
छत्तीसगढ़ कांग्रेस अध्यक्ष भूपेश बघेल को कथित तौर पर नक्सली नेता गणपति के फोन आने पर सूबे मे सियासी बवाल मच गया है. भूपेश बघेल ने इस फोन के पीछे सत्ताधारी भाजपा व पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी की पार्टी द्वारा उन्हें नक्सली ट्रैप में फंसाने का षड्यंत्र करार दिया है.
भूपेश बघेल ने आशंका जताई है कि इस साजिश में बीजेपी और अजीत जोगी की पार्टी इन दोनों के अलावा तीसरा कोई और नहीं हो सकता है. इससे पहले कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी पीएल पुनिया ने झीरम घाटी कांड को लेकर बयान दिया था कि कांग्रेसी नेताओं पर हुए नक्सली हमले के पीछे अजीत जोगी का हाथ है. भूपेश बघेल के मुताबिक पीएल पुनिया के इस बयान के बाद नक्सली नेता के नाम से फोन आना कई शंकाओं को जन्म देता है. जिसमें किसी बड़ी साजिश से इनकार नहीं किया जा सकता.
बघेल का कहना है कि इससे पहले भी राज्य के मंत्री की अश्लील सीडी कांड में उन्हें भी फंसाने की साजिश हुई थी. लेकिन वह और कांग्रेस ऐसी साजिशों से न डरेंगे, न झुकेंगे और न ही रुकेंगे.
भूपेश बघेल के इस बयान पर बीजेपी प्रवक्ता श्रीचंद सुंदरानी ने पलटवार करते हुए कहा है कि बघेल सुर्ख़ियों में बने रहने के लिए इस मामले को तूल दे रहे हैं. उनके मुताबिक बघेल ने घटना की लिखित शिकायत पहले पुलिस में नहीं की. लेकिन मामले को सनसनीखेज बनाने के लिए मीडिया का सहारा लिया. जब अख़बारों और मिडिया में सुर्खियां बटोर ली, फिर पुलिस में लिखित शिकायत दर्ज कराई.
बता दें कि मंगलवार देर शाम छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष भूपेश बघेल को एक शख्स ने फोन कर अपना परिचय नक्सली नेता गणपति के रूप में दिया. लगभग दो मिनट की इस बातचीत मे गणपति ने बघेल से राजनीतिक समीकरणों पर चर्चा करते हुए यह भी कहा कि नक्सली कांग्रेस का समर्थन करना चाहते है. और वे 37 विधानसभा सीटों के परिणाम बदलने में सक्षम हैं. जिसके बाद बघेल ने किसी बड़ी साजिश का अंदेशा जताते हुए इस कथित नक्सली नेता के साथ हुई बातचीत का पूरा ब्यौरा पुलिस को दिया था.