
अश्लील सीडी कांड में सुप्रीम कोर्ट ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के खिलाफ चल रही ट्रायल पर रोक लगा दी. दरअसल, सुप्रीम कोर्ट में अश्लील सीडी कांड की जांच कर रही सीबीआई ने केस को दिल्ली ट्रांसफर करने की याचिका दी. इस पर सुप्रीम कोर्ट ने सीएम भूपेश बघेल को नोटिस जारी किया है.
अश्लील सीडी कांड में रिंकू खनूजा की खुदकुशी के बाद सीबीआई ने अप्रत्यक्ष तौर पर जांच में तेजी नहीं दिखाई. सीबीआई ने सुप्रीम कोर्ट में लगाई गई याचिका में कैलाश मुरारका और चार अन्य लोगों को पक्षकार बनाया है.
27 अक्टूबर 2017 को पूर्व मंत्री की कथित सीडी उजागर होने के बाद प्रदेश में राजनीतिक भूचाल आ गया था. छत्तीसगढ़ सेक्स सीडी कांड की जांच कर रही सीबीआई ने मामले में चार्जशीट दाखिल किया था. सीबीआई ने चार्जशीट में दावा किया कि पीडब्ल्यूडी मंत्री राजेश मूणत की सेक्स सीडी फ़र्ज़ी थी, जो उनकी ही पार्टी के बीजेपी नेता कैलाश मुरारका ने तैयार करवाई थी.
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क्या है मामला?
गौरतलब है कि 27 अक्टूबर, 2017 को एक कथित सेक्स टेप वायरल हुआ था, जिसमें छत्तीसगढ़ के एक मंत्री का नाम सामने आया था. बाद में इस मामले में दिल्ली से पत्रकार विनोद वर्मा की गिरफ्तारी हुई थी.
इस मामले में भारतीय जनता पार्टी(बीजेपी) ने कांग्रेस नेताओं पर कथित सेक्स सीडी बांटने का आरोप लगाया था. सीडी कांड में आरोपी विनोद वर्मा के साथ ही भूपेश बघेल के खिलाफ रायपुर में प्राथमिकी दर्ज हुई थी.
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CBI को सौंपा गया मामला
मामले को तूल पकड़ता देख राज्य सरकार ने यह मामला सीबीआई को सौंप दिया था. सीबीआई ने मामले में भाजपा और कांग्रेस नेताओं से पूछताछ की थी. इस बीच सेक्स सीडी कांड से जुड़े रिंकू खनूजा नामक व्यक्ति की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. रिंकू खनूजा की मौत के बाद इस मामले ने राजनीतिक तूल पकड़ लिया था.