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स्मॉग से निपटने में असमर्थ दिल्ली सरकार, UP-बिहार को बताया जिम्मेदार

देश की राजधानी में प्रदूषण का स्तर लगातार बढ़ने की एक वजह वाहनों से निकलने वाला धुआं भी है.  दिल्ली में वाहनों की संख्या को नियंत्रण करने और इससे फैलने वाले प्रदूषण की जांच को लेकर सरकार के साथ-साथ तमाम एजेंसियों का ढीला रवैया सामने आ रहा है.

अरविंद केजरीवाल  अरविंद केजरीवाल
वंदना भारती/पंकज जैन
  • नई दिल्ली,
  • 04 दिसंबर 2017,
  • अपडेटेड 3:03 PM IST

देश की राजधानी में प्रदूषण का स्तर लगातार बढ़ने की एक वजह वाहनों से निकलने वाला धुआं भी है.  दिल्ली में वाहनों की संख्या को नियंत्रण करने और इससे फैलने वाले प्रदूषण की जांच को लेकर सरकार के साथ-साथ तमाम एजेंसियों का ढीला रवैया सामने आ रहा है.

अब केजरीवाल सरकार के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण को लेकर एक नया कारण बताया है और कहा है कि प्रदूषण के लिए पड़ोसी राज्य भी जिम्मेदार हैं, जिसमें बिहार का थर्मल पॉवर स्टेशन भी शामिल है.   

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आजतक के साथ हुई बातचीत के दौरान परिवहन मंत्री, दिल्ली के पड़ोसी राज्यों से फैल रहे प्रदूषण की वजह गिनाते नजर आए. कैलाश गहलोत ने कहा कि 'सेटेलाइट की तस्वीर के मुताबिक पूरा नॉर्थ इंडिया स्मॉग की जकड़ में है. वाहनों से 20% प्रदूषण फैलता है, लेकिन प्रदूषण की बड़ी वजह पड़ोसी राज्यों के अलावा बिहार जैसे राज्य में थर्मल पॉवर स्टेशन भी हैं, जिन पर लगाम लगाने की जरूरत है.'

दिल्ली में 4 पहिया वाहनों की संख्या 60 लाख से ज्यादा है. इनमें से ज्यादातर वाहन ऐसे हैं, जो सड़कों पर खुलेआम प्रदूषण फैलाते हैं, लेकिन इन वाहनों पर लगाम लगाने के लिए सरकार के पास कोई खास प्लान नजर नहीं आता है.  

फिलहाल, सवालों से घिरी आम आदमी पार्टी सरकार के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत खुद बता रहे हैं कि दिल्ली में एक करोड़ वाहन हैं और इन वाहनों का प्रदूषण कंट्रोल न होने के बावजूद ये सड़कों पर चल रहे  हैं. गहलोत के मुताबिक सरकार एक प्लान बना रही है, ताकि ऐसे वाहनों को सड़क पर चलने से हटाया जाए.

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'आजतक' के सवाल पर परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने दावा किया है कि प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों के खिलाफ परिवहन विभाग बड़े पैमाने पर इंफोर्समेंट ड्राइव चलाकर एक्शन ले रही है और आने वाले दिनों में भी अधिकारी सड़क पर उतरेंगे, जो प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों का चालान काटेंगे. हालांकि जब सवाल पूछा गया तो कार्रवाई झेल चुके वाहनों का आंकड़ा देने में मंत्री असमर्थ नजर आए. 

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