
सुशांत सिंह राजपूत ड्रग्स मामले की जांच नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के हवाले है. वो लगातार इस मामले में गिरफ्तारियां कर रही है. हाल ही में एनसीबी ने 23वीं गिरफ्तारी की थी. इस केस में सुशांत सिंह राजपूत के स्टाफ दीपेश सावंत को भी गिरफ्तार किया जा चुका है. दीपेश सावंत पर सुशांत सिंह राजपूत के लिए ड्रग्स खरीदने का आरोप है. वहीं, अब दीपेश सावंत ने 10 लाख रुपये का मुआवजा मांगा है. उसने बॉम्बे हाई कोर्ट में याचिका दायर की है.
दीपेश ने आरोप लगाया है कि उसे एनसीबी ने अवैध तरीके से हिरासत में लिया. याचिका 5 अक्टूबर को दायर की गई थी. न्यायमूर्ति एसएस शिंदे और न्यायमूर्ति एमएस कार्णिक की बेंच 6 नवंबर को याचिका पर सुनवाई करेगी.
याचिकाकर्ता ने आरोप लगाया है कि उसे 36 घंटे से अधिक समय के बाद मजिस्ट्रेट के सामने पेश किया गया था. यह गिरफ्तारी के 24 घंटे के भीतर अभियुक्त को पेश करने के उच्चतम न्यायालय के दिशा-निर्देशों का उल्लंघन है.
याचिकाकर्ता के अनुसार, एनसीबी ने रिकॉर्ड में दिखाया है कि उसे 5 सितंबर को रात 8 बजे गिरफ्तार किया गया था, लेकिन याचिका में दावा किया गया कि उसे 4 सितंबर को रात 10 बजे गिरफ्तार किया गया था और 6 तारीख को पेश किया गया था.
अर्जी अधिवक्ता राजेंद्र राठौड़ और आमिर कोराडिया के माध्यम से दायर की गई है. कोर्ट में इस पर दो बार सुनवाई हुई है. राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि एनसीबी ने जवाब देने के लिए और समय मांगा है.