
केंद्रीय वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने जीएसटी से नाराज चल रहे व्यापारियों को इसकी खूबियां बताने की जिम्मेदारी संभाल ली है. इस साल के आखिर में तीन राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए गोयल वहां के व्यापारियों को जीएसटी की खूबियां बता रहे हैं.
छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में बंद कमरे में पीयूष गोयल ने व्यापारियों को जीएसटी का वो फार्मूला बताया कि उनके कठिन से कठिन गणित चुटकियों में सुलझ गए. आपको बता दें कि साल के आखिर में मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव होना है. ऐसे में बीजेपी नहीं चाहती कि व्यापारी उससे नाराज रहें. ऐसे में चुनाव करीब आते ही पार्टी व्यापारियों की जीएसटी के प्रति नाराजगी दूर करने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है.
रायपुर के एक पांच सितारा होटल के एक कमरे को क्लास रूम में तब्दील कर दिया गया. इस क्लासरूम में बतौर टीचर केंद्रीय वित्तीय मंत्री पीयूष गोयल और राज्य के मुख्यमंत्री रमन सिंह मौजूद थे. प्रदेश के सभी जिलों के व्यापरिक संगठनों के प्रतिनिधि , कारोबारी और उद्द्योगपति उनके छात्र थे.
ये वो लोग हैं जो रोजाना जीएसटी की पेचीदगियों को लेकर रोजाना दो चार हो रहे हैं. बीजेपी से व्यापारिक संगठनों का मोहभंग होने के अंदेशे से यहां व्यापरियों और कारोबारियों को खासतौर पर इकट्ठा किया गया. बैठक में तमाम व्यापरिक संगठनों और कारोबारियों ने पीयूष गोयल को जीएसटी से हो रही परेशानियों से रूबरू कराया.
इस बैठक का मुख्य उद्देश्य जीएसटी की उन खामियों को दूर करना था , जिसके कारण कारोबार प्रभावित हो रहा था. तमाम कारोबारियों की फरियाद सुनने के बाद पीयूष गोयल ने उसके तत्काल निराकरण के लिए मौके पर मौजूद अपने अफसरों को निर्देश दिए. बैठक में मौजूद मुख्यमंत्री रमन सिंह ने भी कारोबारियों की तमाम दलीलें सुनी और छत्तीसगढ़ में जीएसटी के साथ-साथ राज्य की कर प्रणली के सरलीकरण किए जाने के निर्देश मौके पर ही जारी किए.
उन्होंने व्यापरियों और कारोबारियों को बताया कि राज्य के टैक्स निर्धारण की नीति किस तरह से उनके हित के लिए बनाई गई है. रमन सिंह ने इंस्पेक्टर राज के खत्म होने की जानकारी व्यापरियों को दी. कई मसलों में जीएसटी की खामियां दूर होने से व्यापारी वर्ग संतुष्ट नजर आया.
चेंबर ऑफ़ कॉमर्स के संरक्षक विधायक श्रीचंद सुंदरानी ने कहा कि इस बैठक के बाद व्यापारियों की कई तकलीफें दूर हुई हैं. उन्होंने बताया कि जीएसटी भरने वाले ज्यादा तर व्यापारी इसके सरलीकरण की मांग कर रहे थे. उनके मुताबिक वर्तमान में जीएसटी भरने के लिए अलग से स्टॉफ नियुक्त करना पड़ा है . जीएसटी फॉर्म भी काफी कठिन है , इसके चलते कारोबारियों को कई तरह की दिक्क्तों का सामना करना पड़ रहा था. लेकिन अब ज्यादातर शिकायतें दूर हुई है. चेंबर ऑफ़ कॉमर्स के अध्यक्ष जीतेन्द्र बरलोटा के मुताबिक वित्त मंत्री के साथ बैठक काफी सार्थक रही है.इससे पहले व्यापरिक संगठनों ने केंद्रीय मंत्री गोयल और मुख्यमंत्री रमन सिंह का गर्मजोशी के साथ स्वागत किया. अपने स्वागत सत्कार से मंत्री और मुख्यमंत्री भी गदगद नजर आए. उन्होंने दिल खोलकर व्यापरियों और कारोबारियों का साथ निभाने का वादा किया. दरअसल छत्तीसगढ़ , मध्यप्रदेश और राजस्थान में कुछ महीने में ही विधानसभा चुनाव होने है. इन राज्यों में पहले नोटबंदी और उसके बाद जीएसटी को लेकर व्यापरिक संगठनों और कारोबारियों के बीच गतिरोध उत्पन्न हो गया था.
व्यापरियों के कई संगठन सरकार के नीतियों से नाखुश नजर आ रहे थे. इन संगठनों ने विधानसभा चुनाव में बीजेपी को सबक सिखाने की तक ठान ली थी. लिहाजा व्यापरियों की नाराजगी दूर करने के लिए बीजेपी का केंद्रीय संगठन इन तीनो ही राज्यों में इस तरह की बैठक आयोजित कर रहा है. इस कड़ी में पहली बैठक रायपुर में संपन्न हुई.