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घाटकोपर: जानलेवा होर्डिंग ठीक से दिखे इसके लिए 8 पेड़ों को दिया गया था जहर, FIR भी हुई थी दर्ज, लेकिन नहीं हटा था अवैध बिलबोर्ड

बिलबोर्ड के आसपास लगाए गए सुबाबुल, पीपल और पेल्टोफोरम जैसे स्वदेशी पेड़ रहस्यमय तरीके से नष्ट हो गए थे. कमिश्नर भूषण गगरानी ने कहा कि होर्डिंग दिखने में बाधा न आए इसलिए छेदा नगर जंक्शन के पास 8 पेड़ों को जहर दिया गया था. इस संबंध में बीएमसी ने एफआईआर दर्ज करायी थी.

मुंबई के घाटकोपर में एक होर्डिंग के ढहने से 14 लोगों की मौत हो गई और 74 घायल हो गए. (PTI Photo) मुंबई के घाटकोपर में एक होर्डिंग के ढहने से 14 लोगों की मौत हो गई और 74 घायल हो गए. (PTI Photo)
विद्या/मोहम्मद एजाज खान
  • मुंबई,
  • 14 मई 2024,
  • अपडेटेड 1:45 PM IST

मुंबई के घाटकोपर इलाके में जिस विशाल होर्डिंग के गिरने से कम से कम 14 लोगों की मौत हो गई और 74 अन्य घायल हो गए, वह कथित तौर पर पिछले एक साल से बीएमसी अधिकारियों की जांच के दायरे में था. बृहन्मुंबई नगर निगम के दिशानिर्देशों के अनुसार, अधिकतम 40×40 फीट के होर्डिंग लगाने की अनुमति है. हालांकि, सोमवार की आंधी में जो बिलबोर्ड ढहा वह 120×120 फीट का था. 

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बृहन्मुंबई नगर निगम के वृक्ष विभाग ने दिसंबर 2023 में प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने के लिए होर्डिंग का रखरखाव करने वाली एजेंसी ईगो मीडिया के खिलाफ पुलिस में आधिकारिक शिकायत दर्ज करायी थी. बीएमसी अधिकारियों ने दो सप्ताह पहले अप्रैल में फिर से पुलिस से संपर्क किया था और अपनी शिकायत में कहा था कि बिलबोर्ड के आसपास लगाए गए सुबाबुल, पीपल और पेल्टोफोरम जैसे स्वदेशी पेड़ रहस्यमय तरीके से नष्ट हो गए थे. 

होर्डिंग के आसपास के पेड़ों को दिया गया था जहर

बीएमसी ट्री डिपार्टमेंट की शिकायत के मुताबिक, 'ईस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे पर कई पेड़ों के सूखने की दो अलग-अलग घटनाएं हुईं, पहली घटना पिछले साल दिसंबर में और दूसरी इस साल अप्रैल में. जांच में पता चला कि पेड़ों के तनों में छेद करके जहर डाला गया था ताकि वे सूख जाएं.' बीएमसी हेडक्वार्टर में डिजास्टर कंट्रोल रूम का दौरा करने के बाद मीडियाकर्मियों से बात करते हुए नगर निकाय के कमिश्नर भूषण गगरानी ने कहा, 'होर्डिंग दिखने में बाधा न आए इसलिए छेदा नगर जंक्शन के पास 8 पेड़ों को जहर दिया गया था (पेड़ सूख जाएं इसके लिए उनकी जड़ों में केमिकल डाला गया था). इस संबंध में बीएमसी ने एफआईआर दर्ज करायी थी.'

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जीआरपी ने होर्डिंग के लिए निविदा आमंत्रित की थी

रिपोर्ट के मुताबिक जिस जमीन पर होर्डिंग लगाई गई थी, वह मुंबई कलेक्टर की है और पुलिस हाउसिंग वेलफेयर कॉरपोरेशन, महाराष्ट्र सरकार के कब्जे में है. जीआरपी (गवर्नमेंट रेलवे पुलिस) ने 2020 में जमीन पर होर्डिंग लगाने के लिए निविदा आमंत्रित की थी और 2021 में एगो मीडिया को इसका अनुबंध मिला. एजेंसी ने प्लॉट पर चार होर्डिंग्स लगाए थे, जिनमें से एक सोमवार को ढह गया. होर्डिंग्स लगाने से पहले एजेंसी/रेलवे द्वारा बीएमसी की कोई अनुमति/एनओसी नहीं ली गई थी. 

होर्डिंग लगाने वाली एजेंसी और ऑनर पर FIR दर्ज

सोमवार की दुखद घटना के बाद, बृहन्मुंबई नगर निगम ने होर्डिंग का रखरखाव करने वाली एजेंसी ईगो मीडिया और उसके मालिक भावेश भिंडे के खिलाफ पंत नगर पुलिस थाने में एफआईआर दर्ज करायी है. बीएमसी ने ईगो मीडिया को  नोटिस भेजकर बची हुईं तीन होर्डिंग्स को तत्काल प्रभाव से हटाने के लिए कहा है. सूत्रों के मुताबिक जीआरपी कमिश्नर रवींद्र शिसवे ने संबंधित अधिकारी को यह जांच करने का निर्देश दिया कि रेलवे की जमीन पर होर्डिंग लगाने की अनुमति कब और किसने दी थी, और क्या सभी नियमों का ठीक से पालन किया गया था. 

अन्य तीन होर्डिंग्स को भी हटाने की कार्रवाई शुरू

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बीएमसी ने घटना स्थल पर लगे अन्य तीन होर्डिंग्स को हटाने की कार्रवाई शुरू कर दी है. बाकी तीन होर्डिंग्स उस होर्डिंग के बगल में ही लगी हैं जो कल आंधी में ढह गया था. बीएमसी अधिकारियों का कहना है कि वे हाथ से ही ​ढहे होर्डिंग के छोटे-छोटे टुकड़े काटने की कोशिश कर रहे हैं, क्योंकि यह एक पेट्रोल पंप पर गिरा है, इसलिए गैस कटर का इस्तेमाल नहीं कर सकते. साथ ही पूरे होर्डिंग को उठाकर हटाया नहीं जा सकता, क्योंकि ऐसी संभावना है कि यदि उठाते समय दुर्घटनावश कुछ गिर जाए तो पेट्रोल पंप में आग लग सकती है. 

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