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नामकरण विवाद: महाराष्ट्र की राजनीति में 'टीपू सुल्तान' की एंट्री, बीजेपी का सीएम ठाकरे को 'हिंदुत्व पाठ'

महाराष्ट्र की राजनीति में 'टीपू सुल्तान' की एंट्री हो चुकी है. जब से मंत्री असलम शेख ने एक स्पोर्टस कॉम्पेक्स को टीपू सुल्तान के नाम पर रखने का फैसला लिया है, वहां की सियासत गरमा गई है. बीजेपी और बजरंग दल लगातार प्रदर्शन कर रही है.

महाराष्ट्र सीएम उद्धव ठाकरे महाराष्ट्र सीएम उद्धव ठाकरे
aajtak.in
  • मुंबई,
  • 26 जनवरी 2022,
  • अपडेटेड 6:44 PM IST
  • स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स का नाम टीपू सुल्तान पर रखा जाएगा
  • बीजेपी का सीएम ठाकरे पर वार

महाराष्ट्र की राजनीति में शासक टीपू सुल्तान की एंट्री हो गई है. पिछले दिनों महाराष्ट्र सरकार में मंत्री असलम शेख ने ऐलान कर दिया था कि मलाड में एक स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स का नाम टीपू सुल्तान के नाम पर रखा जाएगा. अब उसी फैसले से बीजेपी आग बबूला है और राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया जा रहा है. आज भी बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने इस फैसले का खुलकर विरोध किया, सरकार को घेरने का प्रयास किया.

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लेकिन मुंबई पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे उन कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया है. अब ये मामला महाराष्ट्र की राजनीति में शिवसेना बनाम बीजेपी का बन गया है. एक तरफ बीजेपी सीएम उद्धव ठाकरे को अब हिंदुत्व का पाठ पढ़ा रही है तो वहीं दूसरी तरफ मंत्री असलम शेख बीजेपी पर देश को बदनाम करने का आरोप लग रहे हैं.

असलम शेख ने कहा है कि पिछले 70 सालों में टीपू सुल्तान के नाम को लेकर कोई विवाद नहीं था. बीजेपी ने इस बार फिर अपने गुंडे भेजे हैं, देश को बदनाम करने का प्रयास है. ये लोग सिर्फ किसी प्रोजेक्ट के नामकरण के नाम पर विकास को बाधित करने का प्रयास कर रहे हैं. लेकिन बीजेपी इस पूरे विवाद पर महा विकास अघाड़ी पर हमला करने के बजाय सिर्फ शिवसेना तक अपने हमले को सीमित रख रही है.

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कुछ दिन पहले ही देवेंद्र फडणवीस ने कहा था कि टीपू सुल्तान देश का गौरव नहीं बन सकता. किसी भी प्रोजेक्ट को उनके नाम पर रखना उचित नहीं. वहीं बीजेपी नेता राम कदम ने तो उद्धव ठाकरे से सवाल पूछ लिया है. कहा गया है कि जो दूसरों को हिंदुत्व पर पाठ पढ़ाते हैं, अब अपने मंत्री पर क्या बोलेंगे?

अब जानकारी के लिए बता दें कि टीपू सुल्तान को लेकर सारा विवाद कर्नाटक से शुरू हुआ है. कुछ सालों से वहां पर टीपू सुल्तान की जयंती पर रोक लगी हुई है. वहीं से ये विवाद अब पूरे देश में फैल चुका है और समय-समय पर बवाल होता रहता है.

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