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इस तापमान में तेजी से पनपता है डेंगू मच्छर का लारवा, दिल्ली के अस्पतालों को निर्देश जारी

दिल्ली में डेंगू के मामले लगातार बढ़ रहे हैं. साथ ही OPD में भी फीवर के मामले तेजी से बढ़ रहें हैं. हर रोज सौ मरीज ऐसे आ रहें हैं जिन्हें फीवर है और इनमें ज्यादातर डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के मरीज हैं. इसे लेकर अब दिल्ली सरकार भी अलर्ट मोड में आ गई है.

डेंगू डेंगू
पंकज जैन
  • नई दिल्ली,
  • 13 अक्टूबर 2022,
  • अपडेटेड 6:13 PM IST

दिल्ली में डेंगू के मामले लगातार बढ़ रहें हैं. साथ ही OPD में भी फीवर के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. हर रोज अस्पतालों में करीब 100 ऐसे मरीज सामने आ रहे हैं जिन्हें फीवर है और इनमें ज्यादातर डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया के मरीज हैं. सेंट्रल दिल्ली के LNJP अस्पताल में फीवर वार्ड बनाया गया है. फीवर वार्ड्स को ICU वार्ड के नजदीक बनाया गया है ताकि मरीज के मल्टी ऑर्गन से पीड़ित या उसमें डेंगू सिन्ड्रॉम पाए जाने पर तत्काल ICU में शिफ्ट किया जा सके. ऐसे मरीज जिनकी प्लेटलेट्स 50 हजार से ज्यादा है उन्हें OPD से ट्रीट किया जाएगा. 

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एक हफ्ते में डबल हुए डेंगू के मामले

'आजतक' की टीम ने LNJP अस्पताल में फीवर वार्ड का दौरा भी किया. अस्पताल प्रशासन ने डेंगू के बढ़ते मामलों पर चिंता जाहिर करते हुए बताया कि पहले रोजाना डेंगू के 1 से 2 मरीज भर्ती होते थे लेकिन पिछले एक हफ्ते में डेंगू के मामले डबल हो गए हैं.

दिल्ली सरकार ने सभी अस्पतालों को 10 से 15 फीसदी बेड्स मच्छर जनित बिमारियों के मरीजों के लिए खास तौर पर डेंगू के मरीजों के लिए आरक्षित करने के निर्देश दिए हैं. स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी आदेश के अनुसार जिन सरकारी और निजी अस्पतालों में कोविड-19 के मरीजों को भर्ती करने के लिए बेड आरक्षित किए गए, अस्पताल उन बेड्स का इस्तेमाल डेंगू या अन्य मच्छर जनित मरीजों के लिए करें क्योंकि दिल्ली में कोरोना के मामले बेहद कम आ रहे हैं. ऐसे में जरुरत पड़ने पर इन खाली बेड्स का बेहतर इस्तेमाल हो सकेगा.

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20 से 35 डिग्री पर तेजी से पनपता है डेंगू मच्छर का लारवा 

क्या मच्छरों की ब्रीडिंग तापमान गिरने के साथ और प्रदूषण बढ़ने के साथ कम होने लगती है? इस सवाल के जवाब में LNJP अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डॉ. सुरेश ने 'आजतक' से खास बातचीत में बताया कि एक स्टडी के मुताबिक सितंबर, अक्टूबर और नवंबर में तापमान 20 से 35 डिग्री के बीच होता है और इस तापमान में डेंगू मच्छर का लारवा तेजी से पनपता है. आगे डॉ. सुरेश कुमार ने कहा कि क्लाइमेट तेजी से बदल रहा हैं. पिछले कई दशकों के बाद दिवाली से पहले अक्टूबर के महीने में बारिश हुई है और ऐसी स्तिथि में पानी जमा होने की वजह से मच्छरों की ब्रीडिंग भी ज्यादा होती है. ऐसे में संभावना है कि डेंगू के केस बढ़ सकते हैं.

चार वायरस होते हैं डेंगू के

डेंगू के वायरस को समझने के लिए LNJP हॉस्पिटल स्टडी कर रहा है. डॉ. सुरेश कुमार के मुताबिक डेंगू के चार वायरस होते हैं और हर साल डेंगू के वायरस पर स्टडी भी की जाती है. LNJP अस्पताल सैंपल भेजकर नए डेंगू वायरस पर स्टडी भी कर रहा है जिसकी रिपोर्ट जल्द ही आएगी. स्टडी में जांच की जाती है कि जिन मरीजों को डेंगू हुआ उन पर वायरस ने किस तरह अटैक किया है.

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OPD से ट्रीट हो जाते 95% मरीज

उन्होंने बताया कि ज्यादातर डेंगू मरीजो को हॉस्पिटल में एडमिट होने की जरूरत नहीं पड़ती है. 95% मरीज OPD से ट्रीट हो जाते हैं. ऐसे मरीज जिन्हें नाक या मुंह से खून निकल रहा है और बल्ड प्रेशर की शिकायत है तो हॉस्पिटल में भर्ती कर इलाज जरूरी हो जाता है. साथ ही, बच्चों को उल्टी दस्त की शिकायत होने पर या प्लेटलेट्स की संख्या 20 हजार से कम होने पर हॉस्पिटल में भर्ती किया जाता है.

डेंगू के मरीजों के लिए हो कोरोना के लिए आरक्षित बेड्स का इस्तेमाल

दिल्ली सरकार के अस्पतालों मे कोरोना के लिए लगभग 8800 बेड्स आरक्षित किए गए थे लेकिन दिल्ली में कोरोना के मामले बेहद कम आ रहे है और वर्तमान में आरक्षित बेड्स के 1% से भी कम बेड्स उपयोग में आ रहे है. ऐसे में सरकार की ओर से अस्पतालों को निर्देश दिया गया है कि इन बेड्स का उपयोग मच्छर जनित बिमारियों के रोगियों के लिए किया जाए जिससे उनके इलाज में किसी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े.

 

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