
दिल्ली सरकार और दिल्ली नगर निगम की बिल्डिंग पर ग्रिड-कनेक्टेड रूफटॉप सोलर प्लांट लगाए जाएंगे. इन सभी प्लांटों की कुल क्षमता 50 मेगावाट होंगे. दिल्ली की ऊर्जा मंत्री आतिशी ने इस परियोजना को मंजूरी दे दी है. उन्होंने कहा कि सरकारी इमारतों पर रूफटॉप सोलर प्लांट लगाने की ये पहल दिल्ली सोलर पॉलिसी का हिस्सा है.
इस योजना के तहत 500 वर्ग मीटर से अधिक क्षेत्रफल वाले लगभग 645 दिल्ली सरकार और एमसीडी की इमारतों पर रूफटॉप सोलर प्लांट लगाए जाएंगे. जिनमें शैक्षणिक संस्थान, स्वास्थ्य संस्थान, डीटीसी डिपो, दिल्ली ट्रांसको लिमिटेड सबस्टेशन जैसी अन्य इमारतें शामिल हैं. ये प्रोजेक्ट सरकारी इमारतों को अपनी बिजली की जरूरतों को खुद पूरा करने के साथ-साथ पैसों की बचत करने में फायदेमंद साबित होगा.
ग्रीन एनर्जी को मिलागा बढ़ावा
बता दें कि ग्रीन एनर्जी उत्पादन को बढ़ावा देने के मकसद से 29 जनवरी, 2024 को कैबिनेट द्वारा दिल्ली सोलर पॉलिसी को पास किया था. दिल्ली सरकार ने 2027 तक शहर की 25% बिजली सौर ऊर्जा संयंत्रों के माध्यम से उत्पन्न करने का टारगेट तय किया है. हालांकि, पिछले दिनों केजरीवाल सरकार ने आरोप लगाया था कि सोलर पॉलिसी 2024 को एलजी द्वारा रोक दिया गया है.
ऊर्जा मंत्री आतिशी ने कड़ी आपत्ति जताते हुए कहा था कि एलजी साहब भाजपा की ओर से बैटिंग कर रहे हैं. इसलिए उन्होंने इतनी प्रोगेसिव सोलर पॉलिसी 2024 की फाइल को रोक दिया है.
दिल्ली सोलर पॉलिसी 2024 का टारगेट
केजरीवाल सरकार के मुताबिक, नई पॉलिसी के तहत गैर-सब्सिडी वाले आवासीय उपभोक्ताओं के बिजली बिलों को जीरो और कमर्शियल या औद्योगिक उपभोक्ताओं का बिजली का बिल 50 फीसद तक कम करना है. इसके अलावा मार्च 2027 तक दिल्ली की कुल स्थापित सौर क्षमता को मौजूदा क्षमता 1500 मेगावाट से तीन गुना बढ़ाकर 4,500 मेगावाट करना है. इसमें 2027 तक दिल्ली में 750 मेगावाट छत पर सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापना और दिल्ली के बाहर स्थापित 3750 मेगावाट सौर ऊर्जा संयंत्र शामिल हैं.