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डिप्रेशन, बायपोलर डिसऑर्डर, अब्यूज... चार साल से स्क्रीन से गायब थे 'द कपिल शर्मा शो' फेम सिद्धार्थ सागर

सिद्धार्थ सागर साल 2018 में अचानक से इंडस्ट्री से गायब हो गए थे. 'कॉमेडी सर्कस' के बाद वह स्क्रीन पर नजर ही नहीं आए. सिद्धार्थ सागर ने कहा कि मैं रोज 18 दवाइयां लेता था. मैं बायपोलर डिसऑर्डर का शिकार था. मैं एडिक्टेड था, डिप्रेस्ड महसूस करता था, घबराहट होती थी और पैरानॉइड भी रहता था.

सिद्धार्थ सागर सिद्धार्थ सागर
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 11 अक्टूबर 2022,
  • अपडेटेड 9:00 PM IST

पॉपुलर कॉमेडियन सिद्धार्थ सागर आजकल 'द कपिल शर्मा शो' में नजर आ रहे हैं. टीवी इंडस्ट्री में इनका करियर कुछ आसान नहीं रहा. बतौर कॉमेडियन इन्हें काफी स्ट्रगल करना पड़ा. ऊपर से झेला डिप्रेशन, बायपोलर डिसऑर्डर और सब्स्टेंस अब्यूज. आज सिद्धार्थ सागर इन सभी चैलेंज से बाहर आ चुके हैं और खुशहाल जीवन जी रहे हैं. हाल ही में एक इंटरव्यू में सिद्धार्थ सागर ने अपनी इस मुश्किल जर्नी के बारे में खुलकर बात की. 

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कॉमेडियन ने बयां किया किस्सा
हिन्दुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट में सिद्धार्थ सागर ने कहा कि केवल हमारी इंडस्ट्री में ही नहीं, बल्कि हर इंडस्ट्री में, फिर चाहे वह कॉर्पोरेट वर्ल्ड हो या फिर स्टूडेंट लाइफ, हर कोई डिप्रेशन और घबराहट में जी रहा है. रात को सोने के लिए दवाएं ले रहा है और स्लीपिंग पिल्स का सेवन कर रहा है. मैं भी ऐसा ही था. मैं भी इन चीजों को लेता था, लेकिन अब और नहीं. 

सिद्धार्थ सागर साल 2018 में अचानक से इंडस्ट्री से गायब हो गए थे. 'कॉमेडी सर्कस' के बाद वह स्क्रीन पर नजर ही नहीं आए. सिद्धार्थ सागर ने कहा कि मैं रोज 18 दवाइयां लेता था. मैं बायपोलर डिसऑर्डर का शिकार था. मैं एडिक्टेड था, डिप्रेस्ड महसूस करता था, घबराहट होती थी और पैरानॉइड भी रहता था. सायकॉसिस और अजीब तरह के सपने मुझे आया करते थे. आज मैं किसी भी तरह की दवाई का सेवन नहीं करता हूं. मेरा दिमाग और बॉडी दोनों ही हेल्दी हैं. एक साल से मैं क्लीन हूं. किसी भी तरह का कोई एडिक्शन मेरे में नहीं है. भगवान की दुआ से सभी चीजें अपनी जगह पर चल रही हैं. 

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सिद्धार्थ सागर ने आगे कहा कि एक हेल्दी दिमाग में सेरोटोनिन और डोपामाइन नैचुरली रिलीज होता है. आपके दिमाग में जब केमिकल्स सही ढंग से रहते हैं तो आपको दिमाग भी ठीक काम करता है. इसमें आपकी डायट का भी रोल होता है. आप जो खाते हैं, वही बनते हैं. लोग जंक फूड का सेवन करते हैं, तो उनमें निगेटिव एनर्जी ज्यादा होती है. पैसा, नाम, फेम और सक्सेस, सबकुछ मिलता है, लेकिन इन सभी चीजों को पाने के लिए आपको कुछ खोना भी पड़ता है. अपनी बॉडी और दिमाग को अगर आप इग्नोर करोगे तो आप एक प्राइसलेस चीज को इग्नोर करोगे. आज के समय में मैं अपनी बॉडी और दिमाग दोनों को सही रेस्ट देता हूं. मेरी बॉडी और दिमाग में क्या चल रहा है, वह सुधारकर मैं उसे चीजें देने की कोशिश करता हूं, वह भी उतनी जितनी उन्हें जरूरत है. 

 

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