिल्म में दो साइंटिस्ट्स की सनक दिखाई गई थी. बार-बार मना करने के बाद भी वे मानने को तैयार नहीं होते हैं और अपना एक्सपेरिमेंट कॉन्टिन्यू रखते हैं. मगर अंत में वे एक डेंजरस क्रिएचर का इजाद करते हैं जो काफी भसड़ मचा देती है और लोगों को भी नुकसान पहुंचाती है.
The Facility (2012)- इस फिल्म में ड्रग्स के ह्यूमन ट्रायल के बारे में दिखाया गया है. 7 लोगों पर एक नए ड्रग का ह्यूमन ट्रायल किया जाता है. मगर ये ट्रायल सक्सेसफुल नहीं हो पाता और उन 7 लोगों पर इसका निगेटिव इम्पैक्ट दिखने लग जाता है. सातों खूंखार हो जाते हैं और लोगों को नुकसान पहुंचाने लगते हैं. फिल्म रिलीज के दौरान काफी चर्चा में रही थी और इसका निर्देशन इयान क्लार्क ने किया था.
Blood Work (2002)- इस फिल्म का निर्देशन क्लिंट ईस्टवुड ने किया था. वे इस फिल्म के लीड एक्टर भी थे. क्लिंट की ये मूवी साल 1998 में आई माइकल कोनली की इसी नाम से आई नॉवेल पर बेस्ड थी. ये एक मिस्ट्री थ्रिलर फिल्म थी जो हार्ट ट्रान्सप्लान्ट पर बेस्ड थी. फिल्म 38 दिनों में बनकर पूरी हो गई थी मगर बॉक्सऑफिस पर फेल रही थी.
Side Effects (2013)- ड्रग्स के साथ खिलवाड़ करना कोई छोटी बात नहीं होती है. इंसान पर इसका टेस्ट इसलिए बैन है क्योंकि ये जानलेवा हो सकता है और इसे प्रेडिक्ट नहीं किया जा सकता. इस मूवी में डिप्रेशन का शिकार एक महिला को डॉक्टर एक नया ड्रग प्रिसक्राइब करता है ताकि उसे आराम मिले और वो मेंटली अच्छा फील करे. मगर उस ड्रग के नकारात्मक प्रभाव से सबकुछ उल्टा-फुल्टा हो जाता है और वो महिला मर्डरर बन जाती है.
The East (2013)- Zal Batmanglij के निर्देशन में बनी इस फिल्म की स्टोरी काफी इंटरेस्टिंग थी. मगर बॉक्सऑफिस पर ये फ्लॉप रही थी. फिल्म में एक महिला को Fluoroquinolone नाम का एंटीबॉडी दिया जाता है. इसके कई सारे साइड एफेक्ट्स सामने आते हैं और उसी के इर्द-गिर्द फिल्म की कहानी भी है.