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PM MODI हैदराबाद पहुंचे, 11वीं सदी के इस संत की 216 फीट ऊंची 'स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी' राष्ट्र को करेंगे समर्पित

श्री रामानुजाचार्य ने राष्ट्रीयता, लिंग, नस्ल, जाति या पंथ की परवाह किए बिना हर इंसान की भावना के साथ लोगों के उत्थान के लिए अथक प्रयास किया. स्टैच्यू ऑफ इक्वैलिटी का उद्घाटन 12 दिवसीय श्री रामानुज सहस्रब्दी समारोह का एक हिस्सा है, जो श्री रामानुजाचार्य की चल रही 1000 वीं जयंती समारोह है.

पीएम मोदी. -फाइल फोटो. पीएम मोदी. -फाइल फोटो.
aajtak.in
  • नई दिल्ली,
  • 05 फरवरी 2022,
  • अपडेटेड 3:55 PM IST
  • संत श्री रामानुजाचार्य की स्मृति में बनी है 'समानता की मूर्ति'
  • ICRISAT की 50वीं वर्षगांठ समारोह की शुरुआत करेंगे PM MODI

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज हैदराबाद में हैं. वे हैदराबाद के पाटनचेरु में ICRISAT की 50वीं वर्षगांठ समारोह में शिरकत कर रहे हैं. इस दौरान उन्होंने कहा कि ICRISAT के गोल्डन जुबली समारोह में पीएम मोदी ने कहा कि आपके पास 5 दशकों का अनुभव है. इन 5 दशकों में आपने भारत सहित दुनिया के एक बड़े हिस्से में कृषि क्षेत्र की मदद की है. आपकी रिसर्च, आपकी टेक्नॉलॉजी ने मुश्किल परिस्थितियों में खेती को आसान और सस्टेनेबल बनाया है. पीएम ने कहा कि भारत ने क्लाइमेंट चेंज से निपटने के लिए दुनिया से इस पर विशेष ध्यान देने का आग्रह किया है. भारत ने 2070 तक नेट जीरो का टारगेट तो रखा ही है, हमने लाइफ स्टाईल फॉर इनवायरमेंट की जरूरत को भी हाईलाइट किया है. उन्होंने कहा कि प्रो प्लानेट पीपल एक ऐसा मूवमेंट है जो क्लाइमेट चैलेंज से निपटने के लिए हर कम्यूनिटी को, हर इंडिविजुअल को क्लाइमेंट रिस्पॉन्सबलिटी से जोड़ता है. ये सिर्फ बातों तक सीमित नहीं है, बल्कि भारत सरकार के एक्शन्स में भी रिफ्लेक्ट होता है. 

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पीएम मोदी ने कहा कि हम दोहरी रणनीति पर काम कर रहे हैं. एक तरफ हम वाटर कर्वर्जन के माध्यम से नदियों को जोड़कर एक बड़े क्षेत्र को इरिगेशन के दायरे में ला रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ हम कम सिंचित क्षेत्रों में वाटर यूज इफेसिएंसी बढ़ाने के लिए माइक्रो इरिगेशन पर जोर दे रहे हैं. पीएम ने कहा कि डिजिटल एग्रीकल्चर बदलते हुए भारत का एक महत्वपूर्ण पक्ष है. ये हमारा फ्यूचर है और इसमें भारत के टेलेंटेड युवा, बहुत बेहतरीन काम कर सकते हैं.

