
हरियाणा में पिछले दिनों सांप्रदायिक हिंसा भड़कने के बाद विशेष व्यापारियों को लेकर पंचायतें तरह-तरह के फरमान जारी कर रही हैं. रेवाड़ी, महेंद्रगढ़ और झज्जर की 50 पंचायतें मुस्लिम व्यापारियों के गांवों में प्रवेश पर रोक लगाने का ऐलान कर चुकी हैं. अब महेंद्रगढ़ के अटेली खंड के कई गांवों के सरपंचों ने नारनौल एसडीएम और थाना प्रभारी को पत्र लिखाकर कहा कि नूंह में हिंदुओं पर हुए अत्याचार को देखते हुए अपने-अपने गांव में समुदाय विशेष व शरारती तत्वों को किसी भी तरह का व्यवसाय नहीं करने दिया जाएगा. वहीं इस बारे में एसडीएम ने कहा कि भारत में कोई भी व्यक्ति कहीं पर भी जाकर रह सकता है और व्यापार कर सकता है. ऐसे में अगर सरपंचों ने इस प्रकार के पत्र लिखे हैं तो उनकी जांच करवाई जाएगी.
वहीं पत्र के बारे में सरपंचों से बात की गई तो उन्होंने बताया कि अटेली खंड के कई गांवों में लगातार चोरी की घटनाएं बढ़ रही हैं. पिछले 1 महीने में करीब 45 से ज्यादा चोरी की घटनाएं हो चुकी हैं. ऐसे में उन्होंने गांव में हो रही चोरी की घटनाएं रोकने के लिए ये पत्र लिखे हैं.
एसडीएम मनोज कुमार ने कहा कि अटेली के गांवों में किसान पशुपालन करते हैं. यहां पर मेव समुदाय के लोग घर-घर फेरी लगाकर पशुओं को खरीदने-बेचने के लिए गांवों में आते रहते हैं. नूंह हिंसा के बाद भावनाओं में आकर सबसे पहले एक गांव के सरपंच ने एक पत्र लिखा कि नूंह घटना के बाद वे मेवात से एक समुदाय के लोगों का गांव में प्रवेश नहीं होने देंगे, ताकि आपसी सौहार्द्र बना रहे. यह लेटर सरपंच द्वारा विभिन्न व्हाट्सएप ग्रुप में डाल दिया गया, जिसके बाद देखा-देखी में अन्य सरपंचों ने भी इस प्रकार के लेटर लिख दिए.
गाजियाबाद के कुछ हिस्सों में सांप्रदायिक नफरत फैलाने के इरादे से विवादित पोस्टर लगाने के मामले में तीन लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है. बीते रविवार को सांप्रदायिक नफरत फैलाने के इरादे से नंदग्राम थाना क्षेत्र में प्रमुख स्थानों पर पोस्टर लगाए गए थे, जिसमें मुस्लिम व्यापारियों के बहिष्कार का आह्वान किया गया था. सीसीटीवी फुटेज देखने के बाद पुलिस ने मामले में तीन युवकों नितिन चौहान, ब्रह्मानंद पुजारी और शेखर पंडित की पहचान की और उनके खिलाफ मामला दर्ज किया गया.
मध्यप्रदेश में अशोकनगर जिले के एक गांव में लव जिहाद और धर्म परिवर्तन पर रोक लगाने के लिए ग्रामीणों ने गांव में मुस्लिमों और ईसाईयों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया है. इसको लेकर पूरे गांव में पोस्टर भी लगाए गए हैं.
पाञ्चजन्य की रिपोर्ट के मुताबिक यह मामला ग्राम पंचायत धौरा धतुरिया का है. गांव के सरपंच व बीजेपी किसान मोर्चा के जिला अध्यक्ष बबलू यादव ने पंचायत की बैठक में इस संबंध में प्रस्ताव रखा था, जिस पर ग्रामीणों ने अपनी सहमति दे दी है.
पंचायत की तरफ से जो पोस्टर लगाए गए, उनमें लिखा है- मुस्लिम और ईसाई व्यापारियों का ग्राम पंचायत धौरा में प्रवेश करना प्रतिबंधित है. कृपया व्यापारी आधार कार्ड लेकर ही गांव में प्रवेश करें. हालांकि इसकी जानकारी होते ही पुलिस-प्रशासन की टीम मौके पर पहुंची और गांव में लगे बैनर, पोस्टर को हटवा दिया है. वहीं सरपंच बबलू यादव ने कहा कि प्रशासन भले बैनर पोस्टर को हटा दिया, लेकिन हमारे और ग्रामीणों के द्वारा इस अभियान को चलाया जाएगा.
हरियाणा के नूंह जिले में हिंसा बढ़कने के बाद अब रेवाड़ी, महेंद्रगढ़ और झज्जर की 50 से अधिक पंचायतों ने मुस्लिम व्यापारियों के प्रवेश पर रोक लगाने की बात कही गई है. सरपंचों ने इस संबंध में लेटर जारी कर कहा है कि गांवों में रहने वाले मुसलमानों को अपने आईडी दस्तावेज पुलिस को सौंपने होंगे.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक वायरल लेटर में कहा गया है कि हमारा इरादा किसी भी धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने का नहीं है. वहीं नारनौल के उप विभागीय मजिस्ट्रेट मनोज कुमार का कहना है कि ऐसे लेटर जारी करना कानून के खिलाफ है. हालांकि हमें पंचायतों की ओर से ऐसा कोई भी लेटर नहीं मिला है.
(रिपोर्ट: नवीन यादव)