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अवैध निर्माण: सोनू सूद को बड़ी राहत, SC ने BMC की कार्रवाई पर लगाई रोक

आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि जब तक ये मामला कोर्ट के बाहर सुलझ नहीं जाता तब तक एक्टर के खिलाफ किसी भी तरह की कार्रवाई नहीं होगी.

सोनू सूद सोनू सूद
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 05 फरवरी 2021,
  • अपडेटेड 2:08 PM IST

लंबे समय से बीएमसी संग एक कानूनी पचड़े में फंसे एक्टर सोनू सूद को देश की सर्वोच्य न्यायलय से बड़ी राहत मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को अवैध निर्माण वाले केस में बीएमसी को किसी भी तरह की कार्रवाई करने से रोक दिया है. आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि जब तक ये मामला कोर्ट के बाहर सुलझ नहीं जाता तब तक एक्टर के खिलाफ किसी भी तरह की कार्रवाई नहीं होगी.

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सुप्रीम कोर्ट से सोनू सूद को राहत

सुप्रीम कोर्ट के इस आदेश से सोनू सूद खासा खुश हैं और उन्होंने सोशल मीडिया पर एक लंबी पोस्ट के जरिए कहा है कि न्याय की जीत हुई है. वहीं उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया है कि वे हमेशा कानून के दायरे में रहकर ही काम किया करते हैं. उन्होंने लिखा है- सुप्रीम कोर्ट ने मुझे सही फैसला लेने के लिए समय दिया है. मैंने जो भी काम किया वो लीगल तरीके से ही किया था, लेकिन उसे गलत तरीके से दिखाया गया. मुझे हमेशा से न्यायपालिका में पूरा विश्वास था और मैंने हमेशा कानून का पालन किया है. मैं हमेशा अपने बिजनेस को कानून के दायरे में ही चलाता हूं, हर तरह की परमीशन भी लेकर रखता हूं.

सोनू बोले-न्याय की जीत

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वहीं सोनू ने इस बात पर दुख जाहिर किया है कि कुछ गलत लोगों के संग होने की वजह से उनकी छवि पर भी गलत असर पड़ा. इस बारे में उन्होंने कहा है- ये अफसोस की बात हैं कि मेरे साथ कुछ ऐसे लोग मौजूद थे, जिन्होंने मेरी छवि को धूमिल करने का काम किया. मेरी सभी से प्रार्थना है कि वे ऐसे लोगों से बचें क्योंकि ये खुद को समाजिक कार्यकर्ता जरूर बताते हैं, लेकिन असल में काम कुछ और ही करते हैं. 

मालूम हो कि बॉम्बे हाइकोर्ट ने जब सोनू सूद की याचिका खारिच कर दी थी, उस समय एक्टर ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था. लेकिन अब लगता है कि सही सलाह मिलने की वजह से उन्होंने अपनी बीएमसी के खिलाफ दायर की गई वो याचिका वापस ले ली है और अब वे इस मामले में बीएमसी के फैसले का इंतजार करेंगे.

क्या है पूरा मामला?

इस पूरे केस की बात करें तो ये कहा गया है कि एक्टर ने जुहू में एक 6 मंजिला रिहायशी इमारत को होटल में तब्दील करने से पहले कोई परमीशन नहीं ली थी. वहीं रिपोर्ट्स तो ऐसी भी सामने आई हैं जहां बताया गया है कि सोनू को बीएमसी की तरफ से नोटिस भेजा गया था, लेकिन उन्होंने उसे नजरअंदाज कर दिया. उन्होंने उस इमारत का निर्माण कार्य फिर भी जारी रखा था. इसी वजह से बीएमसी ने कोर्ट का रुख किया था. अब जब सुप्रीम कोर्ट की तरफ से सोनू को राहत दी गई है, तो उम्मीद तो यही है कि बीएमसी और एक्टर के बीच जारी ये घमासान भी जल्द शांत हो जाएगा.

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