पीएम ने कहा कि डिजिटल टेक्नॉलॉजी से कैसे हम किसान को ताकतवर कर सकते हैं, इसके लिए भारत में प्रयास निरंतर बढ़ रहे हैं. क्लाइमेट चैलेंज से अपने किसानों को बचाने के लिए हमारा फोकस बैक टू बेसिक्स और मार्च टू फ्यूचर दोनों के फ्यूजन पर है. हमारा फोकस देश के उन 80 प्रतिशत से अधिक छोटे किसानों पर है, जिनको हमारी सबसे अधिक ज़रूरत है. भारत में 15 एग्रो क्लाइमेटिक जोन हैं. हमारे यहां, वसंत,  ग्रीष्म,  वर्षा,  शरद,  हेमंत और शिशिर, ये 6 ऋतुएं भी होती हैं, यानि हमारे पास एग्रीकल्चर से जुड़ा बहुत विविध और बहुत प्राचीन अनुभव है. 

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उधर, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हैदराबाद पहुंचने पर मुख्यमंत्री के एयरपोर्ट नहीं जाने पर बीजेपी ने केसीआर पर निशाना साधा है. तेलंगाना बीजेपी के अध्यक्ष और सांसद बंदी संजय ने कहा कि हम इस बात की कड़ी निंदा करते हैं कि मुख्यमंत्री केसीआर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वागत के लिए नहीं आए. उन्होंने कहा कि केसीआर क्या यही आपकी संस्कृति है? 80 हजार किताबें पढ़ने के बारे में आपका क्या ज्ञान है? उन्होंने आगे पूछा कि मुख्यमंत्री कहां व्यस्त हैं कि वह पीएम की अगवानी करने नहीं आए. क्या आप भूल गए हैं कि आपके पूछने पर प्रधानमंत्री ने आपको मिलने का समय दिया था? संजय ने कहा कि प्रधानमंत्री का अपमान करना देश की जनता का अपमान करने जैसा है.  

राष्ट्र को समर्पित करेंगे स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी

हैदराबाद में दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी 216 फीट ऊंची रामानुजाचार्य की मूर्ति स्थापित की गई है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस मूर्ति का आज अनावरण करेंगे. इस मूर्ति का नाम स्टैच्यू ऑफ इक्वालिटी दिया गया है. शाम करीब 5 बजे वे हैदराबाद में 'स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी' राष्ट्र को समर्पित करेंगे. 216 फीट ऊंची स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी 11वीं सदी के भक्ति संत श्री रामानुजाचार्य की याद में बनाई गई है, जिन्होंने आस्था, जाति और पंथ सहित जीवन के सभी पहलुओं में समानता के विचार को बढ़ावा दिया.

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पंचलोहा से बना है स्टैच्यू ऑफ इक्वैलिटी

स्टैच्यू ऑफ इक्वेलिटी 'पंचलोहा' से बनी है. इसमें सोना, चांदी, तांबा, पीतल और जस्ता शामिल है. यह 'भद्र वेदी' नाम के 54 फीट ऊंचे आधार भवन पर स्थापित है, जिसमें वैदिक डिजिटल लाइब्रेरी और रिसर्च सेंटर, प्राचीन भारतीय ग्रंथों, एक थिएटर, एक शैक्षिक गैलरी है जिसमें श्री रामानुजाचार्य के किए गए कामों का जिक्र है. मूर्ति की परिकल्पना श्री रामानुजाचार्य आश्रम के श्री चिन्ना जीयर स्वामी ने की है.

कार्यक्रम के दौरान श्री रामानुजाचार्य की जीवन यात्रा और शिक्षा पर थ्रीडी प्रेजेंटेशन मैपिंग भी प्रदर्शित की जाएगी. प्रधानमंत्री 108 दिव्य देशम (सजावटी रूप से नक्काशीदार मंदिर) का भी दौरा करेंगे जो स्टैच्यू ऑफ इक्वलिटी को घेरे हुए है. 

ICRISAT एक अंतरराष्ट्रीय संगठन है जो एशिया और उप-सहारा अफ्रीका में विकास के लिए कृषि अनुसंधान करता है. यह किसानों को बेहतर फसल की किस्में और संकर प्रदान करके मदद करता है और शुष्क भूमि में छोटे किसानों को जलवायु परिवर्तन से लड़ने में भी मदद करता है.

 

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