
देश में लोकसभा चुनाव 2019 की तारीखों के ऐलान के साथ ही आचार संहिता लागू हो चुकी है. आचार संहिता लगने के बावजूद बड़ी तादाद में राजनैतिक दलों के द्वारा उल्लंघन के मामले भी सामने आ रहे हैं.
बीते दिनों दिल्ली नगर पालिका परिषद ने तीनों ही पेट्रोलियम कंपनियों को पेट्रोल पंप से प्रधानमंत्री की तस्वीरें हटाने का निर्देश दिए थे. साथ ही आदेश ना मानने पर चुनाव आयोग में शिकायत की भी चेतावनी दी थी. नतीजन एनडीएमसी इलाके के लगभग सभी पेट्रोल पंप से प्रधानमंत्री की तस्वीरों वाले होर्डिंगहटा दिए गए, लेकिन एनडीएमसी इलाके से बाहर निकलते ही पेट्रोल पंप पर पीएम की होर्डिंग नजर आ रही हैं.
वहीं दिल्ली के तमाम मोहल्ला क्लीनिक और रैनबसेरों में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की बड़ी-बड़ी तस्वीरें नजर आ रही हैं. दिल्ली में सौ से ज्यादा मोहल्ला क्लीनिक हैं और लगभग सभी में केजरीवाल की बड़ी-बड़ी तस्वीरें बाहर लगी हुई है.
अब इस मुद्दे पर अब इस मुद्दे पर राजनीति भी तेज हो गई है, हालांकि आम आदमी पार्टी और कांग्रेस इस मुद्दे पर बीजेपी के घेरती नजर आ रही है और चुनाव आयोग से इसे हटाने की मांग कर रहे हैं. आम आदमी पार्टी के गोपाल राय ने तो अपनी कमियां देखे बगैर चुनाव आयोग पर टिप्पणी भी कर दी है. गोपाल राय ने कहा है कि चुनाव आयोग को पेट्रोलियम मंत्रालय में फ़र्क नहीं करना चाहिए और तुरंत चुनाव आयोग को निर्देश देना चाहिए.
वहीं इस मुद्दे पर दिल्ली कांग्रेस कमेटी के कार्यकारी अध्यक्ष राजेश लिलोठिया ने चेतावनी दी है कि अगर चुनाव आयोग दो दिन के भीतर पेट्रोल पंप और मोहल्ला क्लीनिक से मोदी और अरविंद केजरीवाल की तस्वीरें नहीं हटाता है तो कांग्रेस के कार्यकर्ता दो दिन बाद उन तस्वीरों को काले कपड़ों और काले पोस्टरों से ढक देंगे. बहरहाल देखना होगा कि क्या चुनाव आयोग इस तरह के उल्लंघन पर राजनैतिक दलों पर क्या कार्रवाई करती है.