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'पैसे नहीं लौटाए तो शादी करा दूंगा', स्मृति ईरानी को याद आए मुश्किल दिन, 1500 रुपये के लिए किया 'झाड़ू-पोछा-बर्तन'

स्मृति ईरानी ने एक लेटेस्ट इंटरव्यू में अपने स्ट्रगल के दिनों को याद किया है. केंद्रीय मंत्री ने बताया कि अपने स्ट्रगल के दौरान उन्होंने मुंबई में McDonald आउटलेट में क्लीनर के तौर पर भी काम किया, जिसके लिए उन्हें महीने में 1500 रु मिलते थे. 

स्मृति ईरानी स्मृति ईरानी
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 26 मार्च 2023,
  • अपडेटेड 12:43 PM IST

एक्ट्रेस स्मृति ईरानी जब तुलसी विरानी बनकर टीवी पर दिखीं, तो हर कोई उनका मुरीद हो गया. एकता कपूर के शो 'क्योंकि सास भी कभी बहू थी' ने कामयाबी के झंडे गाड़ दिए और इस शो ने स्मृति ईरानी को देश की तुलसी का खिताब दे दिया. इस शो में स्मृति ईरानी ने लोगों के दिलों पर गहरी छाप छोड़ी. लेकिन उनकी जर्नी बिल्कुल आसान नहीं रही. उन्होंने कड़ी मेहनत करके कामयाबी हासिल की है. अब वो एक केंद्रीय मंत्री हैं.  

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मुश्किल दिनों को किया याद

स्मृति ईरानी ने अब एक लेटेस्ट इंटरव्यू में अपने स्ट्रगल के दिनों को याद किया है. केंद्रीय मंत्री ने बताया कि अपने स्ट्रगल के दौरान उन्होंने मुंबई में McDonald आउटलेट में क्लीनर के तौर पर भी काम किया, जिसके लिए उन्हें महीने में 1500 रु मिलते थे. 

नीलेश मिश्रा को दिए इंटरव्यू में स्मृति ईरानी ने बताया कि जब वो मिस इंडिया के लिए सिलेक्ट हो गई थीं, तब उन्हें ब्यूटी पेजेंट में पार्टिसिपेट करने के लिए 1 लाख रुपये की जरूरत थी. स्मृति ईरानी ने तब अपने पिता से लोन पर 1 लाख रुपये की रकम ली थी. लेकिन पिता ने पैसे देने के बदले स्मृति ईरानी के सामने एक कंडीशन रखी. 

इंटरव्यू में स्मृति ईरानी ने बताया कि उनके पिता ने उनसे कहा- 'मैं तुम्हें पैसे दे दूंगा, लेकिन कंडीशन ये है कि तुम्हें इंटरेस्ट के साथ मुझे पैसे वापस देने होंगे. अगर तुम पैसे नहीं लौटा पाईं, तो मैं अपनी पसंद के लड़के से तुम्हारी शादी करा दूंगा.' स्मृति ने पिता की ये शर्त मान ली थी.  

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नौकरी करके लौटाए पिता के पैसे
स्मृति ईरानी ने बताया कि ब्यूटी पेजेंट से उन्हें जो गिफ्ट्स मिले, उससे उन्होंने पिता को 60 हजार रुपये लौटा दिए थे, लेकिन बाकी के पैसे वापस करने के लिए उन्हें जॉब करनी पड़ी. स्मृति ईरानी ने कुछ एडवरटाइमजेंट किए, लेकिन अभी भी उन्हें एक स्ट्रॉन्ग इनकम सोर्स की जरूरत थी. ऐसे समय में उन्होंने क्लीनर के तौर पर काम किया. 

स्मृति ईरानी ने इस बारे में बात करते हुए कहा- मैं जब नौकरी के लिए McDonald गई तो वहां सिर्फ दो ही स्लॉट बचे थे. उन्होंने मुझसे कहा कि ये एक फाउंडेशन जॉब है, जिसमें झाड़ू, पोछा और बर्तन करने होंगे. तब मैंने नौकरी के लिए हां कह दिया था. उन्होंने मुझे इसके लिए 1500 रुपये दिए थे. 

स्मृति ईरानी ने पुराने दिनों को याद करते हुए बताया कि वो उस जगह हफ्ते में 6 दिन काम करती थीं. इसके बाद अपने वीक ऑफ के दिन वो ऑडिशन के लिए जाती थीं. स्मृति ईरानी को अपना पहला टेलीविजन शो ऑडिशन की वजह से ही मिला था, जिसके बाद वो एकता कपूर के शो 'क्योंकि सास भी कभी बहू थी' में तुलसी बन गईं. 

स्मृति ईरानी की एक्ट्रेस बनने की जर्नी देखकर इतना तो कहना पड़ेगा कि अगर इंसान कड़ी मेहनत और लगन से कुछ करना चाहे, तो उसे कामयाब होने से कोई नहीं रोक सकता. इसका सबसे बड़ा उदाहरण केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी हैं. 

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