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AAP का चुनाव आयोग पर पक्षपात का आरोप, विपक्ष ने मांगा केजरीवाल का इस्तीफा

सत्तारुढ़ आम आदमी पार्टी के 20 विधायकों की सदस्यता खत्म किए जाने की सिफारिश की खबर आने के बाद दिल्ली की राजनीति में हलचल शुरू हो गई है, विपक्षी दलों ने इसके आधार पर आप पार्टी पर जमकर निशाना साधा है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से इस्तीफा मांगा है.

कपिल  मिश्रा (फाइल फोटो) कपिल मिश्रा (फाइल फोटो)
aajtak.in/अशोक सिंघल
  • नई दिल्ली,
  • 19 जनवरी 2018,
  • अपडेटेड 5:48 PM IST

दिल्ली में सत्तारुढ़ आम आदमी पार्टी (आप) के 20 सदस्यों की सदस्यता जाने संबंधी खबर आने के तुरंत बाद राजनीतिक दलों में इसकी तीव्र प्रतिक्रिया आने लगी है. विपक्षी दलों ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से इस्तीफा मांगा है.

मामला लाभ के पद का माना जा रहा है, जिसके तहत चुनाव आयोग ने आप के 20 विधायकों की सदस्यता रद किए जाने की सिफारिश करने का फैसला लिया है. हालांकि इस पर अभी राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की मुहर लगनी है.

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दूसरी ओर, आप के पूर्व नेता कपिल मिश्रा ने इसके पीछे एक आदमी की लालच को जिम्मेदार ठहराया. आप के पूर्व नेता कपिल मिश्रा ने ट्वीट करते हुए लिखा कि एक आदमी के लालच के कारण 20 विधायकों की सदस्यता खत्म हुई. अरविंद केजरीवाल पैसों के लालच में अंधे हो चुके हैं.

भारतीय जनता पार्टी ने भी इस फैसले पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. पार्टी के नेता सतीश उपाध्याय ने आजतक से कहा कि जनता को आप पार्टी का भ्रष्टाचार दिख रहा है. सरकार का भ्रष्टाचार बेनकाब हुआ है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को अब पद पर बने रहने का कोई औचित्य नहीं रह गया है.

वहीं, आप के नेता नागेंद्र शर्मा ने आयोग के फैसले को पक्षपातपूर्ण कहा. उन्होंने आरोप लगाया कि आयोग ने आप विधायकों की बात नहीं सुनी. साथ ही आयोग मीडिया को खबरें लीक कर रहा है. 

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दिल्ली के बीजेपी अध्यक्ष मनोज तिवारी का कहना है कि बीजेपी चुनाव आयोग के इस फैसले का स्वागत करती है. आम आदमी पार्टी ने कभी भी कानून का पालन नहीं किया. संविधान को नहीं माना. बार-बार संविधानिक संकट पैदा करना आम आदमी पार्टी का चरित्र रहा है. लेकिन आज का चुनाव आयोग का निर्णय आम आदमी पार्टी को एक आईना दिखाने वाला है. यह देश संविधान से चलता है और संविधान से ही चलेगा.

उनका कहना है कि हम इस बात का अफसोस रहा है कि अगर 20 महीने पहले चुनाव आयोग का यह निर्णय आ गया होता तो आम आदमी पार्टी और पार्टी के मुखिया अरविंद केजरीवाल को दिल्ली की जनता को 20 महीने और लूटने का समाचार फैलाने का समय नहीं मिल पाता.

मनोज तिवारी का यह भी कहना है कि फिर भी हम इस चुनाव आयोग के फैसले का स्वागत करते हैं. कोई बात नहीं जो निर्णय आया ठीक है, लेकिन निर्णय समय पर आता है तो राज्यसभा में आम आदमी पार्टी के तीन सांसद भी नहीं जा पाते और सांसदों की खरीद-फरोख्त का समाचार भी नहीं आता.

मनोज तिवारी का कहना है कि हम चुनाव में कभी भी जाने को तैयार हैं. हमारा बूथ स्तर का हर कार्यकर्ता सीलिंग भ्रष्टाचार लूट इन सब को रोकने के लिए चुनाव में जाने को हर वक्त तैयार हैं. चुनाव आयोग का स्वागत करते हैं। हम दिल्ली को बचाने के लिए हर वक्त तैयार हैं. चाहे हमें कल ही चुनाव में जाना हो तो भी हम पीछे नहीं हटेंगे.

कांग्रेस की शर्मिष्ठा मुखर्जी ने चुनाव आयोग की सिफारिश का स्वागत किया. उन्होंने कहा कि 'आप' ने गैरकानूनी काम किया है. कांग्रेस के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष अजय माकन ने कहा कि नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए इन विधायकों को इस्तीफा दे देना चाहिए. माकन ने कहा कि दिल्ली में हमारी पार्टी विरोध प्रदर्शन करेगी और केजरीवाल के इस्तीफे की मांग करेगी.

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बीजेपी के पूर्व दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सतीश उपाध्याय ने कहा कि हम केजरीवाल के इस्तीफे की मांग करते हैं. भाजपा नेता विजेंदर गुप्ता ने ट्वीट कर कहा कि राष्ट्रपति को इस पर जल्द फैसला लेना चाहिए.

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