
मध्यप्रदेश विधानसभा की डिप्टी स्पीकर और लांजी से विधायक हिना कावरे के साथ दुर्घटना होने के बाद सीएम कमलनाथ ने जांच के आदेश दे दिए हैं. मंगलवार को कमलनाथ ने प्रदेश के डीजीपी ऋषि कुमार शुक्ला को जांच के आदेश दिए . दुर्घटना में लापरवाही हुई या साजिश, इसकी जांच कराने की बात सीएम ने कही है. कावरे को पर्याप्त सुरक्षा दिए जाने के भी डीजीपी को निर्देश दिए गए हैं.
मध्यप्रदेश विधानसभा की डिप्टी स्पीकर और लांजी विधायक रात को हुई सड़क दुर्घटना में किस्मत से बच गईं. उनकी कार के आगे जो पुलिस का वाहन चल रहा था उसे सामने से आ रहे ट्राले ने टक्कर मार दी थी. हादसा इतना गंभीर था कि इसमें कार के ड्राइवर और 3 पुलिसकर्मियों की मौके पर मौत हो गई जबकि गंभीर रूप से जख्मी एक पुलिसकर्मी को नागपुर भेजा गया.
कैसे घटी घटना
कावरे विधानसभा उपाध्यक्ष बनने के बाद पहली बार बालाघाट जा रही थीं. बालाघाट से करीब 21 किलोमीटर दूर सालेटेका गांव के पास उनके फॉलो वाहन को ट्राले ने टक्कर मार दी. ठीक पीछे चल रही हिना की गाड़ी को उनके ड्राइवर ने सूझ-बूझ से बचाते हुए आगे निकाल लिया था.
मिली थी धमकी भरी चिट्ठियां
वहीं, बालाघाट पुलिस अधीक्षक ने बताया कि हिना कावरे को धमकी भरी पहली चिट्ठी 31 दिसंबर को और दूसरी चिट्ठी 10 जनवरी को मिली थी. कावरे ने इस संबंध में पुलिस में शिकायत भी की थी जिसके बाद उनकी सुरक्षा बढ़ा दी गई थी. पहली नजर में ऐसा नहीं लग रहा है कि नक्सलियों ने यह चिट्ठी भेजी है. ऐसा लगता है कि यह खत किसी असामाजिक तत्व के द्वारा बालाघाट से पोस्ट किया गया है. घटना के बाद ट्रक का ड्रावर भाग गया था. उसकी पहचान कर ली गई है. राज्य सरकार ने हादसे की जांच के आदेश दिए हैं.
गला रेत कर हुई थी पिता की हत्या
हिना जिस बालाघाट इलाके से आती हैं वह नक्सल बेल्ट के रूप में कुख्यात है. यहां नक्सली घटनाएं होती रहती हैं. इसकी आंच पहले भी हिना के परिवार पर आ चुकी है. हिना के पिता और पूर्व मंत्री लिखीराम कावरे की 1999 में उनके घर पर नक्सलियों ने गला रेतकर हत्या कर दी थी.