
गुजरात के सूरत में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की ओर से नवनिर्वाचित विधायकों का अभिनंदन किया गया. बीजेपी की सूरत शहर और जिला कमेटी की ओर से आयोजित नवनिर्वाचित विधायकों के अभिनंदन समारोह को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए गृह मंत्री अमित शाह ने भी संबोधित किया. अमित शाह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कार्यक्रम को संबोधित करते हुए गुजरात चुनाव में जीत को खास बताया.
अमित शाह ने कहा कि गुजरात की जीत देशभर के कार्यकर्ताओं में नया उत्साह भरने वाली है. उन्होंने कहा कि ये जीत आगामी चुनाव और 2024 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी के लिए सकारात्मकता देने वाली जीत है. उन्होंने नाम लिए बिना आम आदमी पार्टी पर भी निशाना साधा और बीजेपी की जीत के लिए पन्ना प्रमुखों को भी श्रेय दिया.
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि गुजरात चुनाव में इतनी बड़ी जीत बीजेपी कार्यकर्ताओं की देन है. उन्होंने इस चुनावी जीत में पन्ना प्रमुखों की भूमिका को भी अहम बताया और कहा कि सभी ने मिलकर हमारी योजना को धरातल पर उतारा. अमित शाह ने कहा कि जो अभूतपूर्व जीत मिली है, इस रिकॉर्ड को भविष्य में भी तोड़ पाना मुश्किल है.
उन्होंने नाम लिए बिना आम आदमी पार्टी पर हमला बोला और कहा कि गुजरात में नई पार्टियां भी आईं. अमित शाह ने कहा कि नई पार्टियों ने बड़े-बड़े दावे किए, विधानसभा चुनाव से पहले कई तरह की गारंटी भी दी लेकिन जब चुनाव नतीजे आए तो उनका सफाया हो गया. उन्होंने कहा कि चुनाव परिणाम से ये साफ हो गया है कि गुजरात की जनता बीजेपी, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वागत के लिए तैयार थी.
गुजरात बीजेपी का गढ़ था, है और रहेगा
अमित शाह ने गुजरात विधानसभा चुनाव के परिणाम को कई मायनों में खास बताया. उन्होंने कहा कि हालिया चुनाव में प्रचंड जीत ने देश को ये संदेश देने का काम किया है कि गुजरात बीजेपी का गढ़ था, है और रहेगा. शाह ने कहा कि गुजरात के इन नतीजों का 2024 के लोकसभा चुनाव पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा. ये जीत राजनीतिक तस्वीर बदलने वाली साबित होगी.
गुजरात में बीजेपी को मिली थी प्रचंड जीत
गुजरात के विधानसभा चुनाव में बीजेपी को प्रचंड जीत मिली थी. गुजरात चुनाव में बीजेपी ने सूबे की कुल 182 में से 156 सीटें जीत ली थीं. बीजेपी का वोट शेयर भी पिछले चुनाव की तुलना में तीन फीसदी बढ़ा था. आक्रामक चुनाव प्रचार करने वाली आम आदमी पार्टी की सीटें दो अंकों में भी नहीं पहुंच पाई थी.