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पटना लाठीचार्ज मामले में शासन को भेजी गई जांच रिपोर्ट, शिक्षक अभ्यर्थी पर डंडे बरसाते दिखे थे ADM

पटना डीडीसी और सिटी एसपी ने पटना के डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह को संयुक्त रिपोर्ट सौंपी. उन्होंने अब ये रिपोर्ट राज्य सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग को भेज दी है. 22 अगस्त को जब सीटीईटी-बीटीईटी पास उम्मीदवार पटना में नौकरी की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे, तभी एडीएम केके सिंह एक शिक्षक अभ्यर्थी की बेरहमी से पिटाई करते हुए कैमरे में कैद हुए थे.

शिक्षक अभ्यर्थी की पिटाई का वीडियो सामने आया था. शिक्षक अभ्यर्थी की पिटाई का वीडियो सामने आया था.
रोहित कुमार सिंह
  • पटना,
  • 03 सितंबर 2022,
  • अपडेटेड 6:29 AM IST

बिहार की राजधानी पटना में 22 अगस्त को विरोध प्रदर्शन के दौरान लाठीचार्ज की घटना की जांच पूरी हो गई है. इस मामले में कमेटी ने अपनी रिपोर्ट डीएम को सौंप दी है. अब ये रिपोर्ट शासन को भेज दी गई है. बताते चलें कि शिक्षक अभ्यर्थी अनीसुर रहमान के साथ कथित तौर पर पिटाई की घटना सामने आई थी. वायरल वीडियो में देखा गया था कि पटना के एडीएम केके सिंह डंडे से अभ्यर्थी की पिटाई कर रहे हैं.

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पटना डीडीसी और सिटी एसपी ने पटना के डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह को संयुक्त रिपोर्ट सौंपी. उन्होंने अब ये रिपोर्ट राज्य सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग को भेज दी है. 22 अगस्त को जब सीटीईटी-बीटीईटी पास उम्मीदवार पटना में नौकरी की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे, तभी एडीएम केके सिंह एक शिक्षक अभ्यर्थी अनीसुर रहमान की बेरहमी से पिटाई करते हुए कैमरे में कैद हुए थे.

टीम ने जांच के लिए मांगे थे अतिरिक्त दिन

एडीएम के खिलाफ उनके क्रूर कृत्य के लिए कार्रवाई किए जाने को लेकर हंगामा बढ़ा तो उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने इस मामले में हस्तक्षेप किया और पटना के डीएम डॉ. चंद्रशेखर सिंह को मामले की जांच करने का निर्देश दिया था. पटना डीएम ने तब मामले की जांच के लिए डीडीसी और सिटी एसपी की एक संयुक्त टीम का गठन किया था और 2 दिनों के भीतर रिपोर्ट सौंपने के लिए कहा था, लेकिन 2 दिन बाद भी जांच अधूरी रही, जिसके बाद टीम ने जांच पूरी करने के लिए 5 अतिरिक्त दिन मांगे थे.

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एडीएम दोषी हैं या नहीं... स्पष्ट नहीं

जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार को जांच के बाद रिपोर्ट डीएम को सौंपी गई थी, जिसे अब आगे की कार्रवाई के लिए सामान्य प्रशासन विभाग को भेज दिया है. हालांकि, यह अभी भी स्पष्ट नहीं है कि जांच रिपोर्ट में एडीएम को दोषी पाया गया है या नहीं और राज्य सरकार उनके खिलाफ कोई कार्रवाई करेगी या नहीं.

 

